अनोखी बीमारी जिसमें चेहरे पर उग आते हैं घने बाल, जानकर आप भी सिहर उठेंगे
By: Ankur Wed, 20 Feb 2019 2:40:11
आज देश-दुनिया में विज्ञान ने बहुत तरक्की कर ली हैं और कई अनोखी वस्तुओं का अविष्कार किया हैं। लेकिन आज भी विज्ञान के सामने ऐसी कई चुनौतियाँ आ जाती है जिनका जवाब दे पाना बहुत मुश्किल हो जाता हैं। जी हाँ, आज भी ऐसी कई अनोखी बीमारियाँ प्रचलन में है जिनका तोड़ निकालने के लिए मेडिकल साइंस को मशक्कत करनी पड़ रही हैं। आज हम आपको एक ऐसी ही अनोखी बीमारी के बारे में बताने जा रहे हैं जिसमें 13 साल के इस बच्चे के चेहरे पर घने बाल उग आते हैं। तो आइये जानते है इससे जुड़ी पूरी जानकारी।
13 साल के ललित पाटीदार को एक ऐसी बीमारी है, जिसकी वजह से उसके चेहरे के बाल 5 सेंटीमीटर तक बढ़ जाते हैं। दरअसल, मध्य प्रदेश में रहने वाले ललित पाटीदार वरवोल्फ सिंड्रोम से जूझ रहे हैं। इस दुर्लभ बीमारी के कारण उसके चेहरे पर बाल उग आए हैं। जन्मजात बीमारी के बावजूद ललित ने हार नहीं मानी है।
13 साल के ललित पाटीदार कहते हैं कि अजनबी मुझ पर पत्थर फेंकते हैं और बंदर कहकर बुलाते हैं। मैंने भी अपने रूप को स्वीकार कर लिया है। ललित का कहना है कि मैं पुलिस फोर्स ज्वॉइन करना चाहता हूं। ललित का कहना है कि एक समय ऐसा भी था जब बच्चे मुझे पत्थर मारते थे। मेरे साथ खेलने से बचते थे, लेकिन मेरे परिवार और दोस्तों ने मुझे उनसे बचाया और ध्यान रखा। सबसे बुरा समय वो था जब मुझे बालों के कारण सांस लेने और दाएं-बाएं देखने में दिक्कत होती थी। कभी-कभी इच्छा होती है मैं भी दूसरे बच्चों जैसा दिखूं, लेकिन कुछ नहीं कर सकता है। इसलिए जैसा हूं वैसे ही खुश हूं।
ललित की मां पर्वतबाई कहती हैं कि परिवार में 14 लोग हैं। जन्म से ही उसके शरीर पर आम बच्चों की तुलना में बहुत ज्यादा बाल हैं। डॉक्टर ने बताया था कि ललित को कंजेनिटल हायरट्राइकोसिस (congenital Hypertrichosis) नाम की जन्मजात बीमारी है और इसका इलाज मौजूद नहीं है। मैं जानती हूं वह अलग है, लेकिन मेरे लिए खास है। ललित के पिता बंकटलाल पेशे से किसान हैं।
ललित के स्कूल के हेडमास्टर बाबूलाल मकवाना कहते हैं कि वह स्कूल में दो साल से पढ़ रहा है। पढ़ाई के साथ खेलों में अच्छा प्रदर्शन करता है। ललित अपनी कक्षा में सबका प्रिय है। स्कूल के शुरुआती दिनों में लोग ललित से बात करने में कतराते थे,लेकिन धीरे-धीरे सब सामान्य व्यवहार करने लगे हैं। बता दें कि कंजेनिटल हायरट्राइकोसिस एक जन्मजात लाइलाज बीमारी है। जन्म में बाद शरीर पर बालों की लंबाई तेजी से बढ़ने लगती है और यह करीब 5 सेमी तक होती है। चेहरा, हाथ और पीठ पर खासतौर पर अधिक बाल दिखाई देते हैं।
अमेरिकन जर्नल ऑफ क्लीनिकल डर्मेटोलॉजी के मुताबिक, इलाज के तौर पर महज कुछ थैरेपी हैं, लेकिन इनके परिणाम हमेशा संतोषजनक नहीं होते। बालों की ग्रोथ, जगह, उम्र जैसे कई फैक्टर के आधार पर हेयर रिमूवल तकनीक अपनाई जाती है। वर्तमान में ब्लीचिंग, ट्रिमिंग, शेविंग, वैक्सिंग, इलेक्ट्रोलसर्जिकल एपिलेशन और लेजर हेयर रिमूवल ही इलाज के विकल्प हैं। एक्सपर्ट के मुताबिक, उम्र के साथ बढ़ते बालों के कारण कई बार मरीज भावनात्मक रूप से टूट जाता है।
ललित के विचित्र रूप को लेकर डॉक्टर्स की भी अपनी राय है। डॉ राजेश शर्मा का मानना है की यह हाइपर ट्राइकोसिस कंडीशन होती है, जिसमे बहुत ज्यादा बाल शरीर पर हो जाते हैं। कभी-कभी यह इतनी ज्यादा हो जाती है कि काफी घने बड़े बाल शरीर पर आ जाते हैं। इसका इलाज हो सकता है। इसके लिए लगातार डॉक्टर्स के संपर्क में रहना पड़ेगा। डॉक्टर राजेश शर्मा भी इस बच्चे के इलाज के लिए पहल की बात कह रहे हैं उनका कहना है कि इस समस्या के लिए वे अपने परिचित डॉक्टर्स जो यूएस व यूएसए में हैं, उनसे संपर्क कर इस बच्चे के इलाज की दिशा में कदम बढ़ाएंगे।