कोरोनाकाल में ट्रेन का सफ़र बन सकता हैं खतरा, चीन की हाईस्पीड ट्रेनों पर किया गया अध्ययन

हर दिन कोरोना संक्रमितों के आंकड़ों में इजाफा हो रहा हैं जिसपर लगाम लगाने के लिए खुद को सावधानियां बरतनी होगी। अनलॉक के बाद से ही देश में ट्रेन सेवा शुरू हो चुकी हैं और लोग आवागमन के लिए इसका सहर ले रहे हैं। लेकिन हाल ही में चीन की हाईस्पीड ट्रेनों पर अध्ययन किया गया जिसमें डराने वाले खुलासे हुए हैं। इसके अनुसार कोरोनाकाल में ट्रेन का सफ़र आपके लिए खतरा बन सकता हैं। वैज्ञानिकों का कहना है कि ट्रेन में कोरोना संक्रमित यात्रा कर रहा है तो दो घंटे की यात्रा के दौरान वो आठ फुट की दूरी पर बैठे सहयात्री को वायरस दे सकता है। अगर आप एक घंटे की ट्रेन यात्रा करते हैं तो आपको दूसरे यात्री से कम से कम तीन फुट दो इंच दूर बैठना होगा।

ऐसा करने से वायरस आपके पास नहीं आ पाएगा। ब्रिटेन की यूनिवर्सिटी ऑफ साउथेंप्टन के वर्ल्डपॉप प्रोजेक्ट के तहत वैज्ञानिकों ने चीन की हाईस्पीड ट्रेनों में ये अध्ययन किया है। वर्ल्डपॉप के निदेशक प्रो. एंडी टैटेम का कहना है कि सोशल डिस्टेंसिंग ही नहीं बल्कि यात्रा कितनी देर की है, इस पर भी संक्रमण की चपेट में आना निर्भर करता है। संक्रमित व्यक्ति के सामने वाली सीट पर बैठे व्यक्ति को संक्रमण का खतरा सबसे अधिक है। 3.5 फीसदी यात्री अपने संक्रमित सहयात्री की चपेट में आ सकते हैं। एक ही लाइन में सीट पर बैठे व्यक्तियों को ये खतरा 1.5 फीसदी है।

वैज्ञानिकों ने ट्रेन या दूसरे सार्वजनिक वाहनों से यात्रा करने वाले लोगों को यात्रा के दौरान नियमित मास्क पहनने की सलाह दी है। हाथों को समय-समय पर सैनिटाइज करना होगा। संभव हो तो यात्रा के दौरान कुछ खाएं-पीएं नहीं। छोटे बच्चों के साथ यात्रा करनें से बचें। यात्रा के दौरान चेहरे पर हाथ बिलकुल न लगाएं। वायरस इस लापरवाही का लाभ उठाकर शरीर के भीतर दाखिल हो सकता है।