Summer Vacation 2022: गर्मियों में घूम आएं ये 10 पॉपुलर हिल स्टेशन, जानें कितना आएगा खर्चा

By: Priyanka Maheshwari Sat, 16 Apr 2022 1:26:56

Summer Vacation 2022: गर्मियों में घूम आएं ये 10 पॉपुलर हिल स्टेशन, जानें कितना आएगा खर्चा

गर्मियों की छुट्टियां पड़ने वाली हैं और इस दौरान हर घर में समर वेकेशन पर चर्चा चल रही है। गर्मियों में कहां जाएं? कितना पैसा खर्च होगा? सही रूट क्या है? और वहां टूरिस्ट अट्रैक्शन यानी घूमने-फिरने की कौन सी जगहें अच्छी हैं। हर कोई बस इन्हीं सवालों के जवाब ढूंढ रहा है। आम तौर पर छुट्टियों पर जाने के दो तरीके हैं। पहला, आप किसी टूर कंपनी का पैकेज ले सकते हैं। दूसरा, आप खुद की प्लानिंग से सारा काम आसानी से कर पैसे बचा सकते हैं। तो आइए आज हम आपको भारत की सबसे खूबसूरत टूरिस्ट डेस्टिनेशंस और वहां के रूट और खर्चे के बारे में विस्तार से बताते हैं...

hill stations in summer,hill stations in india,tourist destinations in india,holidays in india

मलाना (हिमाचल प्रदेश)

हिमाचल प्रदेश में कई ऐसी जगहें जहां साल भर सैलानियों के भीड़ देखने को मिलती है, लेकिन कुल्लू घाटी के उत्तर पूर्व में स्थित मलाना गांव के बारे में बहुत कम लोगों को पता होगा। यह गांव ना सिर्फ प्राचीन है बल्कि बेहद खूबसूरत है। मलाना गांव कुल्लू जिले में करीब 12 हजार फुट की ऊंचाई पर बसा है, इसके चारों तरफ गहरी खाई और बर्फीले पहाड़ हैं। मलाना को भारत का छोटा ग्रीस कहा जाता है। ये जगह अपनी खूबसूरती के साथ-साथ प्राचीन संस्कृति के लिए भी प्रसिद्ध है। जमदग्नि और रेणुका देवी का मंदिर यहां के पर्यटन के दो मुख्य केंद्र हैं। इसके अलावा आप यहां देवदार के घने जंगल, मलाना बांध, देओ तिब्बा माउंटेन और पार्वती वैली भी देखने जा सकते हैं। इस गांव के लोग खुद को सिकंदर के सैनिकों के वंशज बताते हैं। यही नहीं यहां रहने वाले लोगों के नैन नक्श भी दूसरे पहाड़ी जगहों से काफी अलग हैं। कहा जाता है कि जब सिकंदर भारत पर आक्रमण करने आया था, तब उनके साथ आए सैनिकों ने इस गांव में पनाह ली थी। आक्रमण में मिली हार के बाद सिकंदर यहां से चला गया था, लेकिन उनके साथ आए कुछ सैनिक यही रह गए और इस गांव में अपना घर बना लिया। हालांकि, अभी तक ये बात पूरी तरह से साबित नहीं हो पाई है, लेकिन गांव में रखी कुछ ऐसी चीजें हैं, जो यह सब कुछ सोचने पर मजबूर कर देती है। दरअसल गांव में सिकंदर के समय की एक तलवार वहां के मंदिर में रखी हुई है। यही नहीं यहां के लोग अलग भाषा बोलते हैं, जिसे अन्य जगहों पर नहीं बोली जाती।

