सौरभ की बेरहमी से हत्या के आरोप में गिरफ्तार साहिल और मुस्कान से जेल में छह दिन तक कोई मिलने नहीं आया। सातवें दिन, बुधवार को साहिल की नानी, पुष्पा देवी, चौधरी चरण सिंह कारागार पहुंचीं। अनुमति मिलने के बाद उन्होंने साहिल से मुलाकात की। आधे घंटे बाद बाहर आकर पुष्पा देवी ने कहा, "साहिल ने कुछ नहीं किया, जो किया मुस्कान ने किया। हालांकि, साहिल ने गलती नहीं, बल्कि अति गलती की है।"
सौरभ की हत्या को लेकर पुष्पा देवी ने कहा, "होइहि सोइ जो राम रचि राखा।"
पुष्पा देवी, साहिल के पुश्तैनी मकान में उसके साथ भूतल पर रहती थीं, जबकि प्रथम तल पर साहिल की अपनी एक रहस्यमयी दुनिया थी। उनके अनुसार, ऊपर क्या होता था, इसकी जानकारी उन्हें नहीं थी, लेकिन वह इतना जरूर जानती थीं कि "साहिल तंत्र क्रिया नहीं करता था। वह केवल भोले बाबा को मानता था और उनका ही चित्र लगाता था।" गौरतलब है कि 17 साल पहले बेटी की मौत के बाद से पुष्पा देवी, साहिल के साथ ही रह रही थीं।
जब मुस्कान से जेल में मिलने के बारे में पूछा गया तो पुष्पा देवी ने कहा कि वह मुस्कान से कभी नहीं मिलीं, इसलिए जेल में उससे मिलने का कोई अर्थ नहीं है। उन्होंने माना कि जो कुछ हुआ, वह बहुत गलत था और ऐसा नहीं होना चाहिए था, लेकिन "किसने किया, क्यों किया"—इसको लेकर वह अब भी भ्रम में हैं।
साहिल के दो मामाओं पर तंत्र विद्या करने के आरोप को पुष्पा देवी ने गलत बताया। उन्होंने स्पष्ट किया कि "वे दोनों अब इस दुनिया में नहीं हैं और कभी तंत्र-मंत्र नहीं किया।"
जब उनसे पूछा गया कि दोषियों को क्या सजा मिलनी चाहिए, तो उन्होंने कहा, "यह अदालत और वकील तय करेंगे, मुझे इस बारे में कोई ज्ञान नहीं है।"
पुष्पा देवी साहिल के लिए केले, नमकीन, बिस्कुट और उसके कपड़े बैग में लेकर जेल पहुंचीं। जेल के अंदर जाने और बाहर आने के दौरान जब लोगों ने उनसे बातचीत करने की कोशिश की, तो पहले वह भड़क गईं, लेकिन बाद में उन्होंने बात की।
साहिल ने कटवा लिए बाल
जेल में बंद साहिल ने बाल कटवाने की इच्छा जताई थी, जिसके बाद उसके बाल कटवा दिए गए। फिलहाल, साहिल और मुस्कान से जेल में कोई काम नहीं लिया जा रहा है। वरिष्ठ जेल अधीक्षक वीरेश राज शर्मा के अनुसार, "अभी दोनों को जेल में आए 10 दिन पूरे नहीं हुए हैं। इसके बाद उनकी बैरक बदली जाएगी और फिर उनके काम करने को लेकर निर्णय लिया जाएगा। जिस काम की वे इच्छा जताएंगे, उन्हें वही दिया जाएगा, हालांकि, अभी तक उन्होंने कोई अनुरोध नहीं किया है।"
दोनों के लिए अधिवक्ता नियुक्त करने की प्रक्रिया भी जारी है। अधिवक्ता की मांग का पत्र जिला विधिक प्राधिकरण को भेजा गया है, जहां से नियुक्ति संबंधी निर्णय होगा।
सुरक्षा को लेकर बढ़ी चिंता
दो दिन पहले मुलाइजा बैरक में बंदियों ने साहिल को जमकर पीटा था। ऐसे में जेल प्रशासन के लिए उसे सुरक्षित रखना एक बड़ी चुनौती बन गया है। सुरक्षा के मद्देनज़र दो बंदी रक्षक और एक लंबरदार (सजायाफ्ता कैदी, जो सुरक्षा में जेल प्रशासन की मदद करते हैं) को तैनात किया गया है। वहीं, मुस्कान को अन्य महिला बंदियों से अलग रखा गया है। उसकी सुरक्षा के लिए दो महिला वॉर्डन को विशेष जिम्मेदारी सौंपी गई है।