कठुआ गैंगरेप: जानें कौन-कौन हैं बच्ची के साथ हैवानियत करने वाले दरिंदे
By: Priyanka Maheshwari Fri, 13 Apr 2018 7:54:59
जम्मू-कश्मीर में तीन माह पूर्व 8 साल की बच्ची के साथ गैंग रेप और हत्या की घटना ने अब देश भर में तूल पकडऩा शुरू कर दिया है। बच्ची का शव 17 जनवरी को गांव के पास जंगल से बरामद हुआ जबकि बच्ची 10 जनवरी से लापता थी। ध्यान देने वाली बात यह है कि यह घृणित काम एक मंदिर में किया गया था। पुलिस के मुताबिक जम्मू-कश्मीर के कठुआ गाव के एक मंदिर में करीब 6 लोगों ने बारी-बारी से 7 दिन तक रेप किया। रेप से पहले बच्ची को नशा भी दिया गया था। इससे पहले उन्नाव में भी एक ऐसा ही मामला सामने आया था जहां एक विधायक ने किशोरी के साथ रेप किया और उसके बाद न्याय की मांग कर रहे पिता की दर्दनाक हत्या कर दी गई थी। मामले की जांच कर रही क्राइम ब्रांच और जम्मू कश्मीर पुलिस ने अपनी चार्जशीट में बच्ची के साथ हुई हैवानियत की दास्तां बयान करने के साथ ही आरोपियों का ब्यौरा दिया है।
चार्जशीट के अनुसार यह हैं आरोपी:
पहला आरोपी 19 साल का स्कूल ड्रॉपआउट है जिसने घोड़ा ढूंढने में मदद करने के बहाने से बच्ची को जंगल ले जाकर उसे नशीली दवा खिलाई और फिर उसका रेप किया। उसने पुलिस को अपनी उम्र 15 साल बताई थी। हालांकि मेडिकल जांच से यह साफ हो गया कि उसकी उम्र 18 से ऊपर है। बच्ची के शरीर पर उसका बाल मिला जिससे उसका डीएनए मैच हो गया। उसने पुलिस के सामने अपना गुनाह कबूल कर लिया था।
दूसरा आरोपी 60 साल का सेवानिवृत्त सांझी राम है। इस पूरी घटना का मास्टरमाइंड वही है। वह गांव से बक्करवाल समुदाय को भगाने के लिए लोगों को उकसाया करता था। घटना को अंजाम देने के लिए उसने अपने नाबालिग भतीजे सहित छह लोगों को लगातार उकसाया।
तीसरा आरोपी स्पेशल पुलिस अधिकारी दीपक खजूरिया है। इस अधिकारी ने बच्ची को मारने से पहले आखिरी बार उसका रेप करने की बात कही थी। कॉल डिटेल रिकॉर्ड के हवाले से सामने आया है कि वह घटनास्थल पर मौजूद था। उसका नाम पहले आरोपी ने अपने बयान में भी लिया था।
चौथा आरोपी स्पेशल पुलिस अधिकारी सुरेंद्र कुमार है। कॉल डिटेल रिकॉर्ड के हिसाब से वह घटनास्थल पर मौजूद था और चश्मदीदों ने भी उसे वहां देखा था।
पांचवा आरोपी परवेश कुमार है जो पहले आरोपी का दोस्त है और वह लगातार बच्ची से बलात्कार कर रहा था।
छठा आरोपी सांझी राम का बेटा विशाल जंगोत्रा है जो मेरठ में पढ़ाई करता है। वह नाबालिग द्वारा मजा लूटने की बात कहने पर कठुआ आया था। उसे पुलिस ने फोरेंसिक टेस्ट के आधार पर गिरफ्तार किया था।
मामले के सातवें और आठवें आरोपी एसआई आनंद दत्ता और हेड कॉन्स्टेबल तिलक राज है जिन्होंने घटना के बारे में पता होने के बावजूद सांझी राम से रिश्वत लेकर मामले को निपटाने की कोशिश की। इसके अलावा उन्होंने बच्ची के कपड़ों को धोकर फोरेंसिक जांच के लिए भेजा था और मामले से जुड़े अहम सबूत नहीं जुटाए।