रूट

मलाना गांव पहुंचने के लिए यात्रियों को ट्रेन और बस दोनों की सुविधाएं मिल सकती हैं। अगर आप बस से आ रही हैं तो इसके लिए आपको सबसे पहले मलाना बस स्टॉप पहुंचना होगा और वहीं अपनी गाड़ी छोड़नी पड़ेगी। ध्यान रखें कि यहां कोई पार्किंग सुविधा नहीं है, इसलिए आप अपनी रिस्क पर ही गाड़ी छोड़ें। मलाना बस स्टॉप पहुंचने के बाद आपको 3-4 किलोमीटर पैदल ट्रैकिंग कर गांव तक पहुंचना होगा। वहीं अगर आप ट्रेन से आ रही हैं तो सबसे नजदीकी रेलवे स्टेशन जोगिंदर नगर है। जहां से गांव 123 किलोमीटर दूर है। आपको यहां से बस लेनी होगी, जो आपको मलाणा बस स्टॉप तक छोड़ देगी। इसके अलावा नजदीकी एयरपोर्ट की बात करें तो वह है भुंतर, जो गांव से 40 किलोमीटर दूर है। आप यहां से बस या फिर प्राइवेट टैक्सी कर गांव तक आसानी से पहुंच सकते हैं।

टूरिस्ट अट्रैक्शन


जमदग्नि मंदिर, द श्राइन ऑफ रेनुका देवी मंदिर, खीरगंगा, कसोल, तोश और मणिकरन

घूमने का सबसे अच्छा समय

मई से अगस्त

खर्चा

करीब 8,000 रुपये

hill stations in summer,hill stations in india,tourist destinations in india,holidays in india

चितकुल (हिमाचल प्रदेश)

चितकुल हिमाचल प्रदेश के किन्नौर जिले का एक खूबसूरत गांव है। चितकुल गांव की ऊँचाई लगभग 11,319 फीट। चितकुल भारत की एक छिपी हुई जगहों में से एक है। यह भारत-तिब्बत बॉर्डर पर बसा हुआ सबसे आखिरी शहर है। बसपा नदी के तट पर बसा चितकुल आखिरी ऐसा गांव है जहां भारतीय बिना किसी परमिशन के आजादी से घूम सकते हैं। चितकुल धरती पे किसी स्वर्ग से कम भी नहीं है। इस जगह के बारे में कहा जाता है की भारत का अंतिम गांव होने के कारण यहां बिल्कुल भी प्रदूषण नहीं है, इसलिए आज भी यहां पर बिलकुल शुद्ध हवाएँ चलती है।

रूट

कार, बस, ट्रेन या फ्लाइट से चितकुल पहुंचा जा सकते हैं। चितकुल का नजदीकी एयरपोर्ट भुंतर है और नजदीकी रेलवे स्टेशन कालका है। सेल्फ ड्राइविंग वाले दिल्ली-चंडीगढ़-शिमला-करचम होते हुए चितकुल पहुंच सकते हैं।

टूरिस्ट अट्रैक्शन

भारत का आखिरी ढाबा, माथी मंदिर, बसपा नदी, हाइड्रो फ्लोर मिल, बौद्ध मंदिर, सेब के बाग और चितकुल फोर्ट।

घूमने का सबसे अच्छा समय

चितकुल जाने का सबसे सही समय है गर्मियों का विशेष रूप से आप यहां अप्रैल से जून और सितंबर से अक्टूबर के बीच में कभी भी यहां आ सकते हो। चितकुल गर्मियों के समय भी बहुत ठंडा रहता है गर्मियों में दिन के समय यहां का तापमान 18 डिग्री रहता है, और रात होते होते 5 डिग्री तक चला जाता है। चितकुल 12 महीने ही काफ़ी ठंडा रहता है।

खर्चा

करीब 15,000 रुपये

hill stations in summer,hill stations in india,tourist destinations in india,holidays in india

मैकलॉडगंज (हिमाचल प्रदेश)

मैकलॉडगंज हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा जिले में एक छोटी सी जगह है। यह जगह समुद्र तल से करीब 6,381 फीट ऊंचाई पर स्थित है। प्रसिद्ध तिब्बती आध्यात्मिक नेता दलाई लामा के घर होने के कारण यह हिल स्टेशन दुनिया भर में काफी लोकप्रिय है। चारों ओर पहाड़ियों के बीच स्थित, मैक्लोडगंज प्राचीन तिब्बती और ब्रिटिश संस्कृति से घिरा हुआ है। इसके अलावा मैक्लॉडगंज में पर्वत श्रृंखला की ऊंची-नीची चोटियां और उनके ऊपर जमकर पिघल चुकी बर्फ के निशान और चट्टानों पर खड़े चीड़ और देवदार के हरे-भरे पेड़ हर किसी के मन को अपनी ओर खींचते हैं। अपनी इस खूबसूरती की वजह से यहां की वादियों के मनमोहक दृश्य पर्यटकों के जेहन में हमेशा के लिए बस जाते हैं।

