भारत और पाकिस्तान के बीच सीजफायर लागू कर दिया गया है, लेकिन इससे पहले भारतीय सेना ने 'ऑपरेशन सिंदूर' के तहत पाकिस्तान में मौजूद आतंकी ठिकानों को तबाह कर दिया था। यह कार्रवाई कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले के बाद की गई, जिसमें भारतीय सेना ने 6 और 7 मई की दरमियानी रात को पाकिस्तान के आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया।
इस पर अखिल भारतीय सूफी सज्जादानशीन काउंसिल के अध्यक्ष सैयद नसरुद्दीन चिश्ती ने भारतीय सेना की कार्रवाई का समर्थन करते हुए कहा कि भारत एक शांति पसंद मुल्क है, लेकिन जब बात अपनी सुरक्षा की आती है, तो यह किसी भी प्रकार की हिंसा या आतंकवाद को सहन नहीं करेगा। उन्होंने कहा कि पहलगाम हमले के बाद भारतीय सरकार और सेना द्वारा उठाए गए कदम यह साबित करते हैं कि भारत एक जिम्मेदार और आत्मसम्मान वाली राष्ट्र है।
नसीरुद्दीन चिश्ती ने कहा, "ऑपरेशन सिंदूर ने यह दिखा दिया कि भारत अपने नागरिकों और सुरक्षा को लेकर जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाता है। यह हमारे शौर्य और साहस का प्रतीक है कि भारतीय सेना ने पाकिस्तान में घुसकर आतंकवादी कैंपों को नष्ट किया।"
Ajmer, Rajasthan: Chairman of the All India Sufi Sajjadanashin Council, Syed Naseruddin Chishty says, "After the Pahalgam attack, the steps taken by India with great responsibility show that India is a responsible country and a peace-loving nation. However, when it comes to… pic.twitter.com/dZsUacZB04
— IANS (@ians_india) May 12, 2025
उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर को भारतीय सेना की एक बड़ी उपलब्धि करार दिया और इसे देश के नागरिकों के लिए गर्व का कारण बताया। उन्होंने कहा कि यह कार्रवाई उन आतंकवादियों के खिलाफ कड़ा संदेश भेजने का काम करती है, जिन्होंने भारतीय नागरिकों की सुरक्षा को खतरे में डाला था।
22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारतीय सेना ने पाकिस्तान में मौजूद आतंकवादियों के ठिकानों पर यह कार्यवाही की थी, जिससे आतंकवादियों की गतिविधियों को रोकने और भारतीय सुरक्षा को सुनिश्चित करने में मदद मिली।