कर्नाटक में भी 'श्रद्धा' जैसा हत्याकांड, बेटे ने पहले किया पिता का कत्ल, 30 टुकड़ों में शव को काट लगाया ठिकाने
By: Priyanka Maheshwari Wed, 14 Dec 2022 12:40:51
श्रद्धा वॉल्कर मर्डर केस जैसा ही एक और मामला कर्नाटक से सामने आया है, जहां एक 20 साल के बेरहम बेटे ने खुद अपने पिता का कत्ल कर दिया और फिर उसकी लाश के 30 टुकड़े करके बोरवेल में फेंक दिए। यह वारदात बीती 6 दिसंबर की है। आरोपी बेटे की पहचान विठ्ठल के तौर पर हुई है। जिसे पुलिस ने सोमवार को गिरफ्तार कर लिया। इस वारदात से पूरे इलाके में सनसनी फैल गई है। बता दे, श्रद्धा वॉल्कर मर्डर केस में आरोपी ने अपनी मोहब्बत के 35 टुकड़े कर दिए थे। जिन्हें उसने दिल्ली के अलग-अलग इलाकों में ठिकाने लगाया था।
दिल दहला देने वाली यह वारदात कर्नाटक के बागलकोट जिले की है। जहां मुधोल इलाके में आरोपी बेटे ने अपने पिता की हत्या कर लाश को 30 टुकड़ों में काट डाला और फिर उन्हें बोरवेल में ठिकाने लगा दिया। पुलिस के मुताबिक, विठ्ठल ने पूछताछ में बताया कि जब भी उसका पिता परशुराम शराब के नशे में होता था, तो वह अपने बेटे पर हमला करता था। उसके साथ मारपीट करता था।
पिता पर रॉड से किया हमला
6 दिसंबर को भी ऐसा ही हुआ था। परशुराम ने शराब के नशे में फिर से विठ्ठल की पिटाई की। इस बात पर विठ्ठल को बहुत गुस्सा आ गया। उसने गुस्से में ही अपने पिता को एक रॉड से मारना शुरू कर दिया, इस दौरान परशुराम ये झेल नहीं सका और उसकी मौत हो गई। अपने पिता परशुराम को मारने के बाद विठ्ठल बुरी तरह से घबरा गया था और उसने अपने पिता की लाश को ठिकाने लगाने का फैसला किया। आरोपी बेटा परशुराम की लाश को मुधोल कस्बे के बाहरी इलाके में मौजूद अपने खेत के बोरवेल में फेंकना चाहता था। उसने ऐसा ही करने की कोशिश की। लेकिन वह लाश को बोरवेल के अंदर धकेल नहीं सका।
पिता की लाश को 30 टुकड़ों में काटा
अब विठ्ठल किसी भी तरह से लाश को ठिकाने लगाने की तरकीब सोच रहा था। तभी उसे एक खौफनाक आइडिया आया। उसने एक तेजधार हथियार का इंतजाम किया और फिर उससे अपने पिता की लाश के टुकड़े करने लगा। कड़ी मशक्कत के बाद उसने अपने पिता के मुर्दा जिस्म को 30 टुकड़ों में काट डाला और फिर उसने लाश के टुकड़ों को अपने खेत में लगे बोरवेल के अंदर फेंक दिया। पिता की लाश को ठिकाने लगाने के बाद विठ्ठल मौका-ए-वारदात से फरार हो गया। लेकिन शनिवार को वो अपने घर लौट आया लेकिन उसने परिवार के लोगों को बताया कि वह अपने पिता के साथ छोटी सी लड़ाई के बाद घर छोड़ कर चला गया था। जब घरवालों ने उससे उसके पिता के बारे में पूछा तो उसने कहा कि उसे उनके बारे में कोई जानकारी नहीं है।
पुलिस को विठ्ठल पर था शक
इसके बाद घरवालों ने मामले की सूचना पुलिस को दी। पुलिस ने छानबीन शुरू कर दी। परशुराम की तलाश की गई। दोस्तों, रिश्तेदारों और पड़ोसियों से उसके बारे में पूछा गया। लेकिन उसका कोई अता पता नहीं था। तफ्तीश आगे बढ़ने के साथ ही पुलिस को विठ्ठल पर शक हुआ। हालाकि, जब पुलिस ने विठ्ठल से पूछताछ की तो उसने पहले पुलिस के सामने खुद को बेकसूर बताया और कहा कि वो कुछ नहीं जानता। लेकिन जब पुलिस ने सख्त लहजे में पूछताछ की तो उसने सच उगल दिया। उसने पुलिस को बताया कि कैसे उसने परशुराम का मर्डर किया और कैसे लाश के 30 टुकड़े करके उसे ठिकाने लगाया। पुलिस ने उसकी निशानदेही पर खेत में जेसीबी मशीन से खुदाई की।
खेत में जहां जेसीबी मशीन से खुदाई चल रही थी, वहीं पुलिस ने परशुराम की लाश के कुछ टुकड़े बरामद कर लिए। इसके बाद पुलिस ने फौरन आरोपी विठ्ठल को गिरफ्तार कर लिया।
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