उत्तराखंड की गोद में बसा मसूरी है फेमस हिल स्टेशन, यहां की इन 8 जगहों पर लें घूमने का मजा
By: Ankur Thu, 25 Aug 2022 7:13:09
उत्तराखंड के सबसे मशहूर और रोमांटिक हिल स्टेशन की बात की जाए तो मसूरी का नाम जरूर आता हैं जो उत्तराखंड की गोद में बसा हुआ हैं। मसूरी को ‘पहाड़ों की रानी’ के नाम से भी जाना जाता है। मसूरी को अपनी वादियों, प्राकृतिक खूबसूरती के लिए जाना जाता हैं जहां आप शांति और सुकून के साथ समय बिता सकते है। यहां आप अपने परिवार या दोस्तों के साथ घूमने का पूरा मजा ले सकते हैं। आमतौर पर गर्मी के मौसम में यहां पर पर्यटकों की भीड़ देखने को मिलती हैं। आज इस कड़ी में हम आपको मसूरी में घूमने लायक जगहों की जानकारी देने जा रहे हैं जहां जाए बिना यहां का ट्रिप अधूरा हैं। आइये जानते हैं इनके बारे में...
माल रोड
मसूरी घूमने जाएं और माल रोड ना जाए तो आपकी यात्रा अधूरी रह जाएगी यहां जब मसूरी से लौटने वाले हो उसके 1 दिन पहले शाम के समय स्ट्रीट फूड का मजा लेने माल रोड जा सकते हैं। साथ में शॉपिंग के लिए ये बाजार प्रसिद्द है सर्दियों के डिजाइनर कपड़ो के लिए जहाँ हर वैराइटी के पहाड़ी ड्रेसेस पहाड़ी कुर्तियां ज्यादातर ठंडी के वस्त्र यहां मिलते हैं इसके साथ-साथ माल रोड में खड़े होकर देहरादून शहर को निहार सकते है। चारो तरफ हरियाली और पहाड़ो से घिरा हुआ यह क्षेत्र मन को काफी सुकून भरा अनुभव कराता है आप अपने मसूरी घूमने की जगह की लिस्ट में इस स्थान को जरूर शामिल करे।
तिब्बती बौद्ध मंदिर
यह मसूरी के शीर्ष दर्शनीय स्थलों में से एक है। यह आईएएस अकादमी, तिब्बती मंदिरों और नगर उद्यानों के आवास के लिए भी प्रसिद्ध है। हैप्पी वैली लाइब्रेरी पॉइंट के पश्चिम की ओर से शुरू होती है और क्लाउड्स एंड की ओर जाती है। हैप्पी वैली, जिसे मिनी-तिब्बत भी कहा जाता है, लगभग 5000 तिब्बती शरणार्थियों का घर है। मंदिर के ध्यान कक्ष को दीवारों, पैनलों और छत पर सुंदर चित्रों के साथ उकेरा गया है। मंदिर बेनोग हिल सर्किट का एक शानदार मनोरम दृश्य प्रदान करता है।
हैप्पी घाटी
चूंकि मसूरी में मुख्य रूप से ज्यादातर तिब्बती लोग रहते हैं, हैप्पी वैली वो जगह है जहां पर तिब्बती सबसे पहले भारत आये थे। 1959 जब आध्यात्मिक नेता, गुरु दलाई लामा धर्मशाला में रहने चले गए थे, तब कुछ तिब्बती ल्हासा से फरार हो गए थे और यहां मसूरी आ गए थे। इस जगह को बहुत सुंदर तरीके से सजाया गया है। यहां कॉफ़ी हाउस से लेकर खाने के तरह-तरह के स्टाल भी मौजूद हैं।
गन हिल रोपवे
