पुरुषों के बांझपन के चलते नहीं मिलता संतानसुख, जानें इससे जुड़े फैक्ट्स
By: Ankur Tue, 09 Oct 2018 2:37:35
हमारे समाज में अक्सर देखा गया हैं कि किसी भी कपल के संतान नहीं हो पाती हैं तो उसमें महिला को दोषी करार दिया जाता हैं, जबकि ऐसा पुरुषों के बांझपन के चलते भी हो सकता हैं। जी हाँ, पुरुषों का बांझपन भी आपको संतानसुख से वंचित रख सकता हैं। आज हम आपको इससे जुड़े फैक्ट्स के बारे में बताने जा रहे हैं। तो आइये जानते हैं इसके बारे में।
अगर सच के बारे में बात करें तो वन-थर्ड मामलों में महिलाएं इसका कारण होती हैं तो वन-थर्ड मामलों में पुरुष इसका कारण होता है। बाकी के मामलों में दोनों में कुछ न कुछ कमियों के कारण ऐसा होता है। इस तरह की भ्रांतियों को देखते हुए यह जरूरी होता है कि इस बारे में सही जानकारी लोगों तक पहुंचे और इसके बारे में महिला और पुरुष आपस में चर्चा करें। जर्नल ऑफ ह्युमन रिप्रोडक्टिव रिसोर्सेस में प्रकाशित एक शोध के अनुसार 40 से 50 प्रतिशत मामलों में बच्चा पैदा न होने का कारण पुरुष बांझपन होता है।
पुरुष बांझपन के लिए मुख्य रूप से स्पर्म काउंट कम होना, स्पर्म की गुणवत्ता खराब होना जैसे कारण होते हैं। शोध में यह भी कहा गया कि इंटरकोर्स के बाद महिला के शरीर में शुक्राणु 5 दिन तक जीवित रहते हैं। औसत के रूप में देखा जाए तो 100 में से 15 कपल्स असुरक्षित यौन संबंध के कारण प्रेगनेंसी से वंचित रह जाते हैं। इनमें से आधे जोड़े पुरुष बांझपन के शिकार होते हैं।
एक कंसल्टेंट के अनुसार ”इस तरह की भ्रांतियों से बाहर आना होगा कि महिलाओं में बांझपन होता है। असामान्य शुक्राणुओं का बनना, जेनेटिक डिफेक्ट, डायबिटीज जैसे कारण से पुरुषों में बांझपन होता है। क्लैमिडिया, गोनोरिया, एचआईवी जैसे संक्रमण के कारण भी यह समस्या होती है।”
कुछ पर्यावरणीय कारकों से भी बांझपन की समस्या हो सकती है। कीटनाशकों और रासायनों के कारण इसका खतरा और बढ़ा है। इसके अलावा तरह-तरह के विकिरण भी बांझपन के लिए भूमिका निभाते हैं।”
कैंसर के इलाज के बाद इस तरह की समस्या हो सकती है क्योंकि कीमोथेरेपी और अन्य कैंसर उपचार से शुक्राणुओं का उत्पादन कम हो सकता है। इसके अलावा हमें इस बात को हमेशा ध्यान देना चाहिए की यह एक समस्या है जो महिला और पुरुष दोनों में से किसी को भी हो सकती है।