20 लाख करोड़ रुपये के पैकेज में किसके हाथ क्या लगा, जानें बड़ी बातें

By: Pinki Wed, 13 May 2020 5:52:19

20 लाख करोड़ रुपये के पैकेज में किसके हाथ क्या लगा, जानें बड़ी बातें

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बीते मंगलवार को कोरोना संकट के बीच अर्थव्यवस्था को रफ्तार देने के लिए कल 20 लाख करोड़ रुपये के पैकेज का ऐलान किया था। आज बुधवार को इस पैकेज के बारे में वित्‍त मंत्री निर्मला सीतारमण ने विस्‍तार से जानकारी दे रही हैं। सीतारमण ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने समाज के कई हिस्सों से विस्तार से चर्चा के बाद इस पैकेज का विजन रखा था और हमारा लक्ष्य आत्मनिर्भर भारत है। यह पैकेज देश को आत्मनिर्भर बनाने के लिए है।

इनकम टैक्‍स रिटर्न अब 30 सितंबर तक

- इनकम टैक्‍स रिटर्न फाइलिंग की डेडलाइन बढ़ा दी गई है। इसे 31 जुलाई से बढ़ाकर अब 30 सितंबर कर दिया गया है।

- विवाद से विश्‍वास स्‍कीम की डेडलाइन को 31 दिसंबर 2020 तक कर दी गई है। पहले ये 30 जून तक के लिए था।

- टीडीएस की दरों में 25% की कमी की जाएगी। यह सभी पेमेंट पर लागू होगा चाहे वह कमीशन हो, ब्रोकरेज हो या कोई अन्य पेमेंट। दरों में कमी 13 मई से लागू होगी और मार्च 2021 तक रहेगी। टीडीएस कटौती से 55000 करोड़ रुपए का लाभ होगा।

- जिनके भी रिफंड लंबित हैं, उन्हें जल्द से जल्द भुगतान किया जाएगा। छोटे उद्योग हों, पार्टनरशिप वाले उद्योग हों, एलएलपी हों, या कोई अन्य उद्योग, सभी को जल्द से जल्द भुगतान होगा।

- रिफंड की गति को तेज किया जाएगा। टैक्स ऑडिट अब अक्टूबर से आगे बढेगा। अब 30 नवंबर तक आयकर रिटर्न भरा जा सकता है।

- रियल एस्टेट के मामले में एडवाइजरी जारी होगा कि सभी प्रोजेक्ट्स को मार्च से आगे 6 महीने तक मोहलत दी जाए।

- नॉन बैंकिंग फाइनेंस कंपनी, माइक्रो फाइनेंस कंपनियों के लिए 30,000 करोड़ की विशेष लिक्विडिटी स्कीम लाई जा रही है। इससे नकदी का संकट नहीं रह जाएगा।

- एनबीएफसी को 45,000 करोड़ की पहले से चल रही योजना का विस्तार होगा। वहीं आं​शिक ऋण गारंटी योजना का विस्तार होगा, इसमें डबल ए या इससे भी कम रेटिंग वाले एनबीएफसी को भी कर्ज मिलेगा।

एमएसएमई को 3 लाख करोड़ का लोन

- वित्त मंत्री के मुताबिक 20 लाख करोड़ रुपये के पैकेज में से 3 लाख करोड़ एमएसएमई यानी सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग को जाएंगे। इनको बिना गारंटी लोन मिलेगा। इसकी समयसीमा 4 साल की होगी। इन्‍हें 12 महीने की छूट मिलेगी। ये ऑफर 31 अक्‍टूबर 2020 तक के लिए है।

- वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बताया कि एमएसएमई यानी सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग की परिभाषा बदल दी गई है। इसमें निवेश की लिमिट में बदलाव किया गया है। 1 करोड़ निवेश या 10 करोड़ टर्नओवर पर सूक्ष्म उद्योग का दर्जा दिया जाएगा।

