सीमा पर बढ़ा तनाव, बंकरों की होने लगी सफाई, जरूरी सामानों का भी स्टॉक कर रहे गांव वाले

हाल ही में पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत के सीमावर्ती जिलों में नियंत्रण रेखा (एलओसी) पर तनाव तेजी से बढ़ गया है। ग्रामीणों को संभावित तनाव के मद्देनज़र अपने भूमिगत बंकरों की सफाई और उन्हें तैयार करने का निर्देश दिया गया है। पाकिस्तान की सैन्य चौकियों के निकट स्थित गांवों के निवासियों ने एहतियाती उपायों के तहत पुराने बंकरों को साफ करना और आवश्यक वस्तुओं का भंडारण शुरू कर दिया है। जिन ग्रामीणों ने पिछले कुछ वर्षों में सीमा पार गोलीबारी की घटनाओं को लगभग भुला दिया था, वे अब फिर से संभावित संकट की स्थिति में तैयारी कर रहे हैं। तस्वीरों में ग्रामीणों को बंकरों के भीतर कंबल और बिस्तर सहेजते हुए देखा जा सकता है।

एक स्थानीय निवासी ने कहा, लोगों ने बंकरों के अस्तित्व को लगभग भुला दिया था। अब, हम उन्हें फिर से साफ कर रहे हैं। डर का माहौल तो है, लेकिन हमें आशा है कि घाटी में शांति और सद्भाव बना रहेगा। उसी गांव के एक अन्य निवासी ने कहा, हम सरकार के समर्थन में खड़े हैं। हम आतंकवादी हमले की निंदा करते हैं और अपने सैनिकों और प्रशासन के साथ मजबूती से खड़े हैं। जरूरत पड़ने पर हम हर प्रकार की सहायता देने के लिए तैयार हैं, चाहे उसमें अपनी जान ही क्यों न देनी पड़े।

एक अन्य ग्रामीण ने बताया, पहले यहां पर अक्सर गोलीबारी होती थी। हमारा गांव एलओसी के बेहद करीब है। हम बंकरों की सफाई इसलिए कर रहे हैं ताकि आपात स्थिति में अपने परिवार को सुरक्षित स्थान पर ले जाया जा सके। केंद्र सरकार का धन्यवाद करना चाहूंगा जिन्होंने हमें ये बंकर उपलब्ध कराए। कई बंकर, जिन्हें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के शासनकाल के दौरान 'मोदी बंकर' के नाम से भी जाना जाने लगा है, नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए बनाए गए थे, खासकर भारी गोलाबारी की घटनाओं के दौरान।

वर्तमान में क्षेत्र में सुरक्षा बल पूरी तरह से हाई अलर्ट पर हैं। प्रशासन ने नागरिकों को भी अत्यधिक सतर्क रहने के निर्देश दिए हैं। अतीत में सरकार ने पुंछ और राजौरी जैसे संवेदनशील इलाकों में व्यक्तिगत और सामूहिक बंकरों के निर्माण के लिए वित्तीय सहायता और तकनीकी मार्गदर्शन प्रदान किया था। इस बीच, पहलगाम आतंकी हमले के बाद बढ़ी सुरक्षा चिंताओं के बीच एक महत्वपूर्ण घटनाक्रम में खुफिया एजेंसियों ने जम्मू-कश्मीर में सक्रिय 14 स्थानीय आतंकवादियों की सूची तैयार की है। इन आतंकवादियों का संबंध पाकिस्तान समर्थित तीन प्रमुख आतंकी संगठनों — हिजबुल मुजाहिदीन, लश्कर-ए-तैयबा (LeT) और जैश-ए-मोहम्मद (JeM) से है। सूची में तीन आतंकवादी हिजबुल से, आठ लश्कर-ए-तैयबा से और तीन जैश-ए-मोहम्मद से जुड़े हुए हैं।