न्यूज़
Bigg Boss 19 Tejashwi Yadav Donald Trump Narendra Modi Rahul Gandhi

संघर्षपूर्ण रही है अमेरिका के 46वें राष्ट्रपति जो बाइडन की लाइफ, जीवन से जुड़ी कुछ खास बातें

डोनाल्ड ट्रंप को हराकर बाइडेन अमेरिका के 46वें राष्ट्रपति बनने जा रहे हैं। बाइडेन को 273 वोट मिले हैं। वहीं, डोनाल्ड ट्रंप के पक्ष में 214 इलेक्टोरल वोट गए।

Posts by : Priyanka Maheshwari | Updated on: Sun, 08 Nov 2020 00:17:41

संघर्षपूर्ण रही है अमेरिका के 46वें राष्ट्रपति जो बाइडन की लाइफ, जीवन से जुड़ी कुछ खास बातें

डोनाल्ड ट्रंप को हराकर बाइडेन अमेरिका के 46वें राष्ट्रपति बनने जा रहे हैं। बाइडेन को 273 वोट मिले हैं। वहीं, डोनाल्ड ट्रंप के पक्ष में 214 इलेक्टोरल वोट गए। यह जीत निर्णायक राज्य पेनसिल्वेनिया में बाइडेन के जीत के बाद तय हुई है। बाइडेन के लिए ये राह इतनी आसान भी नहीं रही। जो बाइडेन ने अपने राजनीतिक करियर में तीन बार राष्ट्रपति बनने की रेस में हाथ आजमाया, लेकिन इससे पहले दो बार के प्रयासों में कुछ ना कुछ होता रहा। इस महीने के आखिर में 78 साल के होने जा रहे जो बाइडेन की राष्ट्रपति चुनाव में ये तीसरी बाजी थी। आइए जानते हैं ट्रंप को हराने वाले बाजीगर बाइडन की बड़ी बातें...

- जो बाइडन के नाम से मशहूर बाइडन का पूरा नाम कम लोग जानते हैं। दरअसल, जो बाइडन का पूरा नाम जोसेफ रॉबिनेट बाइडन जूनियर है। उनका जन्म पेनसिल्वेनिया के स्‍कैंटन में हुआ था लेकिन जल्दी ही पिता के साथ उन्हें डेलावेयर जाना पड़ा। यहां से उनके जीवन ने नया मोड़ लिया। वे युवाकाल में ही राजनीति में आ गए। छह बार सीनेट के लिए चुने गए और बराक ओबामा के कार्यकाल के दौरान उप-राष्ट्रपति पद संभाला।

- 77 साल के जो बाइडेन करीब पचास साल से अमेरिका की राजनीति में एक्टिव हैं। बाइडेन ने बतौर वकील अपने करियर की शुरुआत की थी, जिसके बाद उन्होंने राजनीति का रुख किया। साल 1972 में वो पहली बार चुनावी राजनीति में आए और डेलावेयर की न्यू काउंटी से चुने गए, यहां उन्होंने एक दस लेन के हाइवे के लिए जंग लड़ी।

- 1972 में ही जो बाइडेन ने अमेरिकी सीनेट के लिए उम्मीदवारी का ऐलान किया, डेलावेयर से वो 1973 में सीनेटर चुने गए। बाइडेन यहां से लगातार 2009 तक सीनेटर चुने गए। इसी साल वो बराक ओबामा के प्रशासन में उपराष्ट्रपति बने थे जिसके कारण सीनेटर का पद छोड़ना पड़ा था।

- एसोसिएटेड प्रेस को दिए अपने एक इंटरव्यू में बाइडन के बचपन के दोस्त जिम कैनेडी याद करते हैं कि वे छुटपन में कितने अलग हुआ करते थे। बकौल कैनेडी बाइडन स्कूल के दिनों में काफी हकलाया करते थे। हकलाते हुए बोलने की उनकी ये समस्या इतनी ज्यादा थी कि खुद एक स्कूल टीचर ने उन्हें बी-बी ब्लैकबर्ड बुलाना शुरू कर दिया था। बाइडन ने तब भी हार नहीं मानी। वे हकलाते हुए ही बोलने की प्रैक्टिस करते रहे और तब जाकर रुके, जब दुनिया ने उन्हें शानदार वक्ता मान लिया।

