क्या हिंदी फिल्मों के फ्लॉप होने की वजह आमिर खान है? करण के सवाल पर एक्टर ने दिया ये जवाब

साउथ की फिल्में बॉक्स ऑफिस पर ताबड़तोड़ कमाई कर रही हैं, तो बॉलीवुड फिल्मों के लिए लागत निकालना भी मुश्किल हो रहा है। ऐसे में आमिर खान ने बताया है कि आखिर वो क्या वजह है जिसके चलते साउथ सिनेमा के सामने हिंदी फिल्में पिट रही हैं।

दरअसल, करण जौहर ने अपने शो कॉफी विद करण में आमिर खान से साउथ और हिंदी फिल्मों की परफॉर्मेंस पर
पर बात की। शो में करण जौहर ने आमिर खान से पूछा कि हिंदी फिल्में क्यों नहीं चल रही हैं? लेकिन साउथ की फिल्में जैसे 'RRR', पुष्पा और दूसरी मूवीज बॉक्स ऑफिस पर धुआंधार कमाई कर रही हैं।

आमिर खान ने साउथ सिनेमा के बारे में बात करते हुए कहा- 'मैं ये नहीं कह रहा हूं कि एक्शन फिल्में बनाएं। अच्छी फिल्में अच्छे कंटेंट के साथ बनाएं। ऐसे टॉपिक चुनें, जो ज्यादातर लोगों के साथ कनेक्ट हो पाए। हर फिल्ममेकर के पास आजादी है कि वो जो चाहें बना सकते हैं। लेकिन अगर आप ऐसी चीजें पिक कर रहे हैं, जिसमें भारत के ज्यादातर लोग इंटरेस्टेड नहीं हैं, जिनसे ज्यादातर लोग रिलेट नहीं कर पाते हैं। मुझे लगता है कि यही डिफ्रेंस है।'

शो में करण जौहर ने ये भी दावा किया कि साउथ फिल्मों के सामने हिंदी सिनेमा का चार्म फीका पड़ने का कारण आमिर खान हैं। अपनी बात पर जोर डालते हुए करण ने कहा- साल 2001 में आप दो फिल्में लेकर आए थे दिल चाहता है और लगान। दोनों ही फिल्मों की अपनी सेंसिबिलिटी थी। इसके बाद साल 2006 में आपने रंग दे बसंती बनाई। इसके बाद आप तारे जमीन पर लेकर आए। इन फिल्मों से मिले रिस्पॉन्स के बाद आपने कुछ टारगेट ऑडियंस के लिए फिल्में बनाना शुरू कर दिया।

करण जौहर की इस बात को आमिर खान ने पूरी तरह से गलत बताया। आमिर ने कहा- नहीं, आप गलत हैं। वो सभी हार्टलैंड फिल्में हैं। उन मूवीज में इमोशन्स हैं। वो आम इंसान तक पहुंचती हैं। वो ऐसी फिल्में हैं, जिनसे आप इमोशनली कनेक्ट हो पाते हैं। रंग दे बसंती बहुत इमोशनल फिल्म है। ये लोगों को उनकी जड़ों से जोड़ती है।

आमिर खान के वर्कफ्रंट की बात करे तो जल्द ही उनकी फिल्म लाल सिंह चड्ढा रिलीज होने वाली है। फिल्म को लेकर जबरदस्त विवाद भी चल रहा है। इस फिल्म में आमिर के साथ करीना भी लीड रोल में है।