'अग्निपथ' की आग में धधका बिहार, समस्तीपुर और लखीसराय में ट्रेनें फूंकी

बिहार में अग्निपथ योजना का विरोध शुक्रवार यानी तीसरे दिन भी जारी है। 9 जिलों में उग्र प्रदर्शन हो रहा है। समस्तीपुर और लखीसराय में प्रदर्शनकारियों ने यात्री ट्रेन को आग के हवाले कर दिया। बक्सर और नालंदा में ट्रैक जाम किया गया है। युवाओं की भीड़ ने कई एसी कोच को आग के हवाले कर दिया। आग के बाद एसी कोच की बोगियां धू-धू कर जलने लगीं। आरा में सड़क पर आगजनी के बाद जाम लगाया गया है। प्रदर्शनकारी सरकार के खिलाफ नारेबाजी कर रहे हैं। बता दें कि गुरुवार को भी अग्निपथ योजना के विरोध में कई राज्यों के युवाओं में उबाल देखने को मिला था। कई जगह आगजनी हुई थी, रेल और सड़क मार्ग को रोका गया था। इस योजना के विरोध में उत्तर प्रदेश के बलिया में युवक सड़कों पर उतर गए।

बक्सर के बिहिया थाना के एसआई राम स्वरूप ने कहा कि हंगामा और हिंसा करने वालों में ज्यादातर नगर के लोग थे। उन्होंने कहा कि इसमें छात्र की संख्या कम थी। नगर के लोगों ने ज्यादातर हिस्सा लिया। ऐसा लग रहा था जैसे सभी भाड़े पर लाए गए हों। हिंसा में एसआई राम स्वरूप के साथ दो अन्य रेलवे कर्मचारी घायल हो गए हैं।

केंद्र सरकार की इस नई योजना का राजनीतिक दलों ने भी विरोध करना शुरू कर दिया है। इसके बचाव में यूपी के मंत्री स्वतंत्रदेव सिंह ने कहा कि विपक्ष ने पहले किसानों को भड़काया और अब जवानों को भड़का रहा है।

उधर, गुरुवार को UP के 11 जिलों में उग्र प्रदर्शन हुए। आगरा, अलीगढ़ में युवाओं ने बसों में तोड़फोड़ की। बुलंदशहर में युवाओं ने नारेबाजी की। हालात इतने बेकाबू हुए कि पुलिस को लाठीचार्ज करना पड़ा। मेरठ, देवरिया, सीतापुर के साथ ही उन्नाव के शुक्लागंज में युवाओं ने विरोध किया।

आक्रोशित युवाओं का कहना था कि महज 4 साल के लिए भर्ती किया जाना रोजगार के अधिकार का हनन करना है। उन लोगों इस दौरान विधायक, सांसद पर भी तंज कसा और कहा कि क्या किसी विधायक, सांसद और मुख्यमंत्री का बेटे सेना में भर्ती है। सेना में केवल गरीब किसान का बेटा है। सरकार इन लोगों के साथ नाइंसाफी कर रही है। इसे बर्दाश्त नहीं करेंगे। केन्द्र की मोदी सरकार युवाओं के भविष्य के साथ खिलवाड़ कर रही है।