रूट

दिल्ली से मैकलॉडगंज के लिए कोई भी सीधी फ्लाइट नहीं है, कोई 18 KM की दूरी पर गग्गल एयरपोर्ट है जो कि सब से बढ़िया रहता है उन लोगों के लिए जो कि फ्लाइट के द्वारा मैकलॉडगंज जाना चाहते हैं। अपने वाहन के साथ आप दिल्ली-सोनीपत-पानीपत-करनाल-अंबाला-रूपनगर-आनंदपुर साहिब और नांगल होते हुए मैकलॉडगंज पहुंच सकते हैं।

टूरिस्ट अट्रैक्शन


त्रिउंड, भगसू वॉटरफॉल, भागुनाथ मंदिर, नमग्याल मॉनेस्ट्री, कांगड़ा फोर्ट।

घूमने का सबसे अच्छा समय


मई-जून

खर्चा

करीब 10,000 रुपये

hill stations in summer,hill stations in india,tourist destinations in india,holidays in india

अल्मोड़ा (उत्तराखंड)

अल्मोड़ा भारतीय राज्य उत्तराखण्ड का एक महत्वपूर्ण नगर है। यह अल्मोड़ा जिले का मुख्यालय भी है। अल्मोड़ा नगर अपनी ऐतिहासिक विरासत के साथ साथ प्राकृतिक सुंदरता के लिए प्रसिद्ध है। नगर में एक ओर चन्दकालीन किले तथा मंदिर हैं, तो वहीं दूसरी ओर ब्रिटिशकालीन चर्च तथा पिकनिक स्थल भी उपस्थित हैं। अल्मोड़ा की आबादी करीब 35,000 है। यूनीक हैंडीक्राफ्ट, प्राचीन मंदिर और प्रकृति के अद्भुत नजारों के लिए भी अल्मोड़ा टूरिस्ट के बीच बहुत फेमस है।

रूट

कार, बस, ट्रेन या फ्लाइट से अल्मोड़ा पहुंच सकते हैं। अल्मोड़ा के सबसे नजदीक पंतनगर एयरपोर्ट पड़ता है और काठगोदाम यहां का सबसे नजदीकी रेलवे स्टेशन है। दिल्ली-मुरादाबाद-रूद्रपुर-हल्दवानी-रानीखेत होते हुए आप अल्मोड़ा पहुंच सकते हैं।

टूरिस्ट अट्रैक्श

ब्राइट एंड कॉर्नर, गोविंड बल्लभ म्यूजियम, चिताई गोलू देवता मंदिर, कालीमठ अल्मोड़ा और कासर देवी का मंदिर

घूमने का सबसे अच्छा समय

अप्रैल से जुलाई

खर्चा

करीब 10,000 रुपये

hill stations in summer,hill stations in india,tourist destinations in india,holidays in india

माउंट आबू (राजस्थान)

गर्मियों में आप राजस्थान के एकमात्र हिल स्टेशन माउंट आबू जाने का प्लान कर सकते हैं। यह हिल स्टेशन राजस्थान के सिरोही जिले में है, जिसकी सैर करने दुनियाभर से पर्यटक आते हैं। माउंट आबू हरे-भरे मैदान, झरने, झील और नदियों से घिरा हुआ है। माउंट आबू ने जबसे एक टूरिस्ट डेस्टिनेशन के रूप में अपनी पहचान बनाई है, तबसे हर साल लाखों लोग यहां घूमने आते हैं। यहां गुजारे यादगार लम्हों को आप यकीनन जिंदगीभर नहीं भुला सकेंगे। माउंट आबू के बीच में बनी नक्की झील चारों तरफ से अरावली पहाड़ियों से घिरी हुई है। इस खूबसूरत जगह का नजारा देखते बनता है। परिवार के साथ मस्ती करने का प्लान हो या अपने पार्टनर के साथ रोमांटिक शाम बितानी हो, ये जगह परफेक्ट रहेगी। माउंट आबू हिन्दू और जैन धर्म का प्रमुख तीर्थस्थल है। यहां का ऐतिहासिक मंदिर और प्राकृतिक खूबसूरती सैलानियों को अपनी ओर खींचती है। 1190 ई। के दौरान आबू का शासन राजा जेतसी परमार भील के हाथो में था। बाद में आबू भीम देव द्वितीय के शासन का क्षेत्र बना। माउंट आबू चौहान साम्राज्य का हिस्सा बना। बाद में सिरोही के महाराजा ने माउंट आबू को राजपूताना मुख्यालय के लिए अंग्रेजों को पट्टे पर दे दिया। ब्रिटिश शासन के दौरान माउंट आबू मैदानी इलाकों की गर्मियों से बचने के लिए अंग्रेजों का पसंदीदा स्थान था।

रूट

आप कार, बस, ट्रेन या फ्लाइट से माउंट आबू पहुंच सकते हैं। इसके सबसे नजदीक डबोक एयरपोर्ट पड़ता है और आबू रोड़ यहां का सबसे नजदीकी रेलवे स्टेशन है। आप दिल्ली-गुरुग्राम-पुष्कर-अल्वर-अजमेर होते हुए आप माउंट आबू पहुंच सकते हैं।

टूरिस्ट अट्रैक्शन

दिलवाड़ा जैन मंदिर, सनसेट प्वॉइंट, अचलेश्वर महादेव मंदिर, माउंट आबू बाजार और वाइल्ड सेंक्चुरी
घूमने का सबसे अच्छा समय-

अप्रैल से जून

खर्चा

करीब 7,000 रुपये

hill stations in summer,hill stations in india,tourist destinations in india,holidays in india

नैनीताल (उत्तराखंड)

नैनीताल (Nainital) भारत के उत्तराखण्ड राज्य के नैनीताल ज़िले में स्थित एक नगर और महत्वपूर्ण पर्यटक स्थल है। यह ज़िले का मुख्यालय भी है। नैनीताल हिमालय की कुमाऊँ पहाडि़यों की तलहटी में स्थित है। समुद्र तल से नैनीताल की कुल ऊंचाई लगभग 1938 मीटर (6358 फुट) है। नैनीताल की घाटी में नाशपाती के आकार की एक झील है जो नैनी झील के नाम से जानी जाती है। यह झील चारों ओर से पहाड़ों से घिरी है तथा इसकी कुल परिधि लगभग दो मील है। नैनीताल में ग्रीष्मकाल समशीतोष्ण होता है, जिसके दौरान अधिकतम तापमान 27 डिग्री सेल्सियस (81°F) तथा न्यूनतम तापमान 10 डिग्री सेल्सियस (50°F) के करीब रहता है। गर्मियों में नैनीताल की आबादी उसकी कुल आबादी से लगभग पाँच गुणा से भी अधिक तक बढ़ जाती है जिसका मुख्य कारण मैदानी इलाकों से आने वाले पर्यटकों की वार्षिक आमद है। नैनीताल का मुख्‍य आकर्षण यहाँ की झील है। स्‍कंद पुराण में इसे त्रिऋषि सरोवर कहा गया है। कहा जाता है कि जब अत्री, पुलस्‍त्‍य और पुलह ऋषि को नैनीताल में कहीं पानी नहीं मिला तो उन्‍होंने एक गड्ढा खोदा और मानसरोवर झील से पानी लाकर उसमें भरा। इस झील के बारे में कहा जाता है यहां डुबकी लगाने से उतना ही पुण्‍य मिलता है जितना मानसरोवर नदी से मिलता है। यह झील 64 शक्ति पीठों में से एक है।

रूट

दिल्ली-एनसीआर से नैनीताल की दूरी सिर्फ 323 किलोमीटर है। ऐसे में आप कार, बस या ट्रेन के जरिए आसानी से हिलस्टेशन पहुंच सकते हैं। काठगोदाम यहां का सबसे नजदीकी रेलवे स्टेशन है। आप दिल्ली-मुरादाबाद-टांडा-डाडियाल-बाजपुर से कालाढूंगी होते हुए नैनीताल पहुंच सकते हैं।

टूरिस्ट अट्रैक्शन

नैनीताल झील, नैना पीक, कैंची धाम, नैना देवी मंदिर और ईको केव गार्डन्स

घूमने का सबसे अच्छा समय

अप्रैल से जून और दिसंबर से जनवरी

खर्चा

करीब 5,000 रुपये

hill stations in summer,hill stations in india,tourist destinations in india,holidays in india

कूर्ग (कर्नाटक)

कुर्ग या कोडागु, कर्नाटक के लोकप्रिय पर्यटन स्‍थलों में से एक है। कूर्ग, कर्नाटक के दक्षिण पश्चिम भाग में पश्चिमी घाट के पास एक पहाड़ पर स्थित जिला है जो समुद्र स्‍तर से लगभग 900 मीटर से 1715 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। यहां के विशाल चाय के बागान, हरे-भरे जंगल और प्रकृति की खूबसूरती को देखने के लिए दूर-दराज से लोग आते हैं। दोस्तों के साथ किसी अच्छी जगह को एक्सप्लोर करना हो या बीवी के साथ हनीमून पर जाना हो, हर मायने में कुर्ग बेहद खास है। कुर्ग को भारत का स्‍कॉटलैंड कहा जाता है और इसे कर्नाटक का कश्‍मीर भी कहा जाता है। हसन और मैसूर से भारी संख्‍या में पर्यटक यहां की सैर पर आते है। केरल में कन्‍नूर और वायनाड में सैर करने वाले पर्यटक भी कुर्ग की सैर करना पसंद करते है। कुर्ग एक पुराने संसार की याद ताजा कर देता है, यहां के स्‍थानों में प्राचीन काल का चार्म देखने को मिलता है। पर्यटक यहां आकर पूर्वी और पश्चिमी ढलानों के सौंदर्य का लाभ उठा सकते है और यहां के दिल थाम लेने वाले दृश्‍यों को निहार सकते है।

रूट

कूर्ग का सबसे नजदीकी रेलवे स्‍टेशन मैसूर है जो कूर्ग से 118 किमी। की दूरी पर स्थित है। यहां का सबसे नजदीकी एयरपोर्ट, मंगलौर इंटरनेशनल एयरपोर्ट है जहां से घरेलू और अंतरराष्‍ट्रीय, दोनो प्रकार की उड़ाने भरी जाती है।

टूरिस्ट अट्रैक्शन

दुबारे ऐलिफेंट कैंप, ऐबे वैली, नागरहोल नेशनल पार्क, ओंकरेश्वर मंदिर, चेत्ताली।

घूमने का सबसे अच्छा समय

अक्टूबर से मार्च

खर्चा


करीब 25000-30,000 रुपये

hill stations in summer,hill stations in india,tourist destinations in india,holidays in india

गुलमर्ग (जम्मू कश्मीर)

देश के खूबसूरत हिल स्टेशनों में से एक जम्मू और कश्मीर का गुलमर्ग है। इस स्थान को धरती का स्वर्ग भी कहा जाता है। यहां के हरे-भरे ढलान, बर्फबारी और खूबसूरत फूल पर्यटकों को आकर्षित करते हैं। 16वीं शताब्दी में कश्मीर के शासक युसुफ शाह चक ने इस स्थान का नाम बदलकर गुलमर्ग कर दिया। हिल स्टेशन के रूप इसकी स्थापना साल 1927 में ब्रिटिश शासकों ने की थी। इसके अलावा अंग्रेजों ने यहां गोल्फ खेलने के लिए गोल्फ कोर्स का निर्माण कराया था। प्राकृतिक खूबसूरती और एडवेंचर से भरा गुलमर्ग पर्यटकों को आकर्षित करता है। अधिकांश पर्यटक यहां दिसंबर और जनवरी में होने वाली बर्फबारी का मजा लेने आते हैं। इसके अलावा यहां ट्रैकिंग, स्कीइंग और गोल्फ समेत अन्य कई मजेदार खेलों का लुत्फ उठा सकते हैं। अगर आप भी गुलमर्ग जाने का प्लान बना रहे हैं तो यह स्टोरी आपके काम की है। सर्दियों में गुलमर्ग के पहाड़ बर्फ की चादर ओढ़े रहते हैं तो गर्मियों में इसकी वादियां गुलजार रहती हैं। यहां आप स्कीइंग, स्लेजिंग, गोंडोला राइड और ट्रेकिंग का मजा ले सकते हैं। सर्दियों में यहां का तापमान -4 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच जाता है।

रूट

आप फ्लाइट या रेल मार्ग के जरिए गुलमर्ग पहुंच सकते हैं। इसका सबसे नजदीकी एयरपोर्ट श्रीनगर में है और जम्मू में सबसे करीब रेलवे स्टेशन है। इसके बाद आपको कार या बस सेवा लेकर गुलमर्ग पहुंचना होगा।

टूरिस्ट अट्रैक्शन

गुलमर्ग स्काई एरिया, बाबा रेशी श्राइन, नागिन वैली, गोल्फ कोर्स और खिलनमर्ग।

घूमने का सबसे अच्छा समय

अप्रैल से जून और नवंबर से जनवरी

खर्चा

करीब 25,000-30,000 रुपये

hill stations in summer,hill stations in india,tourist destinations in india,holidays in india

शिलॉन्ग (मेघालय)

समुद्र तल से 1,491 मीटर की ऊंचाई पर मौजूद शिलांग मेघालय की राजधानी है और एक फेमस हिल्स स्टेशन भी है। ये देश का एक ऐसा पहला हिल स्टेशन है, जहां चारों तरफ से पहुंच सकते हैं। शिलांग का नाम U-Shyllong देवता के नाम पर रखा गया था। शिलॉन्ग समुद्र तल से करीब 4,908 फीट ऊंचाई पर स्थित है। ऐसा कहा जाता है कि यहां के ऊंचे पर्वत स्कॉटलैंड की याद दिलाते हैं। इस छोटे से शहर की खूबसूरत को यकीनन आप अपने जेहन से कभी नहीं निकाल पाएंगे।

रूट

आप फ्लाइट और रेल मार्ग के जरिए शिलॉन्ग पहुंच सकते हैं। शिलॉन्ग का सबसे नजदीकी एयरपोर्ट करीब 25 किलोमीटर दूर उमरोई में है और गुवाहाटी में रेलवे स्टेशन है।

टूरिस्ट अट्रैक्शन


ऐलिफेंट फॉल, शिलॉन्ग पीक, वार्ड्स लेक, पुलिस बाजार, उमियम लेक और स्वीट फॉल

घूमने का सबसे अच्छा समय

मार्च से जून

खर्चा


करीब 20,000-25,000 रुपये

hill stations in summer,hill stations in india,tourist destinations in india,holidays in india

गैंगटोक (सिक्किम)

सिक्किम की राजधानी गैंगटोक घूमने-फिरने के लिहाज से बहुत खूबसूरत कहा जाता है। अगर आप भी घूमने-फिरने शौकीन हैं, तो गैंगटोक जरूर जाएं। गैंगटोक की खूबसूरती का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि इसे कश्मीर के बाद धरती का दूसरा स्वर्ग कहा जाता है। पहाड़ों के शहर गैंगटोक में आप पहाड़ों का नजारा रोप वे से भी ले सकते हैं। यहां पर ट्रैकिंग, माउनटेनियरिंग, रिवर रॉफ्टिंग और दूसरे खेलों का भी मजा लिया जा सकता है।

रूट


दिल्ली-एनसीआर में रहने वाले लोग हवाई या रेल मार्ग के जरिए गैंगटोक पहुंच सकते हैं। इसका सबसे नजदीकी एयरपोर्ट बागडोगरा (पश्चिम बंगाल) में है और जलपाईगुड़ी सबसे करीबी रेलवे स्टेशन है।

टूरिस्ट अट्रैक्शन


रुमटेक मॉनेस्ट्री, नाथुला पास, त्सोम्गो लेक, हनुमान टोक, कंचनजंगा

घूमने का सबसे अच्छा समय


सितंबर से जून

खर्चा

करीब 25,000-30,000 रुपये

हम WhatsApp पर हैं। नवीनतम समाचार अपडेट पाने के लिए हमारे चैनल से जुड़ें... https://whatsapp.com/channel/0029Va4Cm0aEquiJSIeUiN2i

Home | About | Contact | Disclaimer| Privacy Policy

| | |

Copyright © 2024 lifeberrys.com