भगत सिंह के क्रांतिकारी विचार, रगों में दौड़ने लगेगी देशभक्ति की लहर
By: Ankur Fri, 28 Sept 2018 11:58:54
सरदार भगत सिंह का नाम सुनते ही सभी के दिल में देशभक्ति का जोश चढ़ जाता हैं। हांलाकि देशभक्ति सभी के ह्रदय में हैं, लेकिन सरदार भगत सिंह के नाम से इसमें कई गुणा इजाफा हो जाता हैं। उनके क्रांतिकारी विचार लोगों में नए जोश का संचार करते हैं और देशभक्ति की प्रेरणा देते हैं। इसलिए आज उनके जन्मदिन के खास मौके पर हम आपके लिए उनके क्रांतिकारी विचार बताने जा रहे हैं।
* यदि बहरों को सुनना है तो आवाज़ को बहुत जोरदार होना होगा। जब हमने बम गिराया तो हमारा धेय्य किसी को मारना नहीं था। हमने अंग्रेजी हुकूमत पर बम गिराया था । अंग्रेजों को भारत छोड़ना चाहिए और उसे आज़ाद करना चहिये।
* आम तौर पर लोग चीजें जैसी हैं उसके आदि हो जