नाखूनों की हालत से पता चलती है आपकी सेहत, कलर और शेप देते हैं इन बीमारियों का संकेत

हालांकि आजकल लड़कियां नाख़ूनों की सुंदरता को लेकर सजग हुई हैं, पर उसकी बनावट का ख़्याल भी रखना ज़रूरी है, क्योंकि इससे आपकी सेहत का पता चलता है। कई बड़ी बीमारियों तक की झलक नाख़ूनों में दिख जाती है। आज से दो से तीन दशक पहले तक पीलिया और दूसरी कई बीमारियों का अंदाज़ा नाख़ूनों के रंग और उनके शेप में आने वाले बदलावों को देखकर लगाया जाता था।

नाख़ूनों में कैसे बदलाव आ सकते हैं

नाख़ूनों पर लंबी या चौड़ी धारियां पड़ जाती हैं, उनके रंग बदलने लगते हैं, बनावट में फ़र्क़ आ जाता है, सामान्य से बिल्कुल अलग दिखने लगते हैं, कई बार कड़े होकर टूट जाते हैं और दर्द भी रहता है। यह सारे बदलाव पोषक तत्वों की कमी या किसी बीमारी का संकेत देते हैं।


क्यों पड़ती हैं लंबी धारियां?

कैल्शियम, प्रोटीन, ज़िंक, फ़ॉलिक एसिड और दूसरे विटामिन्स की कमी के कारण नाख़ूनों पर लंबी धारियां पड़ती हैं। इसके अलावा एक्ज़िमा में भी नाख़ूनों पर लंबी धारियां पड़ जाती हैं। त्वचा की ड्राईनेस भी एक कारण हो सकती है।

धारियों के रंग से पता चलती है बीमारी!

ये धारियां अलग-अलग रंग की होती हैं। अगर यह सफ़ेद नज़र आ रही हैं, तो आपमें पोषक तत्वों की कमी है। अगर ये लाल होती हैं, तो अंदरूनी घाव का संकेत देती हैं। नाख़ूनों पर बनी नीली धारियां, हाई ब्लडप्रेशर की ओर इशारा करती हैं। अगर पर्पल कलर की धारियां बनी हैं, तो लंग्स और लीवर की समस्या का संदेह होता है। वहीं जब यह धारियां काली या भूरी होती हैं तो मेलानोमा नामक कैंसर के लक्षण की ओर इशारा करती हैं।


चौड़ी धारियों का क्या मतलब है?

जब आपके शरीर में केरोटीन (एक तरह का प्रोटीन) की कमी होती है, तो इन नाख़ूनों पर चौड़ी धारियां बन जाती हैं। इसे बीयू लाइन्स भी कहा जाता है। यह एक तरह की मेडिकल कंडिशन है। इसमें नाख़ून पर चंद्राकार की एक या कई लाइन्स बन जाती हैं। कई बार यह परेशानी इतनी बढ़ जाती है कि नाख़ूनों की नई सेल्स बनना बंद हो जाती हैं और नए नाख़ून आना भी। इसके अलावा किडनी की समस्या, थायरॉइड और डायबिटीज़ की परेशानी के कारण भी नाख़ूनों पर चौड़ी धारियां बन जाती हैं।


नाख़ूनों के पीले होने की वजह

कई बार नाख़ून पीले पड़ जाते हैं, जो कि नेल पॉलिश रिमूवर की वजह से भी हो सकता है। लेकिन पीले होने के बाद बहुत कड़े हो जाते हैं, टूट नहीं रहें तो यह फ़ंगल इंफ़ेक्शन की निशानी है। कई दिनों या हफ़्तों तक नाख़ूनों का पीलापन बना रहे तो पीलिया की शिकायत हो सकती है।


खुरदरे नाख़ून

नाख़ून का बड़ा हिस्सा थोड़ी-सी चोट लगने से आसानी से टूट जाता है और साथ में दर्द भी होता है तो इसकी वजह थायरॉइड हो सकती है। अगर चोट लगने से ऐसा हुआ, तब भी नाख़ूनों का ध्यान रखें।

स्पून शेप के नाख़ून

अगर आपके नाख़ून का सिरा स्पून की तरह मूड़ा हुआ है, तो इसकी वजह हाइपरक्रोमिक एनिमिया, जेनेटिक प्रॉब्लम या ट्रॉमा की स्थिति हो सकती है।

आप अपने शरीर के हर हिस्से का ख़्याल रखें, चाहे वह नाख़ून ही क्यों ना हों। उन्हें साफ़ रखें। नाख़ूनों के आसपास की त्वचा को गहराई से ना काटें और ग़लती से कट जाए, तो उस पर मरहम लगाना ना भूलें। शरीर के किसी भी अंग का सामान्य तरीक़े से बर्ताव ना करना, किसी ना किसी बीमारी या पोषक तत्वों की कमी की तरफ़ इशारा करता हैं। शरीर के छोटे-मोटे घाव को ठीक होने का थोड़ा इंतज़ार करें पर लंबे समय तक यह इंतज़ार ख़ुद को धोखे में रखने जैसा होगा। इसलिए ध्यान दें। किसी भी परेशानी में डॉक्टर से संपर्क करें। अपना ख़्याल रखें।