भारतीय वायुसेना (आईएएफ) का विमान सुखोई आज महाराष्ट्र के नासिक में दुर्घटनाग्रस्त हो गया। विमान में सवार दोनों पायलट बाल-बाल बचे हैं। दोनों पायलट को अस्पताल में उपचार के लिए ले जाया गया है। आपको बता दें कि इस महीने भारतीय वायुसेना के विमान दुर्घटना की ये दूसरी खबर है। जून महीने के शुरुआत में गुजरात में कच्छ के मुंद्रा जिले में एक भारतीय वायुसेना का जगुआर लड़ाकू जेट विमान दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। यह विमान अभी हिन्दुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड में अंडर-प्रोडेक्शन था। रिपोर्ट्स के मुताबिक संभावना जताई जा रही है कि विमान में कुछ तकनीकी खामी की वजह से यह हादसा हुआ है, हालांकि, इसकी पुष्टि मामले की जांच के बाद होगी। जानकारी मिलने के बाद घटना की जांच के लिए एक टीम को मौके पर भेजा गया है। विमान एक गांव के खेतों में क्रैश हुआ है, ऐसे में वहां पर कोई नहीं मौजूद नहीं था। जिसकी वजह से इस हादसे में कोई हताहत नहीं हुआ। हालांकि, जब विमान क्रैश हुआ तो पास के खेतों में लोग काम कर रहे थे, विमान क्रैश होने की तेज आवाज सुनकर वे वहां मौके पर पहुंचे। स्थानीय लोगों ने ही दोनों पायलट को उपचार के लिए अस्पताल भेजने में मदद की।
बता दे, पिछले साल मई में चीन की सीमा रेखा के पास एक सुखोई जेट दुर्घटनाग्रस्त हो गया था जिसमें सवार दोनों पायलटों की मौत हो गई थी। माना जा रहा था कि विमान में तकनीकी समस्या आ जाने के कारण उन्हें विमान के संचालन में परेशानी आ रही थी, जिसके परिणामस्वरूप जेट दुर्घटनाग्रस्त हो गया औऱ उन दोनों की मौत हो गई।
इससे पहले 2015 में, सुखोई-30 एमकेआई लड़ाकू विमान मध्य असम के नागाओन जिले के लाकोहोआ बोरोरिमारी गांव में दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। इस दुर्घटना में पायलट और सह-पायलट दोनों को सुरक्षित रूप से बाहर निकाल लिया गया था। गौरतलब है कि, सुखोई सु-30 एक रूसी निर्मित, दो इंजन वाला सैन्य विमान है जो हर मौसम में सफलतापूर्वक सैन्य मिशन में काम आता है। 1990 के उत्तरार्ध में सु-30 विमानों में से पहला आईएएफ द्वारा शामिल किया गया था। आंकड़ों के मुताबिक, तब से अब तक कम से कम छह ऐसी दुर्घटनाएं हुई हैं। इनकी जांच में ज्यादातर तकनीकी विफलता का संकेत मिला है।