TRF ने ली आतंकी हमले की जिम्मेदारी, 2019 से 2025 तक किए 9 हमले, संगठन की पूरी जानकारी

पहलगाम। जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में मंगलवार को हुए भीषण आतंकी हमले ने इस खूबसूरत पर्यटन स्थल की शांति को भंग कर दिया। लश्कर-ए-तैयबा से जुड़े आतंकी संगठन द रेजिस्टेंस फ्रंट यानी कि TRF ने इस हमले की जिम्मेदारी ली है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, इस भयावह आतंकी हमले में कम से कम 26 पर्यटक मारे गए हैं जबकि कई अन्य घायल बताए जा रहे हैं। हमले के दौरान आतंकियों ने पर्यटकों से उनका नाम और धर्म पूछकर गोलीबारी की, जिसने इस घटना को लेकर चिंता और बढ़ा दी है।

चश्मदीद का दिल दहलाने वाला बयान

हमले की चश्मदीद एक महिला पर्यटक ने बताया कि आतंकियों ने पहले लोगों से उनका धर्म पूछा और फिर गोली मार दी। महिला ने पीसीआर कॉल पर रोते हुए कहा, 'मैं वहां भेलपूरी खा रही थी, मेरा पति पास में था। एक आतंकी आया, उसने मेरे हाथ में चूड़ा देखा और मेरे पति से उनका मजहब पूछा। फिर उसे गोली मार दी।' महिला ने बताया कि आतंकियों ने 3 से 5 मिनट तक गोलीबारी की और फिर फरार हो गए। जानकारी के मुताबिक, यह हमला पहलगाम के उस क्षेत्र में हुआ जहां पर्यटक अक्सर ट्रैकिंग और अन्य गतिविधियों के लिए आते हैं। आतंकियों ने अचानक पर्यटकों पर ताबड़तोड़ फायरिंग शुरू कर दी।

सुरक्षाबलों का त्वरित एक्शन


हमले के बाद भारतीय सेना की विक्टर फोर्स, स्पेशल फोर्स, जम्मू-कश्मीर पुलिस की स्पेशल ऑपरेशंस ग्रुप (एसओजी) और सीआरपीएफ ने इलाके में बड़े पैमाने पर सर्च ऑपरेशन शुरू कर दिया है। आतंकियों की तलाश में इलाके को को घेर लिया गया है, और सुरक्षा बल उनकी धरपकड़ के लिए हर संभव प्रयास कर रहे हैं। लश्कर-ए-तैयबा के सहयोगी संगठन टीआरएफ ने इस हमले की जिम्मेदारी ली है। बता दें कि यह संगठन हाल के वर्षों में जम्मू-कश्मीर में कई आतंकी गतिविधियों में शामिल रहा है।

क्या है TRF? कैसे करता है काम?

TRF एक आतंकी संगठन है, जो 2019 में जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 के निरस्तीकरण के बाद उभरा। यह पाकिस्तान समर्थित जिहादी आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा का ही एक तरह से दूसरा नाम है। TRF ने नागरिकों, विशेषकर अल्पसंख्यक समुदायों जैसे कश्मीरी पंडितों, सरकारी कर्मचारियों और पर्यटकों पर लगातार हमले किए हैं। यह संगठन भारतीय सुरक्षा बलों पर भी हमले करता है। TRF गैर-धार्मिक प्रतीकों का उपयोग कर स्वयं को धर्मनिरपेक्ष दिखाने की कोशिश करता है, लेकिन इसका लक्ष्य कश्मीर में आतंक फैलाना है।

TRF के द्वारा अंजाम दिए गए प्रमुख आतंकी हमले

1. 12 अक्टूबर 2019: श्रीनगर में ग्रेनेड हमला—TRF ने श्रीनगर के लाल चौक में ग्रेनेड हमला किया, जिसमें 8 नागरिक घायल हुए। यह हमला संगठन की स्थापना के बाद पहली प्रमुख घटना थी, जिसे TRF ने टेलीग्राम के माध्यम से स्वीकार किया।

2. 8 जून 2020: कश्मीरी पंडित सरपंच की हत्या—TRF के आतंकियों ने एक कश्मीरी पंडित सरपंच की हत्या की। यह हमला अल्पसंख्यक समुदाय को निशाना बनाने की रणनीति का हिस्सा था।

3. 25 सितंबर 2020: वकील बाबर कादरी की हत्या— श्रीनगर में TRF आतंकियों ने प्रमुख वकील बाबर कादरी की हत्या कर दी। यह हमला प्रभावशाली स्थानीय हस्तियों को निशाना बनाने का हिस्सा था।

4. 5 अक्टूबर 2021: कश्मीरी पंडित व्यवसायी की हत्या—TRF ने श्रीनगर में कश्मीरी पंडित व्यवसायी माखन लाल बिंद्रू की गोली मारकर हत्या की।

5. 7 अक्टूबर 2021: स्कूल में दो शिक्षकों की हत्या—TRF आतंकियों ने श्रीनगर के एक स्कूल में दो गैर-मुस्लिम शिक्षकों (एक हिंदू और एक सिख) की हत्या की।

6. 31 मई 2022: स्कूल शिक्षक रजनी बाला की हत्या— कुलगाम में TRF ने स्कूल शिक्षक रजनी बाला की लक्षित हत्या की। इस हमले में पाकिस्तान स्थित लश्कर ऑपरेटिव अरबाज अहमद मीर मुख्य आरोपी था।

7. 28 फरवरी 2023: कश्मीरी पंडित संजय शर्मा की हत्या—TRF आतंकियों ने कश्मीरी पंडित संजय शर्मा, जो एक सुरक्षा गार्ड थे, की हत्या की। बाद में हमलावर आतंकी अकीब मुस्ताक भट अवंतीपोरा में मुठभेड़ में मारा गया।

8. 9 जून 2024: रियासी बस हमला—TRF ने रियासी जिले में वैष्णो देवी तीर्थयात्रियों को ले जा रही बस पर हमला किया, जिसमें 9 लोगों की मौत हुई और 33 घायल हुए। संगठन ने पर्यटकों और गैर-स्थानीय लोगों पर और हमलों की धमकी दी।

9. 22 अप्रैल 2025: पहलगाम पर्यटक हमला—TRF ने पहलगाम में पर्यटकों पर हमला किया, जिसमें एक पर्यटक की मौत हुई और 12-13 घायल हुए। आतंकियों द्वारा धर्म पूछकर गोलीबारी करने की बात सामने आई है।