भूकंप-सुनामी से इंडोनेशिया में मची तबाही, एक ही कब्र में दफनाए जाएंगे हजारों शव

इंडोनेशिया के सुलावेसी द्वीप में आए ताकतवर भूकंप और इससे पैदा हुई सुनामी की चपेट में आने से मरने वालों की संख्या बढ़कर 832 हो गई है। मृतकों में 11 लोग डोंगगाला के हैं और 821 पालू प्रांत के न्यूज एजेंसी एएफपी ने रविवार को यह जानकारी दी है। भूकंप और सुनामी से तबाह हुए सुलावेसी में वॉलन्टियर्स ने सोमवार को एक हजार से अधिक शवों के लिए सामूहिक कब्र खोदी। आपदा के कारण मची तबाही से निपट रहे अधिकारियों ने अंतरराष्ट्रीय सहयोग मांगा है।

आपदा के चार दिन बाद तक भी दूरदराज के कई इलाकों में संपर्क नहीं हो पाया है। दवाइयां खत्म हो रही हैं और बचावकर्ता ध्वस्त इमारतों के मलबे में अब भी दबे पीड़ितों को निकालने के लिए आवश्यक भारी उपकरणों की कमी से जूझ रहे हैं। राष्ट्रपति जोको विडोडो ने कई दर्जन अंतरराष्ट्रीय सहायता एजेंसियों तथा गैर सरकारी संगठनों के लिए दरवाजे खोल दिए हैं। यह एजेंसियां पहले से ही लाइफ सेविंग हेल्प के लिए तैयार थीं। वरिष्ठ सरकारी अधिकारी टॉम लेमबोंग ने ट्विटर पर बचावकर्ताओं से कहा है कि वह उनसे सीधे संपर्क करें। उन्होंने लिखा है, "कल रात राष्ट्रपति ने अंतरराष्ट्रीय मदद स्वीकार करने के लिए हमें अधिकृत किया है ताकि राहत तत्काल प्राप्त हो सके।"

मृतकों को दफनाने के लिए 100 मीटर लंबी कब्र खोदी

अधिकारियों को आशंका है कि आगामी दिनों में मृतकों का आंकड़ा बढ़ सकता है। पालू के पहाड़ी इलाके पोबोया में स्वयंसेवकों ने मृतकों को दफनाने के लिए 100 मीटर लंबी कब्र खोदी है। उन्हें 1,300 पीड़ितों को दफनाने की तैयारी करने के निर्देश दिए गए थे।

14 दिन का आपातकाल घोषित किया

प्राकृतिक आपदा के बाद खराब होते शवों के कारण बीमारियों के फैलाव को रोकने के लिए अधिकारी संघर्ष कर रहे हैं। इसके साथ ही यहां 14 दिन का आपातकाल घोषित किया गया है। पालू के एक होटल के मलबे में 60 लोगों के दबे होने की आशंका है। राष्ट्रपति जोको विडोडो ने कई दर्जन अंतरराष्ट्रीय सहायता एजेंसियों तथा गैर सरकारी संगठनों के लिए दरवाजे खोल दिए हैं। यह एजेंसियां पहले से ही लाइफ सेविंग हेल्प के लिए तैयार थीं। वरिष्ठ सरकारी अधिकारी टॉम लेमबोंग ने ट्विटर पर बचावकर्ताओं से कहा है कि वह उनसे सीधे संपर्क करें। उन्होंने लिखा है, "कल रात राष्ट्रपति ने अंतरराष्ट्रीय मदद स्वीकार करने के लिए हमें अधिकृत किया है ताकि राहत तत्काल प्राप्त हो सके।"

इंडोनेशिया में पिछले महीने भी भूकंप आया था, जिसने भीषण तबाही मचाई थी। 5 अगस्‍त को आए भूकंप में 460 लोगों की जान चली गई थी। इससे पहले 2004 में इंडोनेशिया के सुमात्रा द्वीप में आए भूकंप और सुनामी से भी व्‍यापक विनाश हुआ था। इसने पूरे हिंद महासागर क्षेत्र को प्रभावित किया था। भारत में तमिलनाडु के तटीय इलाकों में व्‍यापक क्षति हुई थी और जानमाल का नुकसान हुआ था।

रिपोर्ट्स के अनुसार, 2004 में आई सुनामी के कारण पूरे हिंद महासागर में 2,26,000 लोगों की जान चली गई थी। इनमें से 1,20,000 से अधिक की मौत अकेले इंडोनेशिया में हो गई थी।