CAA Protest: UP के बुलंदशहर से लेकर गोरखपुर तक हिंसक प्रदर्शन, कई गाड़ियां फूंकीं, दिल्ली की जामा मस्जिद पर धरना
By: Pinki Fri, 20 Dec 2019 4:43:35
नागरिकता संशोधन कानून को लेकर शुक्रवार को उत्तर प्रदेश के 15 जिलों में उग्र प्रदर्शन हुए। वाराणसी में नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ प्रदर्शन हो रहा है। ऐसे में पुलिस की ओर से सुरक्षा बढ़ा दी गई है। फिरोजाबाद में प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर पत्थरबाजी की, जवाब में पुलिस की ओर से आंसू गैस के गोले दागे गए। फिरोजाबाद में प्रदर्शनकारियों ने एक चौकी भी जला दी। फिरोजाबाद के अलावा यूपी के मुजफ्फरनगर में भी पत्थरबाजी हुई। पुलिस ने प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज भी किया। कानपुर और गोरखपुर समेत बाकी शहरों में भीड़ ने पुलिस पर पथराव किया। राज्य में 3 हजार से ज्यादा लोग हिरासत में लिए गए हैं। 20 जिलों में मोबाइल इंटरनेट बंद कर दिया गया है। यूपी के बुलंदशहर में विरोध ने हिंसक रूप ले लिया। प्रदर्शनकारियों द्वारा कई गाड़ियों में तोड़फोड़ की गई। पुलिस ने भीड़ को नियंत्रित करने के लिए आंसू गैस के गोले दागे। यूपी के अमरोहा में भी प्रदर्शनकारियों ने पत्थरबाजी की घटना हुई है। यहां भी लोगों ने पुलिस पर पत्थरबाजी की। लखनऊ में गुरुवार को हिंसक प्रदर्शन हुआ था, लेकिन शुक्रवार को यहां शांति रही।
Gorakhpur: Protestors & police personnel pelt stones at each other during demonstration against #CitizenshipAmendmentAct and National Register of Citizens (NRC). pic.twitter.com/cpVxuCr6Pf
— ANI UP (@ANINewsUP) December 20, 2019
वहीं, दिल्ली की जामा मस्जिद के बाहर लोगों ने प्रदर्शन किया। यहां से भीम आर्मी भी मार्च निकाल रही है, जो जंतर-मंतर तक जाएगा। पुलिस ने भीम आर्मी को मार्च की इजाजत नहीं दी है। पूर्वोत्तर दिल्ली में सुरक्षा इंतजाम कड़े किए गए हैं। 6 मेट्रो स्टेशन बंद कर दिए गए हैं।
इस बीच गुरुवार को हुई हिंसा के बाद गुजरात में 8 हजार लोगों पर एफआईआर दर्ज की गई है। उत्तर प्रदेश में 20 जिलों में इंटरनेट सेवा बंद है। दिल्ली, गुजरात, उत्तर प्रदेश, कर्नाटक और मध्य प्रदेश में धारा 144 लागू कर दी गई है। केरल के 4 जिलों में हाईअलर्ट जारी किया गया है। मध्य प्रदेश में भी मोबाइल इंटरनेट बंद कर दिया गया है।
हिंसक प्रदर्शन के बाद शुक्रवार को राज्यों के हालात
उत्तर प्रदेश
- शुक्रवार को गाजियाबाद, गोरखपुर, कानपुर, उन्नाव, बुलंदशहर, हाथरस, हापुड़, अमरोहा, मुजफ्फरनगर, सीतापुर, बिजनौर, मुरादाबाद, फिरोजाबाद, भदोही और बहराइच में प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर पथराव किया। पुलिस ने जवाबी कार्रवाई करते हुए आंसू गैस के गोले दागे।
- राज्य में धारा 144 लागू होने के बावजूद गुरुवार को लखनऊ और संभल में नागरिकता कानून के विरोध में हिंसक प्रदर्शन हुए थे। पुलिस ने लखनऊ में 7 केस दर्ज किए और 200 प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार किया। फायरिंग में मारे गए युवक के पोस्टमॉर्टम की वीडियोग्राफी हुई।
- संभल जिले में हिंसा और आगजनी के मामले में सपा सांसद शफीकुर्रहमान बर्क समेत 17 पर केस दर्ज हुआ है। प्रदेश में अब तक कुल 3305 लोग हिरासत में लिए गए हैं। लखनऊ समेत 20 जिलों में मोबाइल इंटरनेट ठप है। जुमे की नमाज के चलते प्रशासन ने सुरक्षा इंतजाम कड़े कर दिए हैं।
दिल्ली
- जुमे की नमाज के बाद जामा मस्जिद के बाहर भारी संख्या में भीड़ जुट गई। पुलिस ने ड्रोन से निगरानी की और लोगों को शांति से जाने की अपील की।
- पूर्वोत्तर दिल्ली में सुरक्षा इंतजाम कड़े किए गए हैं। पुलिस ने यहां शुक्रवार को 14 में से 12 थाना क्षेत्रों में धारा 144 लागू कर दी और फ्लैग मार्च भी निकाला। सीआरपीएफ और रैपिड एक्शन फोर्स की 10 कंपनियां पूर्वोत्तर दिल्ली में तैनात की गई हैं। 5 ड्रोन कैमरों से नजर रखी जा रही है।
