हजारों किसान जबरदस्ती लाल किले में हुए दाखिल, हंगामे में 109 पुलिसकर्मी घायल

किसान ट्रैक्टर परेड के दौरान मंगलवार को उपद्रवियों ने जमकर उत्पात मचाया। दोपहर करीब 2 बजे हजारों किसान मेन गेट से लाल किले के अंदर घुस गए। उन्होंने अंदर तोड़फोड़ तो की ही, किले की प्राचीर पर चढ़कर धार्मिक ध्वज निशान साहिब और किसानों का झंडा लगा दिया। हर साल 15 अगस्त को प्रधानमंत्री इसी जगह तिरंगा फहराते हैं। यह हंगामा करीब 90 मिनट तक चलता रहा। इसके बाद पुलिस ने उपद्रव कर रहे किसानों पर लाठीचार्ज किया और उन्हें खदेड़कर बाहर निकाल दिया।

दिल्ली के ज्वाइंट पुलिस कमिश्नर आलोक कुमार ने कहा कि ट्रैक्टर रैली में पुलिस कर्मियों के साथ मारपीट करने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी। वहीं, दिल्ली पुलिस के पीआरओ ईश सिंघल ने बताया कि प्रदर्शनकारी कुछ स्थानों पर हिंसक हो गए। उपद्रवियों के हमले में कई पुलिस कर्मी घायल हो गए। उपद्रवियों ने इस दौरान सार्वजनिक संपत्तियों को भी नुकसान पहुंचाया। पुलिस ने संयम बरता और जरूरत पड़ने पर ही बल का प्रयोग किया। मैं प्रदर्शनकारियों से निर्धारित मार्गों से लौटने और शांति बनाए रखने की अपील करता हूं।

समाचार एजेंसी एएनआइ से बातचीत करते हुए दिल्ली पुलिस कमिश्नर एसएन श्रीवास्तव ने कहा कि कई दौर की बैठकों के बाद ट्रैक्टर रैली के लिए समय और मार्गों को अंतिम रूप दिया गया था। लेकिन उपद्रवी प्रदर्शनकारियों ने ट्रैक्टरों से बैरिकेड को तोड़ दिया और निर्धारित किए गए समय से पहले दिल्ली मे घुस गए। उपद्रवियों ने पुलिस पर हमला भी किया। इससे कई पुलिस कर्मी घायल हो गए।किसान ट्रैक्टर रैली में 109 पुलिसकर्मी घायल हो गए हैं। पुलिस ने एनओसी तोड़ने पर सख्त कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं।