पड़ोसियों ने बताई Pitbull के हमले की दिल दहला देने वाली कहानी, कहा - करीब एक घंटे तक खाता रहा सुशीला का मांस

उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में पिटबुल के हमले की जो कहानी सामने आई है उसको जानने के बाद आपके भी होश उड़ जाएंगे। दरअसल, लखनऊ के बंगाली टोला की रहने वाली 80 वर्षीय सुशीला त्रिपाठी पर उनके ही पिटबुल 'ब्राउनी' ने मंगलवाल सुबह हमला कर दिया था। हर रोज की तरह रिटायर शिक्षिका सुशीला त्रिपाठी अपने पिटबुल 'ब्राउनी' और लेब्राडोर को लेकर टहलाने के लिए गई थीं। इसी बीच पिटबुल ने अचानक सुशीला त्रिपाठी पर हमला कर दिया। पिटबुल ने पूरा जोर लगाकर सुशीला त्रिपाठी पर हमला किया और शरीर के कई जगह को काट डाला। महिला की मौत हो गई।

आजतक की खबर के अनुसार पड़ोसियों का कहना है कि पिटबुल के हमले में सुशीला का मांस आ गया था, जिसे पिटबुल ने खाया भी है। एक पड़ोसी ने कहा, 'चीख सुनकर बाहर आए तो देखा कि पिटबुल ने सुशीला त्रिपाठी पर हमला किया और वह खून से लथपथ गिरी पड़ी हैं। सुशीला त्रिपाठी चीख रही थी, हम लोग पिटबुल पर पत्थर मारने लगे, लेकिन वह रुका नहीं और मांस को खाता रहा। करीब एक घंटे तक हम लोग पत्थर मारते रहे, इसके बाद वह सुशीला की बॉडी को खींचकर अंदर ले गया। तकरीबन एक घंटे तक बुजुर्ग महिला को कुत्ता नोचता रहा।'

पड़ोस में रहने वाली एक महिला ने बताया, 'पिटबुल इतना खतरनाक है कि वह कभी बाहर नहीं निकलता था। घर के अंदर रहता था, आज जब उसने अपनी मालकिन पर हमला किया तो हमने पत्थर मारे, लेकिन वह रुका नहीं, वह एक घंटे तक अपनी मालकिन को नोचता रहा, लगता है कि वह आदमखोर हो गया है।'

महिला ने आगे बताया कि पिटबुल के हमले की घटना इतनी खतरनाक है कि अब हम लोगों को डर लग रहा है, हम दहशत में जी रहे हैं, हम मांग करते हैं कि नगर निगम कार्रवाई करें।

इस पूरे मामले पर लखनऊ नगर निगम के अधिकारी अरविंद राव का कहना है कि पिटबुल के मालिक को नोटिस दिया जा रहा है, लाइसेंस देखा जा रहा है, अगर मालिक के पास लाइसेंस नहीं हुआ तो उचित कार्रवाई की जाएगी और अगर लाइसेंस है तो उसे कैंसिल कर पिटबुल को जब्त कर लिया जाएगा।