पहले कबूला फिर पलटा पाकिस्तान, कहा- हमारे देश में नहीं है दाऊद इब्राहिम

By: Pinki Sun, 23 Aug 2020 09:58:34

पहले कबूला फिर पलटा पाकिस्तान, कहा- हमारे देश में नहीं है दाऊद इब्राहिम

भारत का मोस्ट वॉन्टेड आतंकी दाऊद इब्राहिम पाकिस्तान में ही है। इस बात को अब पाकिस्तान ने भी कबूल कर ली है। पाकिस्तान ने शनिवार को 88 आतंकियों की लिस्ट जारी की। इसमें 1993 के मुंबई सीरियल ब्लास्ट के मास्टरमाइंड और मोस्ट वॉन्टेड आतंकी दाऊद इब्राहिम का भी नाम है। दरअसल, भारत बार-बार ये कहता रहा है कि पाकिस्तान दाऊद को पनाह दिए हुए है लेकिन अब पाकिस्तान का झूठ पकड़ा गया है। कई बार भारत ने कहा कि मुंबई धमाकों का मास्टरमाइंड दाउद इब्राहिम पाकिस्तान में है लेकिन पाकिस्तान हर बार नकारता रहा। भारत पाकिस्तान से कहता रहा कि भारत के मोस्ट वॉन्टेड आतंकी को पाकिस्तान भारत के हवाले करे लेकिन पाकिस्तान भारत की बात को नकारता रहा। हालांकि, अब पाकिस्तान इस सच को छिपा नहीं सका, जब पाकिस्तान के ऊपर एफएटीएफ का दबाव बढ़ा। पाकिस्तान को एफएटीएफ में ब्लैक लिस्ट हो जाने का डर था तो उसने 88 आतंकियों की एक लिस्ट एफएटीएफ (FATF) को सौंपी। इस लिस्ट में मोस्ट वॉन्टेड आतंकी दाऊद इब्राहिम का भी नाम है। एफएटीएफ की ग्रे लिस्ट से बाहर आने के लिए पाकिस्तान ने ये नई चाला चली, मगर अपनी ही चाल से उसके झूठ का पर्दाफाश हो गया।

पाकिस्तान ने एफएटीएफ की ग्रे लिस्ट से बाहर आने के लिए ये दिखावा किया कि उसने 88 आतंकियों के खिलाफ कार्रवाई की है। इन आतंकियों में हाफिज सईद, मसूद अजहर और दाऊद इब्राहिम का भी नाम शामिल है। पाकिस्तान ने माना कि दाऊद इब्राहिम कराची के व्हाइट हाउस में रहता है।

पाकिस्तान के दस्तावेज में दाऊद के इन 14 पासपोर्ट का जिक्र

पाकिस्तान के द्वारा जारी लिस्ट में दाऊद के नाम के साथ यह भी बताया गया है कि वह 14 पासपोर्ट रखता है और कराची में उसके तीन घर हैं। दाऊद 1993 के मुंबई बम धमाकों के बाद पाकिस्तान भाग गया था। इन धमाकों में 257 की जान चली गई थी और 1400 से ज्यादा लोग जख्मी हो गए थे। इसके बाद दाऊद के पाकिस्तान के अलग-अलग शहरों में होने की खबरें आती रहीं, लेकिन पाक ने उसकी मौजूदगी के बारे में खुलकर कभी नहीं कबूला।

- 30 जुलाई 1975 को बॉम्बे से जारी पासपोर्ट K560098
- 13 नवंबर 1978 को बॉम्बे से जारी पासपोर्ट M110522
- 30 जुलाई 1979 को बॉम्बे से जारी पासपोर्ट P537849
- 26 नवंबर 1981 को बॉम्बे से जारी पासपोर्ट R841697
- 3 अक्टूबर 1983 को बॉम्बे से जारी पासपोर्ट V57865
- 4 जून 1985 को बॉम्बे से जारी पासपोर्ट A-333602
- 26 जुलाई 1985 को बॉम्बे से जारी पासपोर्ट A501801
- 18 अगस्त 1985 को दुबई से जारी पासपोर्ट A717288
- 2 सितंबर 1989 को जेद्दाह में भारतीय दूतावास से जारी पासपोर्ट F823692
- 12 अगस्त 1991 को रावलपिंडी से जारी पाकिस्तानी पासपोर्ट G866537
- जुलाई 1996 को कराची से जारी पाकिस्तानी पासपोर्ट C-267185
- जुलाई 2001 में रावलपिंडी से जारी पाकिस्तानी पासपोर्ट H-123259
- रावलपिंडी से जारी पाकिस्तानी पासपोर्ट G-869537
- एक और पासपोर्ट KC-285901

पाकिस्तान के दस्तावेज में दाऊद के तीन ठिकानों का जिक्र


- व्हाइट हाउस, सऊदी मस्जिद के पास, कराची
- हाउस नंबर 37, 30th स्ट्रीट - डिफेंस हाउसिंग अथॉरिटी, कराची
- पलटियाल बंगलो, नूरबाद हिल एरिया, कराची


पाकिस्तान की सरकार ने कहा कि उसने दाऊद इब्राहिम के कहीं आने जाने पर पाबंदी लगाई गई है। हथियारों के व्यापार को रोक दिया गया है। दाऊद इब्राहिम से जुड़े सारे खाते सीज कर दिए गए हैं। पाकिस्तान की सरकार ने 18 अगस्त को दो अधिसूचनाएं जारी करते हुए 26/11 मुंबई हमले के साजिशकर्ता और जमात-उद-दावा के सरगना हाफिज सईद और जैश-ए-मोहम्मद के प्रमुख मसूद अजहर के अलावा अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहीम पर प्रतिबंधों की घोषणा की थी।

पाकिस्तान ने अचानक ऐसा क्यों किया?

