प्रेग्नेंट हथिनी को कुछ लोगों ने खिलाया पटाखों से भरा अनानास, हुई मौत; श्रद्धा कपूर और अथिया शेट्टी ने जताई नाराजगी

केरल में पशु दुर्व्यवहार के सबसे क्रूर रूप का मामला सामने आया। यहां एक प्रेग्नेट हथिनी को अनानास में वहीं के स्थानीय लोगों ने पटाखे रखकर खिला दिए। जिसके बाद प्रेग्नेंट हथिनी के मूंह में ही यह अनानास फट गया, इस वजह से उसका मुंह बुरी तरह से जख्मी हो गया और वह मर गई।

इस घटना पर बॉलीवुड एक्ट्रेस श्रद्धा कपूर ने अपना गुस्सा जाहिर किया है। श्रद्धा कपूर का लोगों की इस करतूत पर गुस्सा फूटा है और उन्होंने ऐसे लोगों को जमकर फटकार लगाई है। श्रद्धा कपूर ने ट्वीट करते हुए लिखा, 'ऐसा कैसे हो सकता है? क्या इन लोगों के पास दिल नहीं हैं? मेरा दिल टूट कर बिखर गया है। अपराधियों को कठोर तरीके से दंडित करने की आवश्यकता है।' श्रद्धा कपूर ने अपने ट्वीट के साथ ही पेटा इंडिया (Peta India) को भी टैग किया है। एक्ट्रेस के इस ट्वीट पर लोग खूब कमेंट कर रहे हैं और अपनी प्रतिक्रिया दे रहे हैं। बता दें, उत्तरी केरल के मलप्पुरम जिले में एक वन अधिकारी द्वारा सोशल मीडिया पर हथिनी की भयानक मौत का विवरण सुनाए जाने के बाद यह घटना सामने आई।


वहीं सुनील शेट्टी की बेटी अथिया शेट्टी भी इस घटना से बेहद नाराज हैं। उन्होंने ट्वीट किया है, 'यह बहुत बर्बर है। किसी का भी ऐसा करने का दिल कैसे कर सकता है? बहुत घृणित, मुझे आशा है कि कार्रवाई की गई है।'

बता दें कि ये घटना पिछले हफ्ते की है। खाने की तलाश में हथिनी जंगल से बाहर मल्लापुरम जिले में शहर की ओर आ गई थी। वह गांव की सड़कों पर घूम रही थी और तभी वहां के कुछ लोगों ने उसे पटाखों से भरा हुआ अनानास खाने के लिए दिया। हथिनी ने जैसे ही उसे खाने की कोशिश की, उसके मुंह के भीतर धमाका हो गया। वो बेतहाशा दर्द से कराहती हुई इधर-उधर भागने लगी। धमाके की वजह से मुंह के भीतर बहुत ज्यादा चोटें आई थीं। वो बेतहाशा दर्द से कराहती हुई इधर-उधर भागने लगी। धमाके की वजह से मुंह के भीतर बहुत ज्यादा चोटें आई थीं। इसके बावजूद उसने किसी को नुकसान नहीं पहुंचाया। किसी पर हमला नहीं किया। न ही कोई घर तोड़ा। जब दर्द सहा नहीं गया तो एक नदी में अपनी सूंड को डालकर कुछ आराम दिलाने की कोशिश की। वन विभाग के कर्मी भी उसे बचाने के लिए पहुंचे। मगर तब तक बहुत देर हो चुकी थी।

वन अधिकारी मोहन कृष्णन्न ने अपनी फेसबुक पोस्ट में लिखा, 'हथिनी ने सब पर भरोसा किया। जब उसके मुंह में वो अनानास फटा होगा तो वह सही में डर गई होगी और अपने बच्चे के बारे में सोच रही होगी, जिसे वह 18 से 20 महीनों में जन्म देने वाली थी।' अनानास में डाले गए पटाखे इतने खतरनाक थे कि उसकी जीभ और मुंह बुरी तरह से जख्मी हो गए। हथिनी गांवभर में दर्द और भूख के मारे घूमती रही और अपनी चोट की वजह से वह कुछ खा भी नहीं पा रही थी। आखिरकार वो वेलियार नदी में आकर खड़ी हो गई। वन विभाग ने उसे बाहर निकालने की कोशिश की, लेकिन शायद उसे अंदाजा हो गया था कि उसका वक्त आ गया है। उसने ऐसा नहीं करने दिया। मोहन कृष्णन ने बताया कि उसे सम्मानजनक विदाई देने के लिए हमने एक ट्रक मंगवाया। हमने उसे उसी जंगल में हमने अंतिम विदाई दी, जहां उसका बचपन बीता और वो बड़ी हुई।