
क्रिकेट के इतिहास में एक ऐसा दिन दर्ज हो गया, जिसे वेस्टइंडीज शायद हमेशा भूलना चाहेगा, लेकिन आंकड़े इसकी गवाही देते रहेंगे। ऑस्ट्रेलिया ने वेस्टइंडीज को मात्र 27 रनों पर ऑलआउट कर न केवल तीसरा टेस्ट 178 रनों से जीत लिया, बल्कि 137 साल पुराने टेस्ट क्रिकेट का एक शर्मनाक रिकॉर्ड भी वेस्टइंडीज के नाम करा दिया।
137 साल पुराना रिकॉर्ड टूटा
1888 में ऑस्ट्रेलिया की टीम इंग्लैंड के खिलाफ सिडनी टेस्ट में मात्र 36 रन पर ऑलआउट हुई थी, और उसके शीर्ष छह बल्लेबाजों ने कुल 12 रन बनाए थे। वह रिकॉर्ड अब इतिहास हो गया है क्योंकि वेस्टइंडीज के टॉप 6 बल्लेबाज मिलकर सिर्फ 6 रन ही बना सके, जो टेस्ट क्रिकेट के इतिहास का अब तक का सबसे निम्नतम योगदान है।
27 रन पर पूरी टीम ढेर, टेस्ट क्रिकेट का दूसरा सबसे कम स्कोर
वेस्टइंडीज की दूसरी पारी केवल 27 रनों पर सिमट गई — जो कि टेस्ट क्रिकेट के इतिहास में दूसरा सबसे कम स्कोर है। इस शर्मनाक आंकड़े के साथ, वेस्टइंडीज ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ सबसे कम स्कोर बनाने का रिकॉर्ड भी अपने नाम कर लिया।
इस मैच में मिचेल स्टार्क ने अपने 100वें टेस्ट में धमाकेदार प्रदर्शन करते हुए 15 गेंदों में 5 विकेट झटकने का नया रिकॉर्ड बनाया। वहीं स्कॉट बोलैंड ने गुलाबी गेंद से टेस्ट क्रिकेट में पहली हैट्रिक लेकर इतिहास रच दिया।
स्टार्क के स्पैल को क्रिकेट विशेषज्ञों ने "स्पेल ऑफ द सेंचुरी" करार दिया है क्योंकि इतनी तेजी से पांच विकेट आज तक किसी टेस्ट गेंदबाज ने नहीं लिए थे।
गुलाबी गेंद से सबसे शर्मनाक प्रदर्शन, 7 बल्लेबाज हुए शून्य पर आउट
यह टेस्ट मैच पिंक बॉल यानी गुलाबी गेंद से खेला गया था, जो खुद में चुनौतीपूर्ण मानी जाती है। लेकिन वेस्टइंडीज की टीम इसके सामने जिस तरह बिखरी, वह पिंक बॉल इतिहास का सबसे कम टीम स्कोर बन गया। इससे पहले गुलाबी गेंद से टेस्ट मैचों में किसी टीम का इतना खराब प्रदर्शन नहीं हुआ था।
वेस्टइंडीज की पारी में 7 बल्लेबाज शून्य पर आउट हुए, जो किसी टेस्ट पारी में अब तक का संयुक्त रूप से सबसे ज्यादा 'डक आउट' है। इससे पहले केवल 6 बार ही किसी पारी में छह बल्लेबाज डक पर आउट हुए थे।
ऑस्ट्रेलिया ने सीरीज 3-0 से की क्लीन स्वीप
इस जीत के साथ ही ऑस्ट्रेलिया ने तीन टेस्ट मैचों की सीरीज को 3-0 से अपने नाम कर लिया और वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप (WTC) की अंक तालिका में मजबूती से आगे बढ़ा।
एक समय था जब वेस्टइंडीज की टीम क्लाइव लॉयड, विवियन रिचर्ड्स और कर्टली एम्ब्रोस जैसे दिग्गजों के बल पर विश्व क्रिकेट पर राज करती थी। लेकिन मौजूदा प्रदर्शन उनकी गिरती साख को स्पष्ट रूप से दर्शाता है।
टेस्ट क्रिकेट में नया युग, नए रिकॉर्ड
ऑस्ट्रेलिया का यह प्रदर्शन एक बार फिर साबित करता है कि टेस्ट क्रिकेट में तकनीक, संयम और गेंदबाजी कौशल का कितना महत्व है। स्टार्क और बोलैंड जैसे गेंदबाजों ने ये भी दिखा दिया कि तेज गेंदबाजी की धार आज भी टेस्ट क्रिकेट की जान है।
अब देखना यह होगा कि वेस्टइंडीज इस शर्मनाक हार से कैसे उबरती है और ऑस्ट्रेलिया इस लय को कैसे बनाए रखता है। लेकिन एक बात तो तय है — 17 जुलाई 2025 का दिन क्रिकेट इतिहास में लंबे समय तक याद रखा जाएगा।














