कुम्भ मेला 2019 : प्रयागराज कुंभ मेले की ये खूबियाँ बनाती है उसे आकर्षक, जानकर खुद को नहीं रोक पाएँगे

By: Ankur Wed, 09 Jan 2019 7:21:03

कुम्भ मेला 2019 : प्रयागराज कुंभ मेले की ये खूबियाँ बनाती है उसे आकर्षक, जानकर खुद को नहीं रोक पाएँगे

हमारे देश को पर्वों और त्यौंहारों के लिए जाना जाता हैं। ऐसा ही एक पर्व है प्रयागराज कुंभ मेला जो अपनी आस्था के लिए जाना जाता हैं और 15 जनवरी से प्रारंभ होने जा रहा हैं। कुम्भ मेले की भव्यता और आस्था इतनी है कि देश-विदेश से लोग इसमें शामिल होने के लिए पहुँचते हैं। आज आपको कुम्भ मेले की भव्यता और अनोखेपन के बारे में बताने जा रहे हैं जो अपनी ओर आकर्षित करती हैं और आप भी जानकर खुद को कुम्भ में जाने से रोक नहीं पाएँगे। तो आइये जानते हैं कुम्भ मेले की इन खूबियों के बारे में...

* रोशनी से नहाई हुई पंडालों की नगरी और घंटा-घड़ियालों के साथ गूंजते वैदिक मंत्र और धूप-दीप की सुगंध। जी हां कुछ ऐसा ही सुखद अहसास कुंभ नगरी में पहुंचने पर आपको मिलेगा। आस्था के इस महामेले में आपको कहीं साधु भव्य पंडाल में तो कहीं खुले आसमान में धूनी जमाए साधना में लीन मिल जाएगा। दुनिया के सबसे बड़े कुंभ मेले जैसा धार्मिक-आध्यामिक अनुभव शायद ही कहीं मिले।

* गंगा, यमुना और सरस्वती के पावन संगम तट पर हजारों-लाखों टेंटों के बीच लहराती धर्म ध्वजा के बीच जब आप भक्ति के गोते लगाते हैं, तो आपको एक अलग ही आध्यात्मिक अनुभव प्राप्त होता है। कुंभ का यही आकर्षण विदेशियों को सात समंदर पार से इस पावन नगरी में खींच लाता है।

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* छह साल में होने वाले कुंभ और बारह साल में होने वाले महाकुंभ का प्रमुख आकर्षण साधु-संतों के 13 अखाड़े होते हैं। ये साधु-संत कुंभ के प्रमुख तिथियों के दिन पूरी शानों शौकत के साथ शाही स्नान करने निकलते हैं। शाही स्नान के लिए प्रशासन अखाड़ों से संगम तक संतों के लिए एक विशेष राजपथ बनाता है, जिस पर सिर्फ और सिर्फ अखाड़े चलते हैं।

* अखाड़ों की शाहीअंदाज में निकलती पेशवाई को देखकर लोग दांतों तले अंगुलिया दबाने को मजबूर हो जाते हैं। सोने-चांदी के सिंहासनों पर विराजमान साधु-संत और उनके आगे चलते अलमस्त नागा साधुओं द्वारा किए जाने शस्त्र और अस्त्र का प्रदर्शन देशी-विदेशी दोनों को आकर्षित करता है।

* मेले में विभिन्न प्रकार की साधना और वेषभूषा वाले बाबा लोगों की आकर्षण का केंद्र होते हैं। मसलन किसी की जटाएं दस से बारह फिट लंबी हो सकती है तो कोई अपनी जीभ, नाक, कान आदि छिदवाए आपको दिखाई देगा। इसी तरह कोई नग्न तो कोई रूद्राक्ष की माला से खुद को ढंके हुए आशीर्वाद की मुद्रा में खड़ा नजर आ जायेगा।

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