शारदीय नवरात्रि 2020 : विशेष मुहूर्त में की जाती हैं घट स्थापना, जानें विधि और नियम

By: Ankur Mundra Fri, 16 Oct 2020 07:38:48

शारदीय नवरात्रि 2020 : विशेष मुहूर्त में की जाती हैं घट स्थापना, जानें विधि और नियम

इस कोरोनाकाल में जहां सभी तरफ नकारात्मकता दिखाई दे रही हैं वहीँ मातारानी का पावन पर्व शारदीय नवरात्रि 17 अक्टूबर से शुरू होने जा रहा हैं। नवरात्रि के पावन पर्व में मातारानी घोड़े पर सवार होकर आ रही हैं जो वातावरण में फैली सभी नकारात्मकता को दूर कर जीवन में सकरात्मक रोशनी का आगमन करेगी। नौ दिनों के इस पावन पर्व में मातारानी के विभिन्न रूपों की पूजा की जाती हैं। नवरात्रि की शुरुआत घट स्थापना के साथ की जाती हैं। आज इस कड़ी में हम आपके लिए घट स्थापना के शुभ मुहूर्त, विधि और नियम बताने जा रहे हैं।

एक साल में 4 बार आते हैं नवरात्रे

बता दें कि एक साल में 4 बार चैत्र, आषाढ़, आश्विन और माघ के महीनों में नवरात्र आते हैं लेकिन वासंती यानि चैत्र और आश्विन यानि शरद नवरात्रि को सबसे महत्वपूर्ण माना जाता है। नवरात्र के पहले दिन लोग अपने घर में घट स्थापना यानि कलश स्थापित करते हैं, जिसके बाद लगातार 9 दिन देवी मां की पूजा व व्रत किया जाता है।

astrology tips,astrology tips in hindi,shardiya navratri 2020,kalash sthapana,muhurat and pooja vidhi ,ज्योतिष टिप्स, ज्योतिष टिप्स हिंदी में, शारदीय नवरात्रि 2020, कलश स्थापना, मुहूर्त और विधि

घट स्थापना का शुभ मुहूर्त

घट स्थापना मुहूर्त - शनिवार, अक्टूबर 17, 2020 प्रात:काल 06:27 से 10:13 तक
अभिजित मुहूर्त - प्रात:काल 11:44 से 12:29 तक

नवमी और दशमी एक ही दिन

साल 2020 की शारदीय नवरात्रि में नवमी और दशमी एक ही दिन आ रही है। 25 अक्टूबर को सुबह 11:14 तक नवमी और 11:14 मिनट के बाद हवन के साथ विजयादशमी मनाई जाएगी। इसके बाद शाम को दशहरा मनाया जाएगा।

घट स्थापना की विधि

कलश के साथ देवी दुर्गा की मूर्ती स्थापित करने से घर में सुख-समृद्धि बनी रहती है। वास्तु के अनुसार, पूजा स्थल उत्तर-पूर्व दिशा में ही होना चाहिए इसलिए घट स्थापना भी इसी दिशा में करें। चौकी पर लाल रंग का कपड़ा बिछाएं और कुमकुम से स्वास्तिक बनाएं। चांदी, तांबा, मिट्टी या पीतल के कलश में गंगाजल, लौंग, इलायची, पान, सुपारी, रोली, कलावा, चंदन, अक्षत, हल्दी, रुपया, पुष्पादि डालें। फिर 'ॐ भूम्यै नमः' मंत्र का जाप करते हुए मां दुर्गा की प्रतिमा और कलश स्थापित करके अखंड जोत जगाएं। कलश के ऊपर पानी वाला नारियल जरूर रखें।

astrology tips,astrology tips in hindi,shardiya navratri 2020,kalash sthapana,muhurat and pooja vidhi ,ज्योतिष टिप्स, ज्योतिष टिप्स हिंदी में, शारदीय नवरात्रि 2020, कलश स्थापना, मुहूर्त और विधि

कलश स्थापना के नियम

- एक पाटे पर लाल व सफेद कपड़ा बिछाकर उसपर चावल से अष्टदल बनाकर इस पर जल से भरा कलश स्थापित करें।
- कलश में अशोक या आम के पांच पत्ते लगाएं।
- कलश के पास 9 दिन तक अखंड दीप जरूर जलाएं।
- कलश का मुंह खुला ना रखें। उसे नारियल या किसी और चीज से ढक दें।

तिथि और मां का पूजन

17 अक्टूबर - प्रतिपदा - घट स्थापना और शैलपुत्री पूजन
18 अक्टूबर - द्वितीया - मां ब्रह्मचारिणी पूजन
19 अक्टूबर - तृतीया - मां चंद्रघंटा पूजन
20 अक्टूबर - चतुर्थी - मां कुष्मांडा पूजन
21 अक्टूबर - पंचमी - मां स्कन्दमाता पूजन
22 अक्टूबर - षष्ठी - मां कात्यायनी पूजन
23 अक्टूबर - सप्तमी - मां कालरात्रि पूजन
24 अक्टूबर - अष्टमी - मां महागौरी पूजन
25 अक्टूबर - नवमी, दशमी - मां सिद्धिदात्री पूजन व विजया दशमी

ये भी पढ़े :

# नवरात्रि 2020 : मां भगवती के प्रतिमा की स्थापना में जरूर रखें दिशा का ध्यान, जानें इसके वास्तु नियम

# नवरात्रि 2020 : ये चमत्कारी बीज मंत्र दिलाएंगे नवदुर्गा का आशीर्वाद

# नवरात्रि 2020 : इन 9 बातों का ध्यान रख करें मातारानी की पूजा, अन्यथा नहीं मिलता लाभ

# नवरात्रि 2020 : राशिनुसार मातारानी को पुष्प अर्पित कर पाए कृपा, जानें आपके लिए कौनसा होगा फलदायी

# नवरात्रि 2020 : राशिनुसार मंत्रों का जाप कर घर लाए खुशियां, दूर होगी कोरोना से आई परेशानियां

Home | About | Contact | Disclaimer| Privacy Policy

| | |

Copyright © 2025 lifeberrys.com