दुनियाभर में कहर बरपा रहा कोरोना वायरस खतरा बनता जा रहा है जिससे अब तक 6 हजार से अधिक मौत हो चुकी है और संक्रमित संख्या लाखों में पहुंच रही हैं। कोरोना वायरस सेहत पर तो बुरा असर कर ही रहा हैं लेकिन अब रिश्तों के टूटने का कारण भी बनता जा रहा हैं। जी हां, मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक़ चीन में घर पर साथ रहने से पति-पत्नियों के बीच विवाद हो रहे हैं और इस विवाद की वजह से चीन में तलाक के मामले बढ़ रहे हैं। चीन में कोरोना वायरस की वजह से यहां के कई शहर बंद हैं और लोग घरों में कैद हैं।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, चीन के शिचुआन प्रांत में महज एक महीने के अंदर 300 से ज्यादा दंपतियों ने तलाक की अर्जी दाखिल की है। इसकी वजह बताई जा रही है कि घर पर पति-पत्नी जरूरत से ज्यादा एक दूसरे के साथ समय बिता रहे हैं। इससे उनके बीच विवाद बढ़ रहे हैं। चीन के डाझोऊ इलाके के मैरिज रजिस्ट्री ऑफिस ने स्पष्ट किया है कि वायरस के प्रकोप के बाद से आवेदनों की संख्या में वृद्धि हुई है।
हालांकि कुछ लोगों का मानना है कि कोरोना वायरस की वजह से लगभग एक महीने तक मैरिज रजिस्ट्री के दफ्तर बंद रहे, इसलिए तलाक के मामलों में बढ़ोतरी देखी गई है। आपको बता दें कि चीन में अभी भी कोरोनो वायरस के मामलों की संख्या सबसे अधिक है। हालांकि पिछले कुछ हफ्तों में ऐसे मामलों की संख्या में भारी कमी आई है।
इटली में भी चीन के जैसे ही हालात हैं। यहां भी कोरोना वायरस के डर से लोग घरों में कैद हैं। हालांकि यहां तलाक नहीं, लेकिन इंटरनेट के इस्तेमाल में 70 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, यहां घरों में कैद लोग वेबसीरीज देख कर और ऑनलाइन गेम खेल कर अपना वक्त गुजार रहे हैं। टेलीकॉम कंपनी इटालिया एसपीए का कहना है कि कोरोना वायरस की वजह से इटली में इंटरनेट कनेक्शन की भी मांग बढ़ गई है।
कोरोना वायरस का प्रकोप दिनोंदिन बढ़ता जा रहा है। हाल ही में विश्व स्वास्थ्य संगठन ने इसे महामारी घोषित किया है। अब अमेरिका और स्पेन में भी कोरोना वायरस को लेकर आपातकाल घोषित कर दिया गया है। वहीं, दक्षिण अफ्रीका ने इसे राष्ट्रीय आपदा घोषित की है। खबर है कि ब्रिटेन की महारानी एलिजाबेथ द्वितीय ने कोरोना के डर से अपना महल ही छोड़ दिया है।
कोरोना वायरस का टीका या दवाई अभी तक विकसित नहीं हो पाई है। हालांकि अमेरिकी सरकार के एक अधिकारी की मानें तो टीका बना लिया गया है और आज से इसका नैदानिक परीक्षण शुरू होगा, लेकिन इस परीक्षण को लेकर अमेरिकी सरकार द्वारा आधिकारिक तौर पर कोई घोषणा नहीं की गई है।