- दिल्ली में जाफराबाद, मौजपुर-बाबरपुर मेट्रो स्टेशन को भी बंद कर दिया गया है। दिल्ली में पहले से ही जामिया मिलिया इस्लामिया, चावड़ी बाजार, दिल्ली गेट मेट्रो स्टेशन को बंद किया गया है।
- दिल्ली के सीलमपुर इलाके में नागरिकता कानून को लेकर एक बार फिर विरोध प्रदर्शन देखने को मिल रहा है। जानकारी के मुताबिक हजारों प्रदर्शनकारी सड़कों पर नजर आ रहे हैं। दिल्ली पुलिस भी मौके पर मौजूद है।
गुजरात
- अहमदाबाद के शाह आलम इलाके में प्रदर्शनकारियों ने गुरुवार को पुलिस के जवानों पर पथराव किया था। इस हमले में एक डीसीपी, एक एसीपी समेत 21 पुलिसकर्मी घायल हुए। मामले में 5 हजार लोगों पर ईसनपुर थाने में केस दर्ज हुआ है, जिसमें हत्या की साजिश, शासकीय कार्य में बांधा डालने जैसी धाराएं लगाई गईं। शुक्रवार को कांग्रेस पार्षद शहजाद खान समेत 49 लोगों की गिरफ्तारी हुई। सूत्रों ने दिव्य भास्कर नेटवर्क को बताया कि अहमदाबाद पुलिस ने हिंसा भड़कने की इंटेलिजेंस ब्यूरो की चेतावनी को नजरअंदाज कर दिया था।
- गुरुवार को बनासकांठा के मुख्य हाईवे पर भीड़ ने पुलिस की गाड़ी पर हमला किया था। इस मामले में 3022 प्रदर्शनकारियों पर केस दर्ज किया गया। इनमें से 22 की पहचान कर ली गई है।
कर्नाटक
मंगलौर और दक्षिण कन्नड़ जिले में 21 दिसंबर को रात 10 बजे तक इंटरनेट बंद रहेगा। बेंगलुरु में स्कूल-कॉलेज बंद रखे गए हैं। मंगलौर में बस सेवा बंद कर दी गई है। शहर में धारा 144 अब 22 दिसंबर तक बढ़ाई गई है। मंगलौर में प्रदर्शनकारियों ने गुरुवार को पुलिस स्टेशन में आग लगाई थी। पथराव में 20 पुलिसकर्मी जख्मी हो गए थे। पुलिस की फायरिंग में 2 लोगों की मौत हो गई थी। उधर, बेंगलुरु में प्रदर्शन और हिंसा के मामले 24 लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
बिहार
राजद ने नागरिकता कानून के खिलाफ शनिवार को प्रदेश में बंद बुलाया है। तेजस्वी यादव ने कहा कि यह कानून असंवैधानिक और मानवता विरोधी है। इससे भाजपा का विभाजनकारी चरित्र सामने आ गया है। गुरुवार को बंद के दौरान राज्य के कई जिलों में माकपा कार्यकर्ताओं ने रेलवे ट्रैक और हाईवे जाम किए थे।
असम
सभी जिलों में शुक्रवार को इंटरनेट सेवा बहाल हो गई। यहां प्रदर्शन और हिंसा के चलते 11 दिसंबर से इंटरनेट पर रोक लगाई गई थी।
तमिलनाडु
चेन्नई में नागरिकता कानून के विरोध में प्रदर्शन करने वाले 600 लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया गया। इनमें अभिनेता सिद्धार्थ और संगीतकार टीएम कृष्णा भी शामिल हैं।
केरल
उत्तर केरल हाई अलर्ट पर है। यहां के वायनाड, कोझिकोड, कासरगोड और कन्नूर जिले में सुरक्षा इंतजाम पुख्ता किए गए हैं।
नागरिकता कानून और इसके विराेध पर मुख्यमंत्रियों के बयान
- असम के मुख्यमंत्री सर्बानंद सोनोवाल ने शुक्रवार को कहा कि मैं असम की जनता को भरोसा दिलाता हूं कि भाषा और संस्कृति के आधार पर किसी के अधिकारों का हनन नहीं होगा। मैं नए कानून का विरोध करने वालों को बातचीत के लिए आमंत्रित करता हूं।
- बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा है कि आज जो लोग मुसलमानों को भड़काने में लगे हैं, उन्हें राजपाट का जब मौका मिला था, तब उन्होंने क्या किया? मैं इस बात की गारंटी लेता हूं कि बिहार में अल्पसंख्यकों की उपेक्षा नहीं होगी।
- पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा है कि अगर प्रधानमंत्री मोदी में हिम्मत है तो वे संयुक्त राष्ट्र की निगरानी में नागरिकता कानून पर जनमत संग्रह कराए।
- कर्नाटक के मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा ने कहा है कि नए कानून से किसी भी भारतीय नागरिक के अधिकारों का हनन नहीं होता। अफवाहों पर ध्यान न दें।