मुम्बई बोट हादसा: 110 को रेस्क्यू किया, अब तक 13 मरे, 5 की हालत गम्भीर, CM फडणवीस ने किया 5-5 लाख रुपये के मुआवजे का ऐलान
By: Rajesh Bhagtani Thu, 19 Dec 2024 1:31:15
मुंबई । मुंबई में बोट हादसे में अब तक 110 लोगों को रेस्क्यू किया जा चुका है। 13 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि पांच की हालत गंभीर बनी हुई है। मुंबई पुलिस ने रेस्क्यू ऑपरेशन में तेजी के लिए दो और बोट को भेज दिया है। इसके अलावा, मुंबई पुलिस के अधिकारी भी मौके पर पहुंचे हैं। शुरुआती जांच में पता चला है कि किसी ने भी लाइफ जैकेट नहीं पहनी थी।
गौरतलब है कि मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने हादसे की जानकारी देते हुए बताया कि मुंबई के बुचर द्वीप पर दोपहर बाद करीब 3:55 बजे 'नीलकमल' नाम की नाव हादसे का शिकार हो गई। शाम 7:30 बजे तक की जानकारी के अनुसार हादसे में 101 लोगों को सुरक्षित बचा लिया गया है और 13 लोगों की मौत हो गई है। मरने वालों में 10 नागरिक और 3 नौसेना के जवान हैं। दो लोग गंभीर रूप से घायल हैं, जिन्हें नौसेना के अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
देवेंद्र फडणवीस ने कहा, "11 क्राफ्ट और 4 हेलीकॉप्टर की मदद से नौसेना, तटरक्षक और पुलिस ने बचाव अभियान चलाया है। लापता लोगों के बारे में अंतिम जानकारी गुरुवार सुबह मिलेगी। शोक संतप्त परिवारों को मुख्यमंत्री राहत कोष से पांच लाख रुपये की अनुग्रह राशि दी जाएगी। पूरी घटना की जांच पुलिस और नौसेना द्वारा की जाएगी।"
बता दें कि मुंबई में गेटवे ऑफ इंडिया से एलिफेंटा जा रही बोट करंजा के उरण में पलट गई थी।
नीलकमल बोट में 30 यात्री सवार थे। हालांकि, अब तक बोट पर सवार यात्रियों की सही संख्या का पता नहीं चल पाया है। नौसेना, जेएनपीटी, तटरक्षक बल, येलोगेट पुलिस स्टेशन की 3 बोट और स्थानीय मछुआरों की मदद से घटनास्थल पर बचाव और राहत अभियान चलाया।
घटना की वीडियो भी सामने आया था, जिसमें देखा जा सकता है कि बोट धीरे-धीरे पानी में डूब रही है। लोगों को लाइफ जैकेट पहनाकर दूसरी नावों में शिफ्ट किया जा रहा है।
बीएमसी आपदा नियंत्रण ने बताया कि 'नीलकमल' नाम की एक निजी यात्री बोट बताया जा रहा है, करीब 110 पर्यटकों और पांच चालक दल के सदस्यों को लेकर विश्व प्रसिद्ध यूनेस्को हेरिटेज एलीफेंटा द्वीप पर जा रही थी और यह दुर्घटना शाम करीब 5.15 बजे हुई।
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि इंजन परीक्षण से गुजर रही भारतीय नौसेना की तेज गति नाव से ‘नीलकमल’ टकरा गई, जिससे नाव पलट गई और अधिकांश पर्यटक गेटवे ऑफ इंडिया से लगभग 10 किलोमीटर दूर रायगढ़ तट पर उरण, करंजा के पास अरब सागर में गिर गए।
सूत्रों ने बताया कि नौका ‘नीलकमल’ अचानक टक्कर लगने से टूट गई, पलट गई और डूबने लगी तथा यात्री समुद्र में गिर गए।
विपत्ति के बारे में कई स्रोतों से एसओएस प्राप्त होने पर, भारतीय नौसेना के चार हेलीकॉप्टरों और मरीन पुलिस, भारतीय तटरक्षक, जवाहरलाल नेहरू बंदरगाह प्राधिकरण सहित 15 अन्य जहाजों द्वारा स्थानीय मछुआरों और अन्य नौकाओं के साथ पीड़ितों को बचाने के लिए बड़े पैमाने पर बचाव अभियान शुरू किया गया।
पोत के मालिक राजेंद्र पडटे ने कहा कि ‘नीलकमल’ दोपहर करीब 3.15 बजे एलीफेंटा द्वीप के लिए अपनी नियमित पर्यटन यात्रा पर रवाना हुआ था और मुश्किल से कुछ घंटों बाद ही इस त्रासदी की सूचना मिली, “लेकिन यह हमारी गलती नहीं थी”।
पडटे ने मीडियाकर्मियों को बताया, “एक भारतीय नौसेना की स्पीडबोट ने पहले मेरी नाव को घेरा, फिर तेजी से आगे बढ़ी और फिर से तेज गति से वापस आकर ‘नीलकमल’ से टकरा गई। सभी पर्यटकों ने लाइफ जैकेट पहन रखी थी, जो अब अनिवार्य है। एक दर्जन से अधिक अन्य नावें बचाव कार्य में लगी हुई हैं।”
घटनास्थल पर मौजूद भारतीय किसान एवं श्रमिक पार्टी (पीडब्ल्यूपी) के महासचिव और पूर्व विधायक जयंत पी. पाटिल ने संबंधित अधिकारियों की कड़ी आलोचना की, जिसके परिणामस्वरूप यह त्रासदी हुई और इसके तुरंत बाद ‘नीलकमल’ पानी में डूब गई। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज शाम मुंबई में नौसेना के जहाज और नागरिक यात्री नाव की टक्कर पर दुख व्यक्त किया। उन्होंने प्रत्येक मृतक के परिजनों के लिए पीएमएनआरएफ से 2 लाख रुपये और दुर्घटना में घायल हुए सभी लोगों के लिए 50,000 रुपये की अनुग्रह राशि की घोषणा की। मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने नागपुर में विधानसभा में एक संक्षिप्त बयान दिया, जबकि उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने बचाव कार्यों में तेजी लाने के लिए मुंबई शहर के कलेक्टर संजय यादव और रायगढ़ कलेक्टर किसन जावले, साथ ही पुलिस उपायुक्त (बंदरगाह क्षेत्र) सुधाकर पठारे से बात की।