
भारत-इंग्लैंड के बीच चल रही एंडरसन-तेंदुलकर ट्रॉफी के तीसरे टेस्ट में ऑलराउंडर रविंद्र जडेजा ने एक बार फिर अपने शानदार प्रदर्शन से क्रिकेट इतिहास में एक नया अध्याय जोड़ा है। 36 वर्षीय जडेजा ने लगातार तीसरे मैच में अर्धशतक जमाया और वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप (WTC) में 15 फिफ्टी और 130 से अधिक विकेट लेने वाले दुनिया के पहले खिलाड़ी बन गए हैं। उनके इस रिकॉर्ड ने भारत की पहली पारी को मजबूती दी और टीम को इंग्लैंड के स्कोर की बराबरी दिलाई।
WTC में सबसे अनोखे रिकॉर्ड के मालिक बने जडेजा
तीसरे टेस्ट में 72 रन की शानदार पारी खेलने वाले रविंद्र जडेजा ने वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप के इतिहास में अब तक 15 अर्धशतक पूरे कर लिए हैं। इसके साथ ही उनके नाम 134 विकेट भी दर्ज हो चुके हैं। ऐसा कारनामा इससे पहले किसी भी खिलाड़ी ने नहीं किया है। जडेजा की यह पारी केवल रिकॉर्ड तक सीमित नहीं रही, बल्कि भारत को पहली पारी में 387 रन की बराबरी तक पहुंचाने में भी अहम भूमिका निभाई।
यह पारी जडेजा की लगातार तीसरी फिफ्टी रही, जो इस सीरीज में उनकी निरंतरता और ऑलराउंड क्लास को दर्शाती है। इससे पहले दूसरे टेस्ट में भी जडेजा ने उपयोगी रन बनाए थे, जिससे भारत को बड़ी जीत मिली थी।
🚨 ALERT 🚨
— Rajesh sinha (@rajsinha369) July 13, 2025
~ Ravindra Jadeja in England: 889 runs at an avg of 37.04
~ Jacques Kallis in England: 848 runs at an avg of 35.33
👉🏻 BTW, Jadeja in England averages more than Pujara, Rahane, Virat Kohli, MS Dhoni and VVS Laxman 😲#INDvsENG pic.twitter.com/XW8WI1nly1
पहली पारी में बना ऐतिहासिक संयोग: दोनों टीमों ने बनाए समान स्कोर
लॉर्ड्स टेस्ट के तीसरे दिन भारत ने इंग्लैंड की पहली पारी के 387 रन का पूरा जवाब दिया। केएल राहुल ने 100, ऋषभ पंत ने 74 और रविंद्र जडेजा ने 72 रन बनाए। यह टेस्ट क्रिकेट के इतिहास में केवल नौवां मौका है जब दोनों टीमों ने पहली पारी में समान स्कोर बनाया हो।
387 रन का यह स्कोर ऐसे मौकों में पांचवां सबसे बड़ा स्कोर है। इससे पहले इंग्लैंड और वेस्टइंडीज ने 1994 में 593 रन बनाए थे, जो अब तक का सबसे बड़ा समान स्कोर है। ऐसे सभी मुकाबले ड्रॉ पर खत्म हुए हैं, जिससे लॉर्ड्स टेस्ट में परिणाम की संभावनाओं को लेकर संदेह बना हुआ है।
भारत इससे पहले दो बार ऐसी स्थिति में रहा है — 1958 में वेस्टइंडीज के खिलाफ कानपुर में (222 रन) और 1986 में इंग्लैंड के खिलाफ बर्मिंघम में (390 रन)। अब तीसरी बार भारत ने इस अनोखी सूची में जगह बनाई है।
श्रृंखला 1-1 से बराबर, निर्णायक मोड़ पर
पांच मैचों की इस टेस्ट सीरीज में फिलहाल रोमांच चरम पर है। इंग्लैंड ने पहला टेस्ट जीता था, जबकि भारत ने दूसरे मुकाबले में जोरदार वापसी करते हुए 336 रन से बड़ी जीत दर्ज की थी। उस जीत में मोहम्मद सिराज और आकाश दीप की तेज गेंदबाजी ने अहम भूमिका निभाई थी।
तीसरे टेस्ट में दोनों टीमों के पहले पारी के स्कोर बराबर होने के बाद सीरीज का संतुलन और दिलचस्प हो गया है। ऐसे में आगे के मुकाबले अब निर्णायक साबित हो सकते हैं और जडेजा जैसे खिलाड़ी का फॉर्म भारत के लिए अहम होने वाला है।














