रहस्यमय वैज्ञानिक थे निकोला टेस्ला, क्या सच में की थी समय यात्रा?
By: Ankur Wed, 11 Mar 2020 4:02:00
इतिहास में कई माहन शख्सियत हुई हैं जिनके बारे में जानकार गौरवान्वित महसूस होता हैं। आज की हमारी तकनिकी कई वैज्ञानिकों कि बड़ी सोच और दिमाग की मदद से हैं। ऐसे ही एक वैज्ञानिक थे निकोला टेस्ला जो अपने रहस्यमयी अविष्कारों के लिए जाने जाते थे। इन्होनें दुनिया को ऐसे-ऐसे आविष्कार दिए, जिनका इस्तेमाल आज हम रोजमर्रा की जिंदगी में करते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि इनके प्रति धारणा है कि उन्होनें समय यात्रा की हैं। एक रिपोर्ट के मुताबिक, उन्होंने खुद कहा था कि उन्होंने भूतकाल, वर्तमान और भविष्य तीनों को एक साथ देखा है। इससे संबंधित उन्होंने एक किताब भी लिखी थी।
साल 1856 में पैदा हुए निकोला टेस्ला एक आविष्कारक होने के साथ-साथ मैकेनिकल, इलेक्ट्रिकल और फिजिकल इंजीनियर भी थे। सबसे दिलचस्प बात कि बिजली के बल्ब के आविष्कारक थॉमस एडिसन उनके बॉस थे। हालांकि बाद में दोनों एक दूसरे के प्रतिद्वंद्वी बन गए थे, क्योंकि एडिसन डायरेक्ट करंट (डीसी) को बेहतर मानते थे, जिसे एक जगह से दूसरी जगह ले जाना मुश्किल था, जबकि टेस्ला अल्टरनेटिव करंट (एसी) को बेहतर मानते थे, क्योंकि उसे एक जगह से दूसरी जगह ले जाना आसान था।
टेस्ला ने साल 1891 में टेस्ला कॉइल्स का आविष्कार किया था। दरअसल, टेस्ला कॉइल्स एक तरह की इलेक्ट्रिकल सर्किट होती है, जिसकी मदद से कम करंट और हाई वोल्टेज की बिजली पैदा की जाती है। आज के समय में इसका इस्तेमाल रेडियो से लेकर टीवी और अन्य इलेक्ट्रॉनिक्स उपकरणों में हो रहा है। इसके अलावा वायरलेस ट्रांसमिशन में भी इसका इस्तेमाल हो सकता है।
टेस्ला ने न्यूयॉर्क के नियाग्रा फॉल्स (जलप्रपात) में पहले हाइड्रोइलेक्ट्रिक पावर प्लांट का डिजाइन तैयार किया। यह प्लांट तीन साल में बनकर तैयार हुआ था और 16 नवंबर 1896 को पहली बार इस प्लांट से नजदीकी इलाकों में बिजली की सप्लाई की गई। इस उपलब्धि की वजह से नियाग्रा फॉल्स के सामने गॉट आइलैंड पर निकोला टेस्ला की एक प्रतिमा भी स्थापित की गई है।
निकोला टेस्ला को अपने समय से आगे के आविष्कारों के लिए भी जाना जाता है। उन्होंने 1887 में एसी से चलने वाला एक मोटर बनाया था। कहते हैं कि ये आविष्कार समय से आगे का था, इसलिए उस समय इसकी कोई पूछ नहीं थी। लेकिन इससे उन्हें दुनियाभर में प्रसिद्धि जरूर मिली।
कहा जाता है कि रेडियो का आविष्कारक मार्कोनी के बजाए निकोला टेस्ला को ही माना जाता, लेकिन 13 मार्च 1895 को उनकी लैब में आग लग गई थी। बहुत कम ही लोगों को पता है कि टेस्ला की मौत के बाद मार्कोनी के पेटेंट को अमेरिका की सुप्रीम कोर्ट ने अमान्य करार दे दिया था और रेडियो के आविष्कार का पेटेंट निकोला टेस्ला को दे दिया था।
साल 1898 में टेस्ला ने रिमोट से चलने वाली एक नाव बनाई थी। ये आविष्कार उस वक्त के हिसाब से इतना आगे का था कि लोगों को लगा था कि टेस्ला ने नाव के अंदर किसी प्रशिक्षित जानवर को रखा है। लोगों के इस शक को दूर करने के लिए टेस्ला को नाव को पूरी तरह खोलकर उसके सारे कलपुर्जे दिखाने पड़े थे।