अक्टूबर में मीटिंग

सवाल यह उठता है कि आखिर 27 साल बाद ऐसा क्या हो गया कि पाकिस्तान ने दाऊद की इतनी सारी डिटेल दुनिया के सामने जाहिर कर दी। इसकी वजह है फाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर्स (एफएटीएफ) की अक्टूबर में होने वाली मीटिंग। यह टास्क फोर्स दुनियाभर में मनी लॉन्ड्रिंग और टेरर फाइनेंसिंग नेटवर्क पर नजर रखती है। दुनियाभर के देश इस टास्क फोर्स की सिफारिश को मानते हैं।

पाकिस्तान ग्रे लिस्ट में


पाकिस्तान के सामने दिक्कत यह है कि आतंकियों से निपटने के मामले में अपने खराब रिकॉर्ड के कारण वह 2018 से इस टास्क फोर्स की ग्रे लिस्ट में है। एफएटीएफ की ग्रे लिस्ट में हाेना यानी दुनियाभर से आर्थिक मदद मिलने में परेशानी। पाकिस्तान को उम्मीद है कि आतंकियों के नाम बताकर अगर वह उनके खिलाफ कदम उठाता है तो वह ग्रे लिस्ट से बाहर आ सकता है। टास्क फोर्स ने पाकिस्तान को 27 पॉइंट का डिमांड लेटर दिया था। सितंबर तक यह सभी शर्तें पूरी की जानी हैं। अगर पाकिस्तान ने शर्तें नहीं मानीं, तो वह ब्लैक लिस्ट हो सकता है।

पाकिस्तान की आर्थिक हालत खस्ता

पाकिस्तान की आर्थिक हालत बेहद खस्ता है। सऊदी अरब ने उसे कर्ज और ऑयल देने से साफ इनकार कर दिया है। इतना ही नहीं, सऊदी सरकार ने पाकिस्तान से साफ कह दिया है कि उसे इस साल के अंत तक 6।2 अरब डॉलर का कर्ज चुकाना होगा।

यह पहली बार नहीं है जब एफएटीएफ की मीटिंग से पहले पाकिस्तान ने दिखावे के तौर पर आतंकियों या आतंकी संगठनों के खिलाफ कार्रवाई की हो। पिछले साल मई में भी उसने 8 आतंकी संगठनों के खिलाफ कार्रवाई की थी। इस बार 88 आतंकियों पर प्रतिबंध लगाए गए हैं। इन आतंकियों के बैंक अकाउंट और प्रॉपर्टी सीज कर दी गई हैं। साथ ही इन पर ट्रैवल बैन भी लगाया गया है।

इस लिस्ट के बारे में पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय ने एक बयान में कहा- हम यूएन चार्टर के हिसाब से कदम उठा रहे हैं। हमें उम्मीद है कि दूसरे देश भी पाकिस्तान के इस कदम का समर्थन करते हुए ऐसा ही करेंगे। इन आतंकियों पर प्रतिबंध लगाए जाने से पहले प्रधानमंत्री इमरान खान ने शुक्रवार को कैबिनेट मीटिंग की। इसमें देश की अर्थव्यवस्था और एफएटीएफ की अक्टूबर में होने वाली मीटिंग के बारे में चर्चा हुई।

फिर पलटा पाकिस्‍तान

पाकिस्तान ने एफएटीएफ में ब्लैक लिस्ट होने से बचने के लिए उसने दांव खेला जरूर है, मगर अब वो एक बार फिर पलट गया है। अब पाकिस्तान ने कहा है कि दाऊद इब्राहिम उसकी जमीन पर नहीं है। पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय ने बयान जारी कर पाकिस्तान में दाऊद की मौजूदगी को खारिज कर दिया है। पाक विदेश मंत्रालय ने कहा कि कुछ रिपोर्ट्स में कहा जा रहा है कि पाकिस्तान नए प्रतिबंध लगा रहा है। ये रिपोर्ट गलत है और इसमें जरा भी सच्चाई नहीं है। मंत्रालय ने कहा है कि कुछ रिपोर्ट्स कहती हैं कि पाकिस्तान ने अपनी जमीन पर कुछ सूचीबद्ध व्यक्तियों (दाऊद इब्राहिम) की मौजूदगी को स्वीकारा है, ये दावा भी निराधार और भ्रामक है।

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