
बिहार में नई सरकार के गठन की तैयारियाँ अंतिम चरण में हैं। आज सुबह 11.30 बजे नीतीश कुमार 10वीं बार मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे। इसी के साथ मंत्रिपरिषद का रूप भी धीरे-धीरे स्पष्ट हो रहा है। इस बार मंत्रियों को फोन जाने की प्रक्रिया बुधवार देर रात से शुरू हुई थी और अब लगभग तय है कि भाजपा और जदयू दोनों के नए और अनुभवी नेताओं का मिश्रित कैबिनेट बन रहा है।
भाजपा कोटे की बड़ी खबर: प्रेम कुमार होंगे विधानसभा स्पीकर
भाजपा के वरिष्ठ नेता प्रेम कुमार को विधानसभा का स्पीकर बनाया जाएगा। यह निर्णय उनके संगठनात्मक अनुभव, सदन संचालन की महारत और दल में उनकी मजबूत पकड़ को ध्यान में रखकर लिया गया है।
भाजपा कोटे से 14 विधायकों को मंत्री पद के लिए फोन गया है। इनमें वरिष्ठ नेताओं के साथ युवा नेतृत्व भी शामिल है। सूची इस प्रकार है:
प्रेम कुमार
सम्राट चौधरी
विजय कुमार सिन्हा
रामकृपाल यादव
श्रेयसी सिंह
संजय टाइगर
नारायण शाह
रामा निषाद
नितिन नवीन
सुरेंद्र मेहता
लखेंद्र पासवान
अरुण शंकर प्रसाद
प्रमोद चंद्रवंशी
सबसे अधिक चर्चा श्रेयसी सिंह को लेकर है। जमुई से दूसरी बार जीत चुकी श्रेयसी एक अंतरराष्ट्रीय शूटर हैं और कॉमनवेल्थ गेम्स में गोल्ड मेडल जीत चुकी हैं। पहली बार मंत्री बनने जा रही श्रेयसी युवाओं के प्रतिनिधित्व का नया चेहरा मानी जा रही हैं।
जदयू कोटे के पांच मंत्री
जदयू कोटे से भी 5 विधायकों को मंत्री पद के लिए फोन किया गया है:
श्रवण कुमार
बिजेंद्र यादव
विजय चौधरी
अशोक चौधरी
लेसी सिंह
इनमें विजय चौधरी और अशोक चौधरी को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के सबसे भरोसेमंद नेताओं में गिना जाता है। दोनों की प्रशासनिक क्षमता और अनुभव उन्हें मंत्रिमंडल के महत्वपूर्ण स्तंभ बनाते हैं।
विधायक दल की बैठक और डिप्टी CM का फैसला
बुधवार को हुई विधायक दल की बैठक में नीतीश कुमार को सर्वसम्मति से नेता चुना गया। इसके बाद सम्राट चौधरी और विजय सिन्हा को डिप्टी मुख्यमंत्री बनाने का निर्णय औपचारिक रूप से तय किया गया।
गांधी मैदान में आयोजित होने वाले भव्य शपथ ग्रहण समारोह के लिए तैयारियाँ पूरी कर ली गई हैं। इस ऐतिहासिक अवसर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत कई राज्यों के मुख्यमंत्री भी उपस्थित रहेंगे।
नए मंत्रिमंडल का समग्र रूप
कुल मिलाकर, बिहार के नए मंत्रिमंडल में अनुभव, राजनीतिक संतुलन और युवा ऊर्जा का संतुलित मिश्रण देखने को मिलेगा। यह मंत्रिमंडल आने वाले कार्यकाल में राज्य की दिशा तय करने और विकास की योजनाओं को लागू करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।