- इसी तरह 10 करोड़ निवेश या 50 करोड़ टर्नओवर पर लघु उद्योग का दर्जा दिया जाएगा। वहीं 20 करोड़ निवेश या 100 करोड़ टर्नओवर पर मध्यम उद्योग का दर्जा होगा।निर्मला सीतारमण ने बताया कि मौजूदा दौर में ट्रेड फेयर संभव नहीं है।

- लोकल उद्योगों को ग्लोबल करने के लिए 200 करोड़ रुपए से कम के ग्लोबल टेंडर के नियम को खत्म कर दिया गया यानी अब 200 करोड़ रुपए से कम का कोई टेंडर नहीं होगा। यह एमएसएमई के लिए बड़ा कदम है।

- एमएसएमई को ई-मार्केट से जोड़ा जाएगा। सरकार एमएसएमई के बाकी पेंमेंट 45 दिनों के अंदर करेगी।

- वित्त मंत्री के मुताबिक जो एमएसएमई तनाव में हैं उन्‍हें सबआर्डिनेट डेट के माध्यम से 20000 करोड़ की नकदी की व्यवस्था की जाएगी। बता दें कि एसएमई में लघु और मझोले कारोबार आते हैं।

- वित्त मंत्री के मुताबिक एमएसएमई जो सक्षम हैं, लेकिन कोरोना की वजह से परेशान हैं, उन्हें कारोबार विस्तार के लिए 10,000 करोड़ के फंड्स ऑफ फंड के माध्यम से मदद दी जाएगी।

- वित्त मंत्री के मुताबिक सार्वजनिक क्षेत्र को बैंकों से जुड़े सुधार, बैंकों के रिकैपिटलाइजेशन जैसे काम किए गए।

- वित्त मंत्री के मुताबिक 41 करोड़ जनधन अकाउंट होल्डर्स के खाते में डीबीटी ट्रांसफर किया गया है।

पावर जनरेटिंग कंपनियों के लिए 90,000 करोड़

- मुश्किल में घिरी राज्यों की पावर जनरेटिंग कंपनियों को बढ़ावा देने के लिए 90,000 करोड़ रुपए दिए जाएंगे। डिस्कॉम यानी पावर जनरेटिंग कंपनियों को इससे फायदा मिलेगा।

- बिजली वितरण कंपनियों की आय में भारी कमी आई है। बिजली उत्पादन और वितरण करनेवाली कंपनियों के लिए यह प्रावधान किया गया है।

- 90 हजार करोड़ रुपए सरकारी कंपनियों पीएफसी, आरईसी के माध्यम से दिया जाएगा। कॉन्ट्रैक्टर को 6 महीने की राहत बिना किसी शर्त के दी जाएगी।

ईपीएफ पर बड़ी राहत

- वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बताया कि सरकार अब अगस्‍त तक कंपनी और कर्मचारियों की तरफ से 12% + 12% की रकम EPFO में जमा करेगी। इससे करीब 75 लाख से ज्यादा कर्मचारियों और संस्थाओं को फायदा मिलेगा। बता दें कि मार्च, अप्रैल और मई में भी सरकार ने ही कंट्रीब्‍यूट किया था।मतलब ये कि इस सुविधा को तीन महीने के लिए बढ़ा दिया गया है।

- लेकिन इसके साथ कुछ शर्तें हैं। सरकार की इस ऐलान का फायदा सिर्फ उन्हीं कंपनियों को मिलेगा, जिनके पास 100 से कम कर्मचारी है और 90% कर्मचारी की सैलरी 15,000 रुपये से कम है। यानी 15 हजार से ज्यादा तनख्वाह पाने वालों को इसका फायदा नहीं मिलेगा।

- कर्मचारियों का 12% की जगह 10% ईपीएफ कटेगा। हालांकि पीएसयू में 12% ही ईपीएफ कटेगा।

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