गनहिल यहां की दूसरी सबसे ऊंची चोटी है। मसूरी जाने वाले पर्यटक यहां जरूर जाते हैं। यहां से बर्फ से ठकी पहाड़ियां और सूरज की झलक साफ देखी जा सकती है, जो हर किसी का दिल जीत लेती है। बताया जाता है कि प्राचीन काल में घड़ी न होने के कारण इसी चोटी से गल चलाकर लोगों को समय बताया जाता था, जिसकी वजह से इसका नाम गनहिल पड़ गया।
केम्प्टी फॉल्स
देहरादून और मसूरी की सड़कों के बीच मौजूद केम्पटी फॉल्स पानी का एक खूबसूरत झरना है, जो 40 फीट की ऊंचाई से जमीन पर गिरता है। पर्वतों और चट्टानों से घिरा केम्पटी फॉल्स समुद्र तल से लगभग 4500 फीट की ऊंचाई पर बसा हुआ है। इस जगह को जॉन मेकिनन द्वारा पिकनिक स्थल के रूप में बनवाया गया था। मसूरी आने वाले यात्रियों के लिए केम्प्टी फॉल्स पिकनिक स्पॉट के रूप में पर्यटकों के बीच में बेहद मशहूर है। इस झरने पर लगभग पूरे साल आप भीड़ देख सकते हैं।
कैमल्स बैक रोड
यह मसूरी शहर में घूमने के लिए शीर्ष पर्यटन स्थलों में से एक है। सड़क का नाम चट्टान से लिया गया है जिसका आकर ऊंट के पीठ के आकार की तरह है। कैमल्स बैक रोड का निर्माण 1845 में किया गया था। इस सड़क में एक प्राचीन हवा घर है जहाँ लोग बैठकर खूसबूरत चोटियों को देख सकते हैं। इस हवा घर को पहले स्कैंडल प्वाइंट के नाम से जाना जाता था। हिमालय की चोटियों को करीब से देखने के इच्छुक लोगों के लिए यहां टेलीस्कोप उपलब्ध हैं। यहां से बद्रीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री, यमुनोत्री, चौखम्बा, नंदा देवी चोटियां दिखाई देती हैं।
क्लाउड एंड
जैसा इसका नाम है क्लाउड एन्ड वैसा ही ये धाम है ये जगह फेमस है अपने बदलो से ढके हुए पहाड़ो को जरा सोचिये कितना खूसूरत नजारा होगा जब आप ऊपर होंगे और बादल आपके नीचे यहाँ कुछ ऐसा ही अद्भुत नजारा है। यहाँ आकर पर्यटक अपनी ये मनोकामनाएं भी पूरी कर लेते है जब वो बादलों से ऊपर होते है और धुंध की तरह दिखने वाला बादल पहाड़ो के नीचे। मसूरी में घूमने की जगहों में ये सबसे खास है। जॉर्ज एवेरेस्ट से कुछ ही दूरी पर स्थित कुदरत का बेहतरीन नजारा प्रकृति का एक उपहार है जिसे आप मसूरी में देखने जाते है।
लाल टिब्बा
लाल टिब्बा लंढौर क्षेत्र में स्थित मसूरी का सबसे ऊंचा स्थान है। यह 2275 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। यह स्थान सूर्योदय और सूर्यास्त के सुंदर दृश्य प्रस्तुत करता है और मसूरी में घूमने के लिए सबसे अच्छी जगहों में से एक है। लाल टिब्बा (या रेड हिल) को डिपो की उपस्थिति के कारण डिपो हिल के रूप में भी जाना जाता था, इसमें भारतीय सैन्य सेवाओं का एक शिविर, दूरदर्शन के टॉवर और ऑल इंडिया रेडियो भी हैं। 1967 में, बद्रीनाथ, केदारनाथ, बंदरपंच, और अन्य हिमालय पर्वतमाला के सुंदर दृश्य प्रस्तुत करने के लिए नगरपालिका द्वारा टॉवर पर एक दूरबीन को एक चट्टान पर रखा गया था।