जम्मू-कश्मीर (Jammu-Kashmir) के पुलवामा (Pulwama) में सेंट्रल रिजर्व पुलिस फोर्स (CRPF) के काफिले पर हुए आत्मघाती हमले के एक महीने बाद पाकिस्तान (Pakistan) के सीनेटर मुसैद हुसैन सयैद ने पुलवामा हमले (Pulwama Terror Attack) को पाकिस्तान (Pakistan) के लिए 'सबसे अच्छा पल' करार दिया है।
सयैद के मुताबिक, 1998 में न्यूक्लियर टेस्ट के करीब 20 साल बाद पाकिस्तान के लिए ये सबसे अच्छा वक्त था। नवाज शरीफ की पाकिस्तान मुस्लिम लीग (एन) के सदस्य मुसैद हुसैन सयैद ने पाकिस्तान-चाइना इंस्टीट्यूट एंड सिनेट फॉरिन अफेयर्स कमिटी के बतौर चेयरमैन ये बातें कही। इंस्टीट्यूट ऑफ स्ट्रैटजिक स्टडीज़ इस्लामाबाद (ISSI) ने इसकी मीटिंग बुलाई थी।
हुसैन ने जैश-ए-मोहम्मद के सगरना मसूद अजहर के खिलाफ यूएन में प्रस्ताव खारिज होने को अपने मुल्क की कूटनीतिक जीत करार दिया। उन्होंने कहा, 'हर कोई समान स्तर पर था, लेकिन हमने सही समय पर सही तरीके से सही फैसला लिया और अंतरराष्ट्रीय-राष्ट्रीय स्तर पर बेतहर कर दिखाया।'
उन्होंने कहा, '1998 में न्यूक्लियर परीक्षण के बाद पुलवामा हमला और उसके बाद- सब कुछ संभालना। चाहे वो राजनीतिक नेतृत्व हो, सरकार हो या विपक्ष। चाहे मिलिटरी हो या फिर मीडिया। सबमें एक बात कॉमन थी। ये हमारे लिए सबसे अच्छा पल था।'
बता दें कि हाल ही में पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने कहा था कि पुलवामा हमले के लिए अंतरराष्ट्रीय बिरादरी पाकिस्तान पर आरोप नहीं लगा सकती, क्योंकि पाकिस्तान पहले कई बार कह चुका है कि भारत अगर पुलवामा हमले के सबूत सौंपे, तो पाकिस्तान सरकार जांच कराने को तैयार है।
उन्होंने कहा था, 'पाकिस्तान पर आरोप लगाना आसान है, लेकिन इससे समस्या सुलझने वाली नहीं। समस्या सुलझाने के लिए बैठ कर बात करना होगा।'