जन्मदिन विशेष: चायवाले से लेकर प्रधानमंत्री की कुर्सी तक का नरेंद्र मोदी का सफ़र, उनके जीवन से जुड़ी कुछ बड़ी बातें

By: Priyanka Maheshwari Mon, 17 Sept 2018 3:55:03

जन्मदिन विशेष:  चायवाले से लेकर प्रधानमंत्री की कुर्सी तक का नरेंद्र मोदी का सफ़र, उनके जीवन से जुड़ी कुछ बड़ी बातें

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 17 सितंबर को अपना 68 वां जन्मदिन अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी में मनाएंगे। गुजरात के वडनगर स्टेशन पर चाय बेचने वाले बालक के हाथ में कभी देश की बागडोर होगी, इसका किसी को सपने में भी अंदाजा नहीं रहा होगा मगर नरेंद्र मोदी ने करिश्मा कर दिखाया। चायवाले से देश के प्रधानमंत्री बनकर मोदी यह संदेश देने में सफल रहे कि लक्ष्य के प्रति समर्पण और जुनून के आगे कोई भी चीज असंभव नहीं है। उन्होंने आम जन के सपनों को उड़ान भी दी। खास बात है कि जब नरेंद्र मोदी गुजरात के मुख्यमंत्री बने, उस वक्त उन्होंने एक अदना सा चुनाव भी नहीं लड़ा था। दिल्ली में बीजेपी के राष्ट्रीय संगठन स्तर का कामकाज देखने के दौरान ही उन्हें पार्टी और संघ की ओर से गुजरात का मुख्यमंत्री बनाने का फैसला हुआ था। प्रधानमंत्री बनने से पहले नरेंद्र मोदी वर्ष 2001 से 2014( पीएम बनने से पहले) तक लगातार चार बार गुजरात के मुख्यमंत्री रहे। जानिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से जुड़ी 10 बड़ी बातें।

- नरेंद्र मोदी Narendra Modi का जन्म 17 सितंबर 1950 को गुजरात के मेहसाणा जिला स्थित वडनगर में हुआ। उनकी मां हीराबेन मोदी और पिता दामोदरदास थे।

- पिता दामोदर दास मोदी और माँ हीराबेन के 6 बच्चों में से ये तीसरे नंबर के थे। इनके घर की आर्थिक स्थिति बेहद खराब थी। माँ दूसरों के घर में जाकर बर्तन साफ़ करती थी और पिता की एक छोटी सी चाय की दुकान थी। मोदी ने अपने बचपन में चाय बेचने में अपने पिता की मदद की, और बाद में अपना खुद का स्टाल चलाया। एक कच्चे मकान में पूरा परिवार रहता था। गरीबी के कारण दो वक्त का खाना भी सही से नसीब नहीं होता था। संघर्ष भरे माहौल में मोदी जी ने बहुत छोटी उम्र में ही जीवन के कई ऊँचे नीचे पड़ाव देख लिए थे। बचपन से ही इनको पढाई लिखाई का बेहद शौक था। ये बचपन से ही स्वामी विवेकानंद एवं उनके विचारों को अपना आदर्श मानते थे।

prime minister narendra modi,narendra modi birthday,narendra modi birthday special,pm narendra modi ,नरेन्द्र मोदी,प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी,प्रधानमंत्री मोदीजी,नरेन्द्र मोदी जन्मदिन

- आठ वर्ष की अवस्था में ही बाल नरेंद्र मोदी का झुकाव संघ की तरफ हुआ तो शाखाओं में जाने लगे। 1967 में 17 साल की उम्र में हाईस्कूल की पढ़ाई पूरी करने के बाद उन्होंने घर छोड़ दिया और अहमदाबाद पहुंचे और फिर उन्होंने आरएसएस की औपचारिक सदस्यता ग्रहण की।

- नरेंद्र मोदी अहमदाबाद में कई संघ प्रचारकों के साथ काम करने लगे। 1975 में जब इंदिरा गांधी सरकार ने इमरजेंसी लगाई तो मोदी वेश बदलकर भूमिगत हो गए थे। उस समय वह संघ प्रचारकों को अंडरग्राउंड रहकर मदद करते थे।तीस वर्ष की अवस्था में नरेंद्र मोदी आरएसएस में संभाग प्रचारक बन गए। बतौर प्रचारक संघ के प्रचार-प्रसार में जोर-शोर से जुटे रहे।

- 1985 में मोदी मुख्य धारा की राजनीति से जुड़े, जब संघ ने आवश्यकता के मद्देनजर उन्हें बीजेपी में भेजा। जब लाल कृष्ण आडवाणी ने 1990 में सोमनाथ-अयोध्या रथ यात्रा निकाली तो नरेंद्र मोदी सारथी बने। इसी तरह वर्ष 1991 में बीजेपी नेता मुरली मनोहर जोशी की कन्याकुमारी से श्रीनगर एकता यात्रा के आयोजन में भी मोदी ने बढ़चढ़कर भूमिका निभाई। जिससे मोदी खासे चर्चित हुए।

- बड़े नेताओं से जुड़े आयोजनों के सफल निर्वहन और संगठन के प्रति निष्ठा तथा लगन देख बीजेपी में नरेंद्र मोदी का 1995 में कद बढ़ा, जब पार्टी ने उन्हें राष्ट्रीय सचिव बनाया। इसके बाद मोदी दिल्ली मुख्यालय पहुंचे। इसके तीन साल बाद ही 1998 में उन्हें महासचिव (संगठन) बनाया गया। अक्‍टूबर 2001 तक मोदी इस पद पर रहे।

- वर्ष 2001 में जब गुजरात में भूकंप आया तो भारी संख्या में जान-माल की क्षति हुई। 20 हजार से ज्यादा लोगों की जान गई। तब पार्टी ने केशुभाई पटेल को मुख्यमंत्री पद से हटाकर नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) को सीएम की जिम्मेदारी दी। मुख्यमंत्री बनने से पहले मोदी एक भी चुनाव नहीं लड़े थे। उन्होंने अक्टूबर 2001 में मुख्यमंत्री पद की शपथ ली।

- अभी सत्ता संभाले हुए पांच महीने ही हुए थे कि गुजरात के गोधरा में दंगा भड़क उठा। रिपोर्ट्स के मुताबिक गोधरा दंगे में दो हजार से ज्यादा लोग मारे गए। उस वक्त तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने गुजरात के दौरे के दौरान नरेंद्र मोदी को राजधर्म का पालन करने की नसीहत दी थी। कहा जाता है कि उस वक्त उन्हें सीएम पद से हटाने की भी बात चल रही थी, मगर लालकृष्ण आडवाणी के समर्थन की वजह से वाजपेयी को निर्णय बदलना पड़ा था।

- दंगे के कुछ ही महीने बाद गुजरात में विधानसभा चुनाव हुए तो मोदी बहुमत से सत्ता में लौटे। खास बात रही कि दंगे में जो इलाके सर्वाधिक प्रभावित रहे, वहां पर बीजेपी को ज्यादा लाभ मिलता दिखाई दिया। इसके बाद नरेंद्र मोदी ने गुजरात की सत्ता की इस कदर नब्ज पकड़ी कि फिर प्रधानमंत्री बनने तक चार बार सीएम बने रहे।

- सितंबर 2013 में बीजेपी की नई दिल्ली में हुई संसदीय दल की बैठक में नरेंद्र मोदी को 2014 के लोकसभा चुनाव के लिए प्रधानमंत्री उम्मीदवार चुना गया। तब आडवाणी सहित कुछ अन्य वरिष्ठ नेताओं ने इसका विरोध किया था।भाजपा अध्यक्ष राजनाथ सिंह ने उनकी उम्मीदवारी की घोषणा की थी।

- 2014 के लोकसभा चुनाव में नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) की अगुवाई में बीजेपी 282 सीटों के साथ बहुमत से सत्ता में पहुंची। फिर 26 मई 2014 को कई पड़ोसी देशों के राष्ट्राध्यक्षों की मौजूदगी में नरेंद्र मोदी ने प्रधानमंत्री पद की शपथ ली।

prime minister narendra modi,narendra modi birthday,narendra modi birthday special,pm narendra modi ,नरेन्द्र मोदी,प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी,प्रधानमंत्री मोदीजी,नरेन्द्र मोदी जन्मदिन

बचपन से जुड़े कई किस्से प्रधानमंत्री बनने के बाद खूब मशहूर हुए। इन्हीं में से एक किस्सा मगरमच्छ से जुड़ा है।

1) मगरमच्छ से बच निकलने की कहानी

मोदी जब छोटे थे तो वे गुजरात के शार्मिष्‍ठा झील में अक्‍सर खेलने जाया करते थे। उन्‍हें पता नहीं था कि उस झील में मगरमच्‍छ काफी संख्‍या में हैं। एक बार एक मगरमच्‍छ ने खेलते हुए मोदी को पकड़ने की कोशिश की। इस दौरान उन्‍हें गंभीर चोटें आईं थीं। पर वे उसके चंगुल से बच निकले थे।

2) मां-पिता की मदद

मोदी के पिता वादनगर रेलवे स्‍टेशन पर चाय बेचते थे। बचपन में मोदी को जब भी पढ़ाई से समय मिलता था वे अपने पिता की मदद करने दुकान पर पहुंच जाया करते थे।

3) कविताएं लिखना

मोदी को बचपन से ही कविताएं लिखने का शौक है। उन्‍होंने गुजराती में कई कविताएं लिखी हैं। वो फोटोग्राफी का भी शौक रखते हैं।

4) नाटक करना खूब पसंद था

मोदी को स्‍कूल के दिनों में नाटक करना खूब पसंद था। युवावस्था में लोगों की मदद करने के लिए भी नाटकों में हिस्‍सा लिया करते थे।

देशभक्ति की भावना

मोदी ने 1965 के भारत-पाक युद्ध के दौरान रेलवे स्‍टेशनों पर जाकर सैनिकों की मदद की। उन्‍होंने 1967 में गुजरात में बाढ़ पीडि़तों की भी काफी मदद की थी। देश के लिए वे कुछ भी कर गुजरने को तैयार रहते हैं।

हम WhatsApp पर हैं। नवीनतम समाचार अपडेट पाने के लिए हमारे चैनल से जुड़ें... https://whatsapp.com/channel/0029Va4Cm0aEquiJSIeUiN2i
पढ़ें Hindi News ऑनलाइन lifeberrys हिंदी की वेबसाइट पर। जानिए देश-विदेश और अपने प्रदेश से जुड़ीNews in Hindi

Home | About | Contact | Disclaimer| Privacy Policy

| | |

Copyright © 2024 lifeberrys.com