गुजरात के अहमदाबाद में एयर इंडिया की फ्लाइट AI171 के गंभीर और दुखद तरीके से दुर्घटनाग्रस्त होने के बाद शिवसेना (उद्धव गुट) के प्रमुख नेता संजय राउत ने केंद्र सरकार पर तीखा हमला बोला है। उन्होंने बेहद गंभीर आरोप लगाते हुए दावा किया है कि इस भयावह हादसे में लगभग 300 लोगों की मौत हुई है और इस त्रासदी के लिए सिविल एविएशन मंत्रालय और केंद्र सरकार पूरी तरह जिम्मेदार हैं।
मुंबई में पत्रकारों से बातचीत करते हुए संजय राउत ने तीव्र शब्दों में कहा, "नागरिक उड्डयन एक अत्यंत महत्वपूर्ण और संवेदनशील क्षेत्र है, लेकिन वर्तमान सरकार इसे कतई गंभीरता से नहीं ले रही है। हर आवश्यक ढांचे और सेवाओं को निजी हाथों में सौंप दिया गया है। एयरपोर्ट्स हों या एयर इंडिया जैसी राष्ट्रीय संपत्ति — सब कुछ बेच दिया गया। सरकार को अब लगता है कि निजीकरण के बाद उसकी कोई जवाबदेही नहीं रही। अगर सच में ऐसा है, तो फिर आपके मंत्री घटनास्थल पर कैमरे और माइक लेकर क्या कर रहे हैं?"
Mumbai, Maharashtra: On the crash of Air India Flight AI171, Shiv Sena (UBT) leader Sanjay Raut says, "Civil aviation is an important sector, but the government is not taking it seriously. Everything has been sold off... The government thinks its responsibility is over. If that’s… pic.twitter.com/aEiaNfX39K
— IANS (@ians_india) June 14, 2025
‘मेंटेनेंस में भारी लापरवाही’
उन्होंने आगे आरोप लगाया कि "आज जो भयावह आंकड़े सामने आ रहे हैं वो चौंकाने वाले हैं। DGCA यानी नागरिक उड्डयन महानिदेशालय में काम करने वाले स्टाफ की संख्या 50 फीसदी से भी कम है, जिससे साफ जाहिर होता है कि सरकार इस पूरी प्रणाली को गंभीरता से नहीं ले रही। एयरक्राफ्ट में जिस स्तर का नियमित मेंटेनेंस होना चाहिए, वो पूरी तरह से नाकाफी है। पिछले 10 वर्षों का विस्तृत लेखा-जोखा निकालें, तो यह स्पष्ट हो जाएगा कि कितने राफेल, ड्रीमलाइनर और अपाचे जैसे विमानों की खरीद-बिक्री हुई है और उसमें कितना भ्रष्टाचार रहा है।"
‘जांच से कुछ सामने नहीं आएगा’
संजय राउत ने यह भी कहा कि "सरकार चाहे जितनी जांच बैठा ले, लेकिन ऐसी खानापूर्ति से कुछ भी सामने नहीं आएगा। हर बार की तरह यह हादसा भी फाइलों में दब जाएगा और पीड़ित परिवारों को न्याय नहीं मिलेगा। इसलिए केंद्र सरकार को इस हवाई हादसे की पूरी जिम्मेदारी खुले तौर पर लेनी चाहिए और जनता के सामने जवाबदेही तय करनी चाहिए।"