- चुनाव प्रचार के दौरान ट्रंप अपने विपक्षी को लगातार 'स्लीपी जो' बताया करते थे। ये एक तरह से मतदाताओं को चेतावनी थी कि 77 साल के नेता के हाथ में अमेरिका की डोर जाना खतरनाक हो सकता है। बता दें कि बाइडन राजनीति में काफी सालों से सक्रिय होने के बाद भी आक्रामक नहीं हो सके, ये भी शायद उनकी छवि के खिलाफ जाता था। लेकिन अब 270 से ज्यादा इलेक्टोरल वोटों के साथ यही स्लीपी जो अमेरिका का दिल जीतते दिख रहे हैं।

- जो बाइडन ने एक किताब लिखी है- Promises to Keep। इसमें उनके जीवन के हर उतार-चढ़ाव का जिक्र है। वे लिखते हैं कि अपनी आइरिश मां से उन्हें मुश्किल से लेकर आसान काम करना तक आया। वहीं पिता को रोज सुबह बिना छुट्टी लिए काम पर जाते देखा, जो उन्हें कतई पसंद नहीं था। वे मानते हैं कि पिता का रोज उठना और चल पड़ना ही उन्हें लगातार उठने के लिए प्रेरित करता रहा।

- एक घटना का जिक्र करते हुए उन्होंने बताया कि कैसे वे हर समय खुदकुशी के बारे में सोचा करते थे। जैसे-तैसे वे संभले ही थे कि साल 2015 में दोबारा एक हादसा हुआ। बाइडन के सबसे बड़े बेटे ब्यू को ब्रेन कैंसर की पुष्टि हुई। कैंसर एडवांस स्टेज में था और जल्द ही वे भी नहीं रहे। सिलसिला तब भी नहीं रुका। छोटे बेटे हंटर को कोकीन लेने के आरोप में अमेरिकी नेवी से बर्खास्त कर दिया गया।

- बाइडेन ने 1966 में नीला हंटर से शादी की, लेकिन करीब 6 साल बाद 1972 में एक एक्सीडेंट में उनकी पत्नी और एक साल की बेटी की मौत हो गई थी। जबकि उनके दो बेटे बुरी तरह से घायल हुए थे। जिनकी देखभाल के लिए बाइडन ने सीनेट से इस्तीफा देना चाहा, लेकिन मित्रों ने उन्हें किसी तरह से रोक लिया। तब जो बाइडन नामक ये पिता रोज रात वॉशिंगटन से डेलावर की लंबी दूरी तय करता था ताकि अपने बेटों को गुडनाइट कह सके। बाइडेन Amtrak नाम की ट्रेन सर्विस से अपने घर से वॉशिंगटन का सफर करते थे। करीब 35 साल तक रोजाना जो बाइडेन ने इस ट्रेन से सफर किया और उनका नाम ही Amtrak Biden पड़ गया। कई बार अपने चुनावी कैंपेन के दौरान उन्होंने फिर इस ट्रेन का सफर किया।

- बड़े बेटे की मौत के दौरान जो बाइडन ओबामा के कार्यकाल में उप-राष्ट्रपति थे। ये उनका दूसरा टर्म था। लोग अनुमान लगाते थे कि बाइडन अब राष्ट्रपति पद की दावेदारी के लिए तैयार हैं। हालांकि तब परिवार के दर्द में साथ देने के लिए बाइडन ने साल 2016 के राष्ट्रपति चुनाव में हिस्सा नहीं लिया।

- अमेरिका का राष्ट्रपति बनना दशकों से जो बाइडन की ख्वाहिश रही। साल 1980 में उन्होंने इस ओर पहला कदम बढ़ाया। लगातार कोशिशों के बीच बाइडन साल 2008 में ओबामा मंत्रिमंडल में उप-राष्ट्रपति बने और दो टर्म तक रहे।

- साल 2016 में राष्ट्रपति चुनाव से लगभग सालभर पहले जब बाइडन ने चुनाव न लड़ने का फैसला लिया जो राजनीति के जानकारों ने उनका मजाक बनाया। लिखा गया कि अंकल जो शायद काफी उम्रदराज हो चुके हैं। लेकिन अब बाइडन दोबारा लौटे हैं और काफी संभावना है कि वाइट हाउस इस बार उनका घर बन जाए।

- 1988 में जो बाइडन दो बार काफी बीमार हुए और उनके चेहरे की मसल्स कुछ समय के लिए लकवाग्रस्त हो गईं थीं। समाचार एजेंसी एपी को दिए इंटरव्यू में बाइडन के एक करीबी दोस्त टेड कॉफमैन ने कहा था, 'मैं जितने भी लोगों को अभी तक निजी तौर पर जानता हूं, उनमें से वह सबसे बदनसीब है। और मेरे निजी तौर पर जानने वाले लोगों में वह सबसे खुशनसीब हैं।'

- 2008-09 में अमेरिका में जब सबसे बड़ी मंदी आई तो बराक ओबामा ने एक कमेटी का गठन किया और उसकी कमान जो बाइडेन के हाथ में सौंपी। अमेरिका को मंदी से उबारने में जो बाइडेन की अहम भूमिका रही। अगर भारत-अमेरिका को लेकर बात करें तो जो बाइडेन ने परमाणु डील में अहम भूमिका निभाई, बतौर सीनेटर इस डील के पक्ष में वोट दिया। साथ ही बतौर उपराष्ट्रपति भारत-अमेरिका के बीच निवेश को लेकर बड़े कदम उठाए।

राज्य
View More

Shorts see more

चिया सीड्स के साथ भूलकर भी न खाएं ये 9 चीजें, वरना फायदे की जगह हो सकता है नुकसान

चिया सीड्स के साथ भूलकर भी न खाएं ये 9 चीजें, वरना फायदे की जगह हो सकता है नुकसान

  • चिया सीड्स हेल्दी हैं, सही कॉम्बिनेशन जरूरी
  • कुछ फूड्स के साथ सेवन से असर कम या पाचन खराब हो सकता है
  • डेयरी, शुगर, हाई फाइबर और ठंडी/नशीली चीजें बचें
read more

ताजा खबरें
View More

अमेरिका खुद ले रहा है रूसी फ्यूल, फिर भारत पर आपत्ति क्यों? पुतिन का बड़ा सवाल
अमेरिका खुद ले रहा है रूसी फ्यूल, फिर भारत पर आपत्ति क्यों? पुतिन का बड़ा सवाल
PM मोदी ने पुतिन को भेंट की रूसी भाषा में लिखी गीता, गर्मजोशी भरे स्वागत पर क्रेमलिन की खास प्रतिक्रिया
PM मोदी ने पुतिन को भेंट की रूसी भाषा में लिखी गीता, गर्मजोशी भरे स्वागत पर क्रेमलिन की खास प्रतिक्रिया
इंडिगो की 550 फ्लाइटें ठप, बड़े ऑपरेशनल संकट के बीच एयरलाइन ने जताया खेद
इंडिगो की 550 फ्लाइटें ठप, बड़े ऑपरेशनल संकट के बीच एयरलाइन ने जताया खेद
पाकिस्तान: आसिम मुनीर बने चीफ ऑफ डिफेंस फोर्सेस, आजीवन वर्दी और गिरफ्तारी से पूर्ण सुरक्षा के साथ बढ़ी ताकत
पाकिस्तान: आसिम मुनीर बने चीफ ऑफ डिफेंस फोर्सेस, आजीवन वर्दी और गिरफ्तारी से पूर्ण सुरक्षा के साथ बढ़ी ताकत
मोहम्मद शमी की फिर से धमाकेदार गेंदबाजी, 13 रन देकर झटके 4 विकेट, बंगाल ने आसानी से जीता मुकाबला
मोहम्मद शमी की फिर से धमाकेदार गेंदबाजी, 13 रन देकर झटके 4 विकेट, बंगाल ने आसानी से जीता मुकाबला
कश्मीर-हिमाचल की बर्फबारी ने बढ़ाई उत्तरी भारत में सर्दी, दिल्ली-NCR से लेकर यूपी-पंजाब तक शीतलहर का असर गहराया
कश्मीर-हिमाचल की बर्फबारी ने बढ़ाई उत्तरी भारत में सर्दी, दिल्ली-NCR से लेकर यूपी-पंजाब तक शीतलहर का असर गहराया
कपड़ों की आलमारी से आगे बढ़ा वॉर्डरोब, बना रूम का स्टाइल सिग्नेचर; छाए यह 8 ट्रेंडी डिजाइन
कपड़ों की आलमारी से आगे बढ़ा वॉर्डरोब, बना रूम का स्टाइल सिग्नेचर; छाए यह 8 ट्रेंडी डिजाइन
स्टील के बर्तन में कभी न रखें ये खाने की चीजें, वरना बढ़ सकता है फूड पॉइजनिंग का खतरा
स्टील के बर्तन में कभी न रखें ये खाने की चीजें, वरना बढ़ सकता है फूड पॉइजनिंग का खतरा
'मतदाता सूची में नाम नहीं जोड़ा तो राशन-पानी बंद', एमपी मंत्री के विवादित बयान से हंगामा
'मतदाता सूची में नाम नहीं जोड़ा तो राशन-पानी बंद', एमपी मंत्री के विवादित बयान से हंगामा
DDLJ को पूरे हुए 30 साल: लंदन में बना राज-सिमरन का आइकॉनिक स्टैच्यू, शाहरुख-काजोल हुए भावुक
DDLJ को पूरे हुए 30 साल: लंदन में बना राज-सिमरन का आइकॉनिक स्टैच्यू, शाहरुख-काजोल हुए भावुक
दिल्ली में पुतिन की सुरक्षा कड़ी, स्नाइपर, एंटी-ड्रोन और पांच स्तरीय सुरक्षा घेरे के बीच राजधानी बनी अभेद्य किला
दिल्ली में पुतिन की सुरक्षा कड़ी, स्नाइपर, एंटी-ड्रोन और पांच स्तरीय सुरक्षा घेरे के बीच राजधानी बनी अभेद्य किला
IPL 2026 Auction: मैक्सवेल से लेकर आंद्रे रसेल  तक, इस बार नीलामी में नजर नहीं आएंगे क्रिकेट के ये बड़े सितारे
IPL 2026 Auction: मैक्सवेल से लेकर आंद्रे रसेल तक, इस बार नीलामी में नजर नहीं आएंगे क्रिकेट के ये बड़े सितारे
IND vs SA:  टीम इंडिया ने बनाए 358 रन, फिर भी हार गई! जानें इन 5 खिलाड़ियों ने कैसे बिगाड़ा खेल
IND vs SA: टीम इंडिया ने बनाए 358 रन, फिर भी हार गई! जानें इन 5 खिलाड़ियों ने कैसे बिगाड़ा खेल
Aadhaar Card: कहीं आपके बच्चे का नकली आधार तो नहीं बन गया? ऐसे करें तुरंत पहचान – पूरा स्टेप-बाय-स्टेप तरीका
Aadhaar Card: कहीं आपके बच्चे का नकली आधार तो नहीं बन गया? ऐसे करें तुरंत पहचान – पूरा स्टेप-बाय-स्टेप तरीका