नम आंखों से देश दे रहा पूर्व PM मनमोहन सिंह को श्रद्धांजलि...
By: Saloni Jasoria Fri, 27 Dec 2024 08:47:59
भारत के पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह का 92 वर्ष की आयु में निधन हो गया। उन्हें गुरुवार शाम दिल्ली स्थित एम्स (AIIMS) में भर्ती कराया गया था, जहां रात 9:51 बजे उन्होंने अंतिम सांस ली। उनके निधन पर देश और दुनिया के नेताओं ने गहरी संवेदनाएं व्यक्त की हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, कांग्रेस नेता राहुल गांधी और अन्य प्रमुख नेताओं ने उन्हें श्रद्धांजलि दी।
7 दिन का राजकीय शोक घोषित
डॉ. मनमोहन सिंह के सम्मान में केंद्र सरकार ने 7 दिन का राजकीय शोक घोषित किया है। इस दौरान राष्ट्रीय ध्वज आधा झुका रहेगा। कांग्रेस पार्टी ने उनके निधन पर आज के सभी कार्यक्रम रद्द कर दिए और अगले 7 दिनों तक कोई भी आधिकारिक कार्यक्रम आयोजित नहीं करने की घोषणा की है। पार्टी के महासचिव केसी वेणुगोपाल ने बताया कि कांग्रेस के स्थापना दिवस सहित सभी आंदोलन और आउटरीच कार्यक्रम 3 जनवरी, 2025 तक स्थगित कर दिए गए हैं।
अफगानिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति हामिद करजई ने दी श्रद्धांजलि
अफगानिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति हामिद करजई ने डॉ. मनमोहन सिंह के निधन पर शोक व्यक्त करते हुए कहा, "भारत ने अपने सबसे महान पुत्रों में से एक को खो दिया है। डॉ. सिंह अफगानिस्तान के लिए एक अटूट सहयोगी और मित्र थे। उनके योगदान को हमेशा याद किया जाएगा। मैं उनके परिवार और भारत के लोगों के प्रति अपनी संवेदनाएं व्यक्त करता हूं। उनकी आत्मा को शांति मिले।"
प्रधानमंत्री मोदी ने किया था योगदान का स्मरण
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने फरवरी 2024 में राज्यसभा में डॉ. मनमोहन सिंह की विदाई के दौरान उनके योगदान को सराहा था। उन्होंने कहा था, "डॉ. मनमोहन सिंह ने लंबे समय तक संसद और देश का मार्गदर्शन किया। उनके व्यक्तित्व और लोकतांत्रिक मूल्यों से हमें सीख लेनी चाहिए।" पीएम मोदी ने कहा था, 'मुझे याद है कि संसद में वोटिंग का अवसर था. पता था कि ट्रेजरी बेंच की ही जीत होने वाली है. अंतर भी बहुत था. लेकिन डॉ मनमोहन सिंह व्हीलचेयर पर आए. वोट किया. एक सांसद अपने दायित्व के लिए कितना सजग है, वो उसका उदाहरण हैं.'
डॉ. मनमोहन सिंह का राजनीतिक और व्यक्तिगत जीवन
डॉ. मनमोहन सिंह ने अपने राजनीतिक और आर्थिक ज्ञान से देश को नई दिशा दी। 1991 के आर्थिक सुधारों में उनकी भूमिका ऐतिहासिक मानी जाती है। वे एक सादगी और कर्तव्यपरायणता के प्रतीक थे, जिन्होंने अपने जीवन से यह संदेश दिया कि लोकतंत्र में हर व्यक्ति का योगदान महत्वपूर्ण है।