जामिया में जिस छात्र को लगी गोली, जाने कौन है वह शख्स?
By: Pinki Thu, 30 Jan 2020 5:36:09
गुरुवार को जामिया इलाके में सीएए के विरोध प्रदर्शन के दौरान एक शख्स ने गोली चला दी। गोली चलाने वाले व्यक्ति ने कहा कि मैं तुम्हे आजादी दिलाता हूं। गोली चलाने वाला बाहर से आया था। गोली चलाने वाले व्यक्ति ने पिस्टल लहराते हुए कहा, 'दिल्ली पुलिस जिंदाबाद, जामिया मिलिया मुर्दाबाद।' शख्स की गोली से मार्च में शामिल जामिया का एक छात्र घायल हो गया है। घायल छात्र को गोली लगने के बाद होली फैमिली हॉस्पिटल ले जाया गया था और अब उसे एम्स ट्रॉमा सेंटर में भर्ती कराया गया है। जामिया प्रशासन की ओर से मिली जानकारी के अनुसार छात्र का नाम शादाब फारुक है। जामिया मिलिया में एमए के छात्र शादाब फारुक के हाथ में गोली लगी है। आरोपी की गोली सीधे शादाब के हाथ में लगी थी।
शादाब एमए मास कम्युनिकेशन (MCRS, JMI) में दूसरे सेमेस्टर की पढ़ाई कर रहे हैं। शादाब के बारे में जामिया प्रशासन ने बताया कि वो पढ़ाई-लिखाई से ताल्लुक रखने वाले स्टूडेंट हैं। उनकी रुचि कला में भी है।
शादाब अपनी ग्रेजुएशन की पढ़ाई के दौरान जामिया ड्रामा क्लब (थियेटर) के भी सदस्य रहे हैं। उनकी रुचि एक्टिंग में होने के चलते वो इसमें बढ़-चढ़कर हिस्सा लेते थे।
जामिया प्रशासन ने ये भी बताया कि शादाब एक अच्छे सिंगर हैं। इसके अलावा वो एक ग्रेट वाइस ओवर आर्टिस्ट भी हैं। उन्हें इस कला के लिए जामिया कैंपस में बहुत अच्छी पहचान मिली हुई है।
इसके अलावा शादाब एक उभरते हुए फोटोग्राफर भी हैं। उन्हें मॉस कम्युनिकेशन की पढ़ाई के दौरान कैमरे पर और अच्छी पकड़ बनाई है। उन्हें फोटोग्राफी का खास शौक है।
जामिया में शादाब फारुक के स्वभाव की भी तारीफ होती है। वो अपने दोस्तों में मददगार के तौर पर पहचाने जाते हैं। मॉस कम्युनिकेशन विभाग के छात्रों में शादाब की काफी खुशमिजाज और नेकदिल इंसान के तौर पर पहचान है।
शादाब बीते दिनों से नागरिकता संशोधन कानून और एनपीआर यानी नेशनल पॉपुलेशन रजिस्टर को लेकर हो रहे जामिया के विरोध प्रदर्शन में हिस्सा ले रहे थे। वो गुरुवार को भी शांति मार्च में हिस्सा लेने गए थे जहां वो आरोपी की गोली का सीधा शिकार हो गए।
आपको बता दें, दिल्ली के जामिया में गोली चलाने वाले की पहचान हो गई है। इस शख्स का नाम गोपाल है। ये युवक ग्रेटर नोएडा के जेवर का रहने वाला है, 12वीं का छात्र बताया जा रहा है। परिवार के लोग इसे नाबालिग बता रहे हैं, घर से स्कूल के लिए कहकर निकला था। स्कूल सर्टिफिकेट में उसकी जन्मतिथि 8 अप्रैल 2002 है। फायरिंग करने से पहले वह फेसबुक पर लाइव भी था। फेसबुक पर उसने यह भी लिखा है कि चंदन का बदला लेने जा रहा है। बता दें, 2018 में गणतंत्र दिवस पर यूपी के कासगंज जिले में सांप्रदायिक झड़प में चंदन गुप्ता की हत्या कर दी गई थी। फेसबुक पर खुद को रामभक्त बताने वाले गोपाल ने खुद को सभी संगठनों से मुक्त बताया है। 28 जनवरी के एक पोस्ट में उसने लिखा है कि 31 जनवरी तक उसके पोस्ट को कोई नजरअंदाज ना करे। घटना को अंजाम देने के लिए निकलने से पहले उसने यह भी जाहिर किया था कि वह मरने-मारने पर उतारू है। उसने आज एक पोस्ट में लिखा है कि उसे अंतिम संस्कार के लिए भगवा में ले जाया जाए और जय श्री राम के नारे लगाएं। गोपाल ने फेसबुक के दोस्तों से कहा है कि उसके परिवार का ध्यान रखा जाए। एक अन्य पोस्ट में उसे लिखा है...शाहीन भाग...खेल खत्म।
घटना स्थल पर मौजूद चश्मदीद ने बताया कि 'वो चिल्ला रहा था कि किसे चाहिए आजादी।।।ये लो आजादी। जब उसने गोली चलाई तो एक शख्स के हाथ में लग गई है, किसी और को, कहीं और भी गोली लग सकती थी।'