कर्नाटक: लिंगायत मठ के संत शिवमूर्ति को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजा गया, नाबालिग लड़कियों के यौन शोषण का आरोप

कर्नाटक पुलिस ने लिंगायत मठ के संत शिवमूर्ति मुरुगा को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में चित्रदुर्गा जिला जेल भेज दिया गया है। देर रात उनका मेडिकल चेकअप करवाया गया और कोर्ट में पेशी हुई। उसके बाद कोर्ट ने आदेश दिया। कर्नाटक पुलिस अब ओपन कोर्ट में आरोपी संत शिवमूर्ति की रिमांड की मांग करेगी। इससे पहले शिवमूर्ति की पुलिस ने गिरफ्तार की थी। पहले उनके खिलाफ लुकआउट नोटिस जारी किया गया था। शिवमूर्ति पर नाबालिगों लड़कियों के यौन शोषण का आरोप है।

बता दें कि शिवमूर्ति लिंगायत मठ काफी प्रसिद्ध मठ है। मैसूर पुलिस ने दो नाबालिगों की शिकायत के बाद संत के खिलाफ एफआईआर दर्ज की थी। इस मामले में बड़ी बात ये है कि जिन दो नाबालिगों ने शिवमूर्ति पर यौन शोषण का आरोप लगाया है, वो दोनों ही मठ द्वारा संचालित स्कूल में ही पढ़ती हैं। ये पीड़िताएं एक एनजीओ की मदद से जिला बाल कल्याण समिति के पास शिकायत दर्ज कराने पहुंची थीं। पुलिस ने POCSO एक्ट के तहत भी केस दर्ज किया है। शिकायत में कहा गया है कि मठ द्वारा संचालित स्कूल के हॉस्टल में रहने वाली 15 और 16 साल की लड़कियों का लगभग साढ़े तीन साल तक यौन उत्पीड़न हुआ। इसके अलावा कई दूसरी लड़कियों के साथ भी ऐसा ही किया गया। चित्रदुर्गा जिले के एसपी परशुराम ने बताया कि हमने पूरी प्रक्रिया का पालन किया है। अभी सिर्फ शिवमूर्ति को गिरफ्तार किया है और रश्मि को पूछताछ के लिए ले जाया गया है। उसे आज रात मजिस्ट्रेट के सामने पेश किया जाएगा। हम इन सभी के खिलाफ सबूत एकट्ठा कर रहे थे। मामले में अन्य आरोपियों के ठिकाने के बारे में भी जानकारी मिली है।

पुलिस अब शिवमूर्ति से घटना के संबंध में पूछताछ करने वाली है। नाबालिगों के आरोप गंभीर हैं, ऐसे में पुलिस भी अब उन्हीं दलीलों के आधार पर पूछताछ करने वाली है। पुलिस मुरुगा की कम से कम 14 दिन की कस्टडी चाहती है। पहले ऐसी खबरें आई थीं कि शिवमूर्ति मुरुगा अपने मठ से भाग गए हैं, लेकिन बाद में पुलिस ने बताया कि वे कानूनी सलाह लेने के लिए अपने वकील से मिलने के लिए जा रहे थे।