जयपुर। राजस्थान में एसआई भर्ती परीक्षा, आरपीएससी के पुनर्गठन और हाल ही में हुई जेटीओ भर्ती को रद्द करने की मांग को लेकर राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी (आरएलपी) प्रमुख और नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल का आंदोलन तेज हो गया है। मंगलवार को मीडिया से बात करते हुए उन्होंने सरकार की कैबिनेट सब कमेटी की बैठक को ढोंग करार दिया और कहा कि युवाओं के मुद्दों को लेकर अब आर-पार की लड़ाई होगी।
शहीद स्मारक पर जारी धरने के बीच बेनीवाल ने 25 मई को जयपुर के मानसरोवर में एक लाख युवाओं की रैली करने की घोषणा की है। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की बीकानेर रैली से पहले भाजपा को भी चुनावी वादे याद दिलाए।
बेनीवाल ने उठाए कई गंभीर सवाल
• एसआई भर्ती में साक्षात्कार समाप्त करने की मांग: उन्होंने कहा कि जब देश के अन्य राज्यों में साक्षात्कार को खत्म किया जा चुका है, तो राजस्थान में अब भी इंटरव्यू के नाम पर गड़बड़झाला क्यों हो रहा है?
• आरपीएससी पर सीधा हमला: उन्होंने पेपर लीक कांड को लेकर आरपीएससी के पूर्व अध्यक्षों से अब तक पूछताछ नहीं होने पर सवाल उठाए और कहा कि यह पूरी तरह से राजनीतिक संरक्षण का मामला है।
• एसओजी पर सवाल: उन्होंने कहा कि एसआई भर्ती में एसओजी 400 अभ्यर्थियों को फर्जी बता रही है, लेकिन अब तक केवल 53 को ही पकड़ा गया है।
भाजपा-कांग्रेस दोनों पर साधा निशाना
बेनीवाल ने भाजपा को याद दिलाया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राजस्थान में युवाओं से भर्ती और पारदर्शिता के वादे किए थे। लेकिन न तो पेपर लीक माफियाओं पर कोई सख्त कार्रवाई हुई, न ही भर्तियों को रद्द किया गया। उन्होंने कांग्रेस पर भी तंज कसते हुए कहा कि 'दादी-नानी' के लिए विधानसभा ठप हो जाती है, लेकिन युवाओं के लिए एक भी आवाज नहीं उठती।
राजनीतिक विश्वास पर हमला
बेनीवाल ने दावा किया कि प्रधानमंत्री कार्यालय (PMO) अब केवल केंद्रीय मंत्री अर्जुनराम मेघवाल से बात कर रहा है, मुख्यमंत्री से नहीं। उन्होंने कहा, "पीएम का सीएम से भरोसा उठ गया है।"
25 मई को अग्निपरीक्षा
बेनीवाल ने कहा कि यह सिर्फ आरएलपी की नहीं, बल्कि राजस्थान के युवाओं की लड़ाई है। अगर इस बार युवा मैदान में नहीं उतरे, तो भविष्य में उनके अधिकारों की लड़ाई लड़ने वाला कोई नहीं बचेगा। उन्होंने कहा कि जयपुर की रैली सरकार की आंखें खोल देगी और सरकार को झुकना ही पड़ेगा।