बुलंदशहर हिंसा: इंस्पेक्टर सुबोध की पत्नी को 40 लाख और माता-पिता को 10 लाख मुआवजा और नौकरी देगी योगी सरकार
By: Priyanka Maheshwari Tue, 04 Dec 2018 08:20:52
यूपी के बुलंदशहर में कथित गोकशी को आधार बनाकर की गई हिंसा में दो जिंदगियां बर्बाद हो गईं। इस हिंसा में इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह (Subodh Kumar Singh) और एक आम नागरिक की मौत हो गई। सुबोध कुमार सिंह की मौत गोली लगने से हुई। पोस्ट मार्टम रिपोर्ट के अनुसार सुबोध सिंह को बांयी आंख की भौं के पास गोली लगी। यह गोली 32mm की थी। इसके अलावा उनके सिर, कमर, घुटना समेत शरीर के कई जगहों पर डंडों से चोट के
निशान भी मिले हैं। उपद्रवी सुबोध कुमार सिंह की सरकारी पिस्टल भी लूटकर
ले गए। उत्तेजित हथियारबंद भीड़ ने न सिर्फ पुलिस चौकी में तांडव मचाते हुए वाहनों को आग के हवाले किया, बल्कि घायल हुए इंस्पेक्टर को जान बचाने का कोई मौका तक नहीं दिया। यहां तक कि जब सुबोध कुमार के ड्राइवर ने उन्हें पुलिस वैन से अस्पताल ले जाने का प्रयास किया तो वैन को ही तहस नहस कर दिया गया और दर्जनों वाहनों को आग के हवाले कर दिया। बुलंदशहर हिंसा में तनाव के मद्देनजर जिले में धारा 144 लागू कर दी गई है। वहीं, शहीद इंस्पेक्टर को आज 10 बजे पुलिस लाइन में अंतिम सलामी दी जाएगी।
Chief Minister Yogi Adityanath declares a compensation of Rs 40 lakh for wife, Rs 10 lakh for parents & a government job for a kin of Police Inspector Subodh Kumar who died in violence in #Bulandshahr. (File pic) pic.twitter.com/DF3QsAzwAW
— ANI UP (@ANINewsUP) December 3, 2018
पुलिस ने 400 अज्ञात लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है। बुलंदशहर हिंसा में मारे गए इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह की पत्नी को योगी सरकार मुआवजे के तौर पर 40 लाख रुपये देगी। 10 लाख रुपये उनके माता-पिता को भी दिया जाएगा। सीएम योगी ने एक परिजन को सरकारी नौकरी देने का भी ऐलान किया है।
बता दें, इंस्पेक्टर सुबोध कुमार अखलाक हत्याकांड के इंवेस्टिगेशन ऑफिसर भी रह चुके थे। जब वे जारजा थाना प्रभारी थे तब उन्होंने अखलाक हत्याकांड की दो महीने तक जांच की थी। बाद में उनका ट्रांसफर हो गया था। उस दौरान ग्रेटर नोएडा कोर्ट ने जारचा थाने को आदेश दिया था कि पहले वह मामला दर्ज करके जांच रिपोर्ट अदालत में जमा कराएं। वे इस मामले में 28 सितंबर 2015 से 9 नवंबर 2015 तक इंवेस्टिगेशन ऑफिसर थे। मार्च 2016 में दूसरे इंवेस्टिगेशन ऑफिसर ने चार्जशीट फाइल की थी।