महंगाई के इस दौर में व्यक्ति का सुखद जीवन-यापन सिर्फ एक मिथ्या ही बन के रह गया हैं। क्योंकि किसी आम आदमी के लिए जीवन की हर समस्या से उबरना और उसके लिए धन की व्यवस्था करना इतना आसन नहीं हो पाता। जिसके चलते उस व्यक्ति को कर्ज लेना पड़ता हैं और समय के साथ वह कर्ज में डूबता चला जाता हैं। अगर आपके जीवन में भी कर्ज से सम्बंधित कुछ ऐसी समस्या आ रही है तो आप हमारे द्वारा बताये जा रहे इन उपायों को अपनाकर कर्ज से मुक्ति पा सकते हैं। तो आइये जानते हैं कर्ज से छुटकारा दिलाने वाले उपाय।
* गुलाब का उपाय : सबसे पहले पांच पूर्ण रूप से खिले हुए गुलाब का फूल ले तथा इसके बाद डेढ़ मीटर सफ़ेद कपडा लेकर इसे अपने सामने बिछा ले। अब इन पांच गुलाबो के फूल को उस सफेद कपडे में बांधकर 21 बार गायत्री मंत्रो का जाप करें तथा इसके बाद उस सफेद कपडे को स्वयं अपने हाथ से किसी नदी में जाकर प्रवाहित कर दे। अति शीघ्र ही कर्ज से मुक्ति प्राप्त होगी।
* गजेन्द्र मोक्ष पाठ : कर्ज-मुक्ति के लिए आप ‘गजेन्द्र-मोक्ष’ (Gajendra Moksha)स्तोत्र का प्रतिदिन सूर्योदय से पूर्व पाठ भी कर सकते हैं। दोनों (ऋणमोचक मंगल स्तोत्र या गजेन्द्र-मोक्ष )में से किसी एक का ही पाठ करें। दोनों ही कर्ज मुक्ति के लिए अमोघ उपाय हैं।
* श्मशान का पानी : यदि आप निरंतर कर्ज में डूबते जा रहे हैं तो श्मशान के कुएं का जल लाकर किसी पीपल के वृक्ष पर चढ़ाना चाहिए। यदि यह उपाय कम से कम छह 6 शनिवार किया जाए तो आश्चर्यजनक परिणाम प्राप्त होते हैं।
* नारियल से : शनिवार के दिन सुबह स्नान करने के बाद अपनी लंबाई के बराबर काल धागा लेकर उसे एक नारियल के ऊपर लपेट लें। फिर अपनी नियमित पूजा के साथ इसका भी पूजन करें, पूजा के बाद इस नारियल को भगवान से ऋण मुक्ति के लिए प्रार्थना करते हुए बहते हुए जल में प्रवाहित कर दें। इस छोटे से उपाय से आपको अपनी मेहनत के श्रेष्ठ फल मिलने के योग बनेगे और आप के ऊपर शीघ्र ही कर्ज का भार कम होने लगेगा।
* विष्णु-लक्ष्मी मंदिर : सोमवार के दिन एक रूमाल, 5 गुलाब के फूल, 1 चांदी का पत्ता, थोड़े से चावल तथा थोड़ा सा गुड़ लें। फिर किसी विष्णु लक्ष्मीजी के मंदिर में जाकर मूर्त्ति के सामने रूमाल रखकर शेष वस्तुओं को हाथ में लेकर 21 बार गायत्री मंत्र का पाठ करते हुए बारी बारी से उक्त वस्तुओं को उसमें डालते रहें। फिर इनको इकट्ठा करके कहें कि ‘मेरी परेशानियां दूर हो जाएं तथा मेरा कर्जा उतर जाए।’ यह क्रिया आगामी 7 सोमवार तक करें।