जाने क्यों डायबिटीज-हाई ब्लड प्रेशर वालों के लिए खतरनाक है कोरोना?

कोरोना वायरस (Coronavirus) के भारत में अब तक 117 मामले सामने आ चुके है। इस वायरस की वजह से दो लोगों की जान जा चुकी है। वहीं, एक रिपोर्ट में शोधकर्ताओं ने दावा किया है कि कोरोना वायरस से सबसे ज्यादा खतरा डाईबिटीज और हाई ब्लड प्रेशर के रोगियों को है। 'द लैंसेट' में प्रकाशित एक रिपोर्ट के अनुसार, जिन लोगों को डायबिटीज और हाई ब्लड प्रेशर की शिकायत है उन्हें कोरोना वायरस से ज्यादा संभलकर रहने की जरूरत है।

रिपोर्ट में बताया गया है, ऐसी बीमारियों में रोगी को जो ड्रग दिया जाता है उसे ACE (एंजियोटेंसिन कन्वर्टिंग एंजाइम) कहते हैं। इस ड्रग का असर इंसान की कोशिकाओं पर पड़ता है। वैज्ञानिकों का दावा है कि ड्रग से कोशिकाओं में बदलाव आने के बाद कोरोना वायरस के लिए हमला करना आसान हो जाता है। पूरी दुनिया में हर साल करोड़ों लोग डायबिटीज और हाई ब्लड प्रेशर से बचने के लिए इन दवाइयों का इस्तेमाल करते हैं।

यदि डायबिटीज और हाई ब्लड प्रेशर के पीड़ित हैं तो आपके मन में ये सवाल जरूर उठ रहा होगा कि क्या आपको इस ड्रग का सेवन बंद कर देना चाहिए? इस पर हेल्थ विशेषज्ञों का कहना है कि बिना डॉक्टर्स की सलाह के दवाइयां बंद करने की जरूरत नहीं है।

इसके अलावा जिन लोगों का इम्यून सिस्टम कमजोर है उन्हें भी कोरोना वायरस से सावधान रहने की जरूरत है। WHO भी इसे लेकर समय-समय पर दिशा-निर्देश जारी कर रहा है। इसके अलावा बुजुर्ग लोगों को भी इस वायरस से बचना चाहिए। पूरी दुनिया में अब तक हुई मौतों में ज्यादा संख्या उम्रदराज लोगों की ही है। भारत में भी जिन लोगों की मौत इस जानलेवा वायरस के चलते हुई है उनकी उम्र काफी ज्यादा थी। साथ ही, दिल्ली के राम मनोहर लोहिया अस्पताल में दम तोड़ने वाली महिला को तो डायबिटीज और हाई ब्लड प्रेशर का मरीज भी बताया जा रहा है।

कोरोना वायरस से बचने के लिए ये करना चाहिए

- अपने आसपास के लोगों के साथ कम से कम 3 फीट की दूरी बनाए रखना बेहतर होगा ताकि इंफेक्शन से आप बचे रहें
- नियमित तौर पर हाथ धोएं, यानि दिन में कई बार हाथों को कम से कम 20-30 सेकेंड तक कायदे से धोएं
- हाथों से बैक्टीरिया साफ करने के लिए एक अच्छे सेनेटाइजर का भी इस्तेमाल किया जा सकता है
- जिन लोगों को खांसी या जुकाम हो उनसे भी खासी दूरी बनाए रखना बेहतर होगा
- हाथों से आंख, नाक और मुंह को बार-बार न छुएं
- इस बीमारी से बचने के लिए कच्चा या अधपका मांस खाने से परहेज करें
- खांसते और छींकते समय अपने मुंह और नाक को अच्छी तरह से ढक कर रखें
- सांस की तकलीफ से पीड़िता मरीज के पास जाने से बचने की कोशिश करें
- छींकते या खांसते वक्त नाक और मुंह को टिशू से ढंके और बाद में इस टिशू को डस्टबिन में फेंक दें
- अच्छे मास्क और दस्ताने को प्रयोग में लाएं, ताकि इंफेक्शन से बचे रहें
- खांसी बुखार के वक्त यात्रा करने से परहेज करें
- स्मार्टफोन की स्क्रीन को भी हफ्ते में एक बार जरूर साफ करें
- बुखार,खांसी और जुकाम के लक्षण होते ही अच्छे डॉक्टर को दिखाएं