केजरीवाल सरकार ने फिर लगाया पटाखों पर बैन, प्रदूषण से मिलेगी राहत

नई दिल्ली। दिल्ली की आम आदमी पार्टी की सरकार ने एक बार फिर दिवाली के मौके पर पटाखों पर बैन लगाने का फैसला किया है और केवल पटाखों के जलाने पर ही नहीं बल्कि उसकी खरीद-बिक्री व निर्माण पर भी बैन लगेगा, यानी कि पिछले साल की तरह इस साल भी पटाखों पर प्रतिबंध जारी रहेगा। पर्यावरण, वन और वन्यजीव विभाग के मंत्री गोपाल राय ने कहा, ‘इस साल भी “युद्ध प्रदूषण के विरुद्ध अभियान” चलेगा।

सीएम केजरीवाल के निर्णय के अनुसार DPCC को निर्देश दिया जा रहा है कि इस साल भी पटाखों के निर्माण बिक्री और जलाने पर प्रतिबंध लागू किया जाए। हमने अभी इसलिए यह निर्देश दिया है क्योंकि पुलिस अभी से पटाखों के निर्माण के लिए लाइसेंस देती है। इसलिए हमने निर्देश दिया है कि पुलिस किसी को भी लाइसेंस जारी न करे। पड़ोसी राज्यों से भी अपील है कि पटाखों पर प्रतिबंध लगाएं।

उन्होंने कहा, ‘पिछले जनवरी से अगस्त तक दिल्ली में औसत AQI काफ़ी कम रहा। कल AQI 45 रिकॉर्ड हुआ, लेकिन जैसे जैसे सर्दी बढ़ती है प्रदूषण के स्तर में बढ़ोतरी होती है। दिल्ली और बाहर के प्रदूषण के कारण अक्टूबर नवम्बर में दिल्ली की हवा ज़हरीली हो जाती है। इसे नियंत्रित करने के लिए दिल्ली सरकार ने विंटर एक्शन प्लान की तैयारी शुरू कर दी है।’

इसके अलावा उन्होंने कहा, ‘कल हम देश के जाने माने पर्यावरणविद के साथ बैठक कर रहे हैं और 14 सितंबर को शाही विभागों की बैठक बुलाई गई है। अक्टूबर के पहले हफ़्ते में सीएम केजरीवाल विंटर एक्शन प्लान की घोषणा करेंगे। दिवाली हम धूमधाम से मनाते हैं लेकिन पटाखे जलाने से दिवाली के अगले दिन पूरी दिल्ली में धुएं की चादर आ जाती है और उसमें पराली का धुआं मिलने से AQI ख़तरनाक हो जाता है।’

सुप्रीम कोर्ट के निर्देश का हवाला देते हुए उन्होंने कहा, ‘सुप्रीम कोर्ट ने 23/10/2018 को निर्णय दिया था कि सिर्फ़ ग्रीन पटाखों को अनुमति दी जाए लेकिन उसकी आड़ में सभी तरह के पटाखे जलाए गए। 1/12/2020 को NGT का आदेश आया कि जहां Poor कैटेगरी में प्रदूषण होता है, वहां पटाखों पर बैन लगाया जाए उसके बाद 2021 में DPCC ने पटाखों पर बैन लगाया, 2022 में भी यह लागू था। इस साल प्रदूषण में लगातार गिरावट हो रही है।’

दिल्ली सरकार के मंत्री गोपाल राय ने कहा कि अगर साथ मिलकर प्रतिबंध होगा तो पटाखों के प्रदूषण को नियंत्रित करने में हम सफल होंगे। NGT का निर्णय सबके लिए है कि जहां भी Poor कैटेगरी में AQI हो वहां पटाखों पर प्रतिबंध लगे। रिसर्च के अनुसार, दिल्ली की तुलना में दोगुना प्रदूषण NCR के राज्यों से दिल्ली में आता है। CAQM की पिछले साल की कोशिशों से प्रदूषण में कमी आई थी।