आज पूरी दुनिया में कोरोना वायरस ने अपनी दहशत फैला रखी हैं। पूरी दुनिया में अब तक 21 लाख से भी अधिक लोग इससे संक्रमित हो चुके हैं और 1।4 लाख से अधिक लोगों की मौत हो चुकी हैं। कोरोना से बचाव के लिए सभी को अपनी इम्युनिटी को बढ़ाने के लिए कहा जा रहा हैं और जो लोग पहले से गंभीर बिमारियों से परेशान हैं उन्हें ज्यादा सावधान रहने के लिए कहा जा रहा हैं। ऐसे में एक्सपर्ट्स के मुताबिक टीबी और एचआईवी के रोगियों को इस वायरस के होने का खतरा ज्यादा बताया गया है।
एक्सपर्ट्स के अनुसार, पूरी विश्व में जितनी भी मौतें हुई हैं। उनमें 2 बातें कॉमन दिखाई दी। पहला जो लोग अधिक आयु के हैं। दूसरा कॉमन प्वाइंट कोमोबिडिटीज देखने को मिला। इसके साथ ही यह भी माना गया है कि उम्र बढ़ने के साथ शारीरिक क्षमता कम होती है। ऐसे में इंफेक्शन होने के चांचिस बढ़ते हैं।
कोमोबिटीज का मतलब है वे लोग हाई ब्लड प्रेशर, डायबिटीज, कमजोर व खराब फेफड़े, कमजोर इम्यून सिस्टम, टीबी और एचआईवी जैसी बीमारियों से पहले से ही पीड़ित हैं। ऐसे में इन मरीजों के लिए यह वायरस स्वस्थ लोगों के मुकाबले ज्यादा खतरनाक है। ये लोग इस वायरस की चपेट में जल्दी और आराम से आ सकते हैं। ऐसे में इन्हें अपना ध्यान रखने की खासतौर पर जरूरत है।
इन लोगों का इस वायरस की चपेट में आने से फेफड़ों खराब हो सकते हैं। ऐसे में सांस लेने में मुश्किल हो सकती है। डायबिटीज के मरीजों का शुगर लेवल अचानक और तेजी से बढ़ सकता है। इस तरह इन लोगों की हालत ज्यादा गंभीर है सकती है। साथ ही में इन्हें आईसीयू में भर्ती करवाने की नौबत आ सकती है। ऐसे में जान जाने और डेथ रेट बढ़ने के चांसिस अधिक हो सकते हैं।