घुमक्कड़ों की पसंद बने हुए है ये 9 ट्रेकिंग स्पॉट्स, उठाए यहां के रोमांच का लुत्फ
By: Ankur Wed, 19 Jan 2022 1:26:53
घूमने का शौक सभी को होता हैं लेकिन कुछ लोग ऐसे होते हैं जो अपने इस शौक के चलते घुमक्कड़ कहलाने लगते हैं। ऐसे में लोग हर बार नई जगह जाना पसंद करते हैं जो उन्हें नयेपन के साथ रोमांच का अहसास करवाती हैं। ऐसे में आज हम आपके लिए कुछ बेहतरीन ट्रेकिंग स्पॉट्स की जानकारी लेकर आए हैं जो घुमक्कड़ों की पसंद बने हुए है। यहां आप ट्रेकिंग का मजा लेने के साथ ही अनोखा अनुभव प्राप्त करेंगे जो भुलाए नहीं भुला पाएंगे। तो आइये जानते हैं इन ट्रेकिंग स्पॉट्स के बारे में जहां आप रोमांच का लुत्फ उठा सकेंगे...
कुमार पर्वत ट्रेक
कर्नाटक राज्य के इस ट्रेक को करने के लिए आपको दिल बड़ा करना होगा। क्योंकि ये देश के कुछ कठिन ट्रेक में से एक है। ये देश का ऐसा ट्रेक है, जो कर्नाटक के कोडागु जिले की दूसरी सबसे ऊंची चोटी है। 1712 मीटर की ऊंचाई पर बना ये ट्रेक पूरा करने के लिए आपको 3 से 4 घंटे का समय लग सकता है। अक्टूबर-जनवरी, यहां आने का सबसे अच्छा समय होता है।
अराकु वैली ट्रेक
भारत के सबसे अच्छे और बेहतरीन अनुभव देने
वाले ट्रेक में से एक है अराकु वैली ट्रेक। आंध्र प्रदेश की बोरा गुफाएं और
कातिकी फ़ॉल्स इस ट्रेक की अहम हाईलाइट्स हैं। इन जगहों से होते हुए ट्रेकर
आंध्र प्रदेश की सबसे ऊंची चोटी पर पहुंच सकेगा। यहां आपको ये भी लग सकता
है कि आप नेचर की गोद में ही हैं। 910 मीटर एल्टीट्यूड पर इस ट्रेक में आने
के लिए 1 दिन का समय लग सकता है। यहां आने का सबसे अच्छा समय अक्तूबर से
फरवरी तक का है।
क्लाउड्स एंड ट्रेक, मसूरी
उत्तराखंड कई सारे ट्रेकिंग विकल्पों के लिए जाना जाता है। इन्हीं ट्रेक में से बेस्ट है क्लाउड्स एंड ट्रेक। ये ट्रेक पहाड़ों की रानी मसूरी में है। इसको आप देश का सबसे सुंदर ट्रेकिंग प्लेस है। इस ट्रेक पर आपको हॉर्स सफारी करने का मौका भी मिलेगा। साथ में आपको कई सारी एडवेंचर एक्टिविटी का हिस्सा बनने का मौका भी मिलेगा। 2240 मीटर की ऊंचाई वाले इस ट्रेक को सिर्फ 2 घंटे में पूरा किया जा सकता है। यहां आने का सही समय अप्रैल से अक्तूबर तक है।
त्रिउंड माउंटेन ट्रेक
धौलाधार रेंज इस ट्रेक को स्पेशल बना
देती हैं। अगर आपने अभी-अभी ट्रेकिंग शुरू की है तो ये ट्रेक आपके लिए
बेस्ट है। शांति की तलाश में हैं तो ये ट्रेक को जरूर चुन लीजिए। इसको पूरा
करने में 2 दिन का समय लगता है और इसकी ऊंचाई 2842 मीटर है।
टाइगर हिल्स
इस ट्रेक की खासियत ये है कि इससे आपको कंचनजंगा पर्वत दिखता है। साथ में आपको हिमालय का व्यू भी मिल जाएगा। वैसे तो ये पूरा ट्रेक ही बहुत सुन्दर है लेकिन सूरज का उगना और अस्त होना देखना आपके लिए सबसे अच्छा अनुभव हो सकता है। ये ट्रेक 2590 मीटर की ऊंचाई पर है और इसे पूरा करने के लिए 2 दिन का समय लग जाता है। यहां आने के लिए मार्च से जून के बीच का समय सही रहता है। आपको इन्हीं महीनों में यहां आना चाहिए।
हर की दून वैली ट्रेक
यहां के लोग इस जगह को‘वैली ऑफ
गॉड‘भी कहते हैं। इसमें आप घने जंगलों और ऊंचे पहाड़ों से होकर गुजरते हैं
और 3587 मीटर की दूरी पूरी करते हैं। इसको पूरा करने के लिए आपको बहुत समय
लेकर आना होगा क्योंकि इस ट्रेक को पूरा करने में 9 से 10 दिन का समय लग
जाता है। अप्रैल से नवंबर के बीच यहां आया जा सकताहै।
राजा मच्छी ट्रेक
लोनावला प्रांत के सबसे प्रसिद्ध किले तक होने वाले ट्रेक राजा मच्छी ट्रेककहते हैं। इस ट्रेक की सबसे खास बात अद्भुत नजारे हैं। 826 मीटर की ऊंचाई पर जाते हुए इस ट्रेक में वेस्टर्न घाटों का अनुभव होगा आपको। इस ट्रेक को करते हुए कोंडाना गुफाओं का नजारा भी दिखता है। इस ट्रेक को करने में एक दिन का समय लगता है और यहां आने का सही समय जून और सितंबर का महीना होता है।
कोदाचद्री ट्रेक
ये ट्रेक 1343 मीटर की ऊंचाई पर बना है।
इसके रास्ते पर आपको हिडली माने फॉल्स मिलेगा जो आपको बिलकुल नेचर के करीब
ले जाएगा और आप मानो नेचर के साथ अपने रिश्ते को महसूस भी कर पाएंगी। इस
ट्रेक को करने में 2 दिन का समय लग सकता है। कोदाचद्री ट्रेक पर आने का सही
समय अक्तूबर-जनवरी का होता है।
चेम्बरा पीक ट्रेक
केरल
का ये ट्रेक राज्य की सबसे ऊंची चोटी भी है। यहां की खासियत हार्ट शेप लेक
है जो बेहद सुंदर और हैरान करने वाली लगती है। इतना ही नहीं आपको यहां
इतनी हरियाली देखने को मिलेगी कि शायद आप खुद की आंखों पर यकीन ही न कर
पाएं। इस झील और हरियाली को देखने के लिए हो सकता आपको थकावट महसूस ही न हो
और आप पूरी रफ्तार से चोटी पर पहुंच जाएं। 1790 मीटर की ऊंचाई वाले इस
ट्रक को एक दिन में पूरा किया जा सकता है। यहां आने के लिए सितंबर-फरवरी का
महीना सबसे अच्छा रहेगा।