राजस्थान के जैसलमेर जिले में शुक्रवार सुबह उस समय हड़कंप मच गया जब एक स्थानीय नागरिक को नर्सरी के पास बम जैसी एक धातु की संदिग्ध वस्तु मिली। यह घटना गुरुवार रात को पाकिस्तान द्वारा किए गए मिसाइल और ड्रोन हमलों की श्रृंखला के कुछ ही घंटों बाद सामने आई है, जब राजस्थान के कई सैन्य ठिकानों को निशाना बनाया गया था।
यह संदिग्ध वस्तु जोगियों की बस्ती में मिली, जो किशनघाट क्षेत्र के सामने स्थित है। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, यह वस्तु ड्रोन के मलबे जैसी प्रतीत हो रही है। वस्तु मिलने के तुरंत बाद स्थानीय निवासी ने गांव के सरपंच प्रतिनिधि को सूचना दी, जिसके बाद पुलिस, वायुसेना और सेना के बम निष्क्रिय दस्ते मौके पर पहुंचे।
पुलिस का कहना है कि अभी तक यह स्पष्ट नहीं है कि वस्तु सक्रिय (live) है या पहले ही निष्क्रिय हो चुकी है। "फिलहाल यह जांच का विषय है कि यह वस्तु पाकिस्तान की ओर से गुरुवार रात करीब 10:30 बजे किए गए हमले के दौरान गिरी थी या नहीं," एक पुलिस अधिकारी ने पीटीआई को बताया।
इलाके को सील कर दिया गया है और सुरक्षा एजेंसियां जांच में जुटी हैं। प्रशासन ने लोगों से शांति बनाए रखने और सुरक्षा निर्देशों का पालन करने की अपील की है।
बढ़ते भारत-पाक तनाव के चलते जैसलमेर में शुक्रवार सुबह 6 बजे तक ब्लैकआउट जारी रखा गया। हालांकि सुबह हालात सामान्य रहे। एक स्थानीय व्यक्ति ने कहा, "हम कुछ देख नहीं पाए, लेकिन जो आवाजें सुनाई दीं, वो डरावनी थीं।"
सरकार ने जैसलमेर, बाड़मेर, बीकानेर, श्रीगंगानगर और जोधपुर में सभी सरकारी और निजी स्कूल बंद कर दिए हैं। अंतरराष्ट्रीय सीमा के समीप तैनात प्रशासनिक और पुलिस अधिकारियों की छुट्टियां रद्द कर दी गई हैं। साथ ही, बीकानेर, किशनगढ़ (अजमेर) और जोधपुर हवाई अड्डों पर उड़ानों को 10 मई तक स्थगित कर दिया गया है।
उधर, गंगानगर से रण ऑफ कच्छ तक वायुसेना के लड़ाकू विमान लगातार गश्त पर हैं, ताकि किसी भी संभावित खतरे का जवाब तत्काल दिया जा सके।