पीएम मोदी की ‘बचाओ, बचाओ’ टिप्पणी पर राहुल गांधी का तंज, कहा - ये भारत के लोगों की गुहार है...

रविवार को विपक्ष की रैली के संबंध में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की 'बचाओ, बचाओ' टिप्पणी को लेकर कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने मोदी पर तंज कसते हुए कहा कि यह मदद की गुहार उन लोगों की है जो 'आपके अत्याचार और अक्षमता' से मुक्त होना चाहते हैं। प्रधानमंत्री ने एक दिन पहले ही कोलकाता में तृणमूल कांग्रेस द्वारा आयोजित विपक्ष की रैली पर तंज कसते हुए कहा था कि पश्चिम बंगाल में भाजपा का सिर्फ एक विधायक है लेकिन वे हमसे बहुत डरे हुए हैं क्योंकि हम सच्चाई के मार्ग पर चलते हैं। इसलिए उन्होंने पूरे देश से पार्टियों को एकत्रित किया और बचाओ, बचाओ, बचाओ चिल्ला रहे हैं।'' कोलकाता रैली के दौरान नजर आयी विपक्षी एकता से बेपरवाह प्रधानमंत्री मोदी ने रविवार को इसे भ्रष्टाचार, नकारात्मकता और अस्थिरता का गठबंधन करार देकर खारिज कर दिया। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि इन दलों के पास धनशक्ति है जबकि भाजपा के पास जनशक्ति है। वह वीडियो काफ्रेंसिंग के माध्यम से महाराष्ट्र के कोल्हापुर, हातकणंगले, माढा और सतारा तथा दक्षिण गोवा लोकसभा क्षेत्रों के मतदान केंद्र स्तर के भाजपा कार्यकर्ताओं को संबोधित कर रहे थे।

राहुल ने एक ट्वीट में कहा, ‘‘महामहिम, मदद के लिए गुहार लाखों बेरोजगार युवाओं, संकटग्रस्त किसानों, वंचित दलितों और आदिवासियों, सताए गए अल्पसंख्यकों, बर्बाद हो गए छोटे व्यापारियों की है, वे आपके अत्याचार और अक्षमता से मुक्त होने की गुहार लगा रहे हैं। वे 100 दिनों में मुक्त हो जाएंगे।''

प्रधानमंत्री की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कांग्रेस प्रवक्ता प्रियंका चतुर्वेदी ने भाजपा नीत राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) को "ठगबंधन" बताया और कहा कि आगामी लोकसभा चुनाव में लोग सत्तारूढ़ गठबंधन को खारिज कर देंगे। प्रधानमंत्री द्वारा विपक्षी दलों की तीखी आलोचना पर उन्होंने आरोप लगाया कि यह सब कहने वाले व्यक्ति भ्रष्टाचार में लिप्त हैं और उनकी अपनी ही पार्टी में वंशवाद की राजनीति को बढ़ावा दिया जा रहा है। मोदी ने कहा कि विपक्ष को आगामी चुनाव में हार नजर आ रही है। ऐसे में वह अपनी हार से पहले बहाने ढूंढ रहा है और इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) को बदनाम कर रहा है। चतुर्वेदी ने संवाददाताओं से कहा कि इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीनों (ईवीएम) को लेकर पहले भी सवाल उठाए गए थे। उन्होंने कहा कि मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव के दौरान ईवीएम बसों में और राजस्थान में मिले थे, वे सड़क पर और होटल के कमरों में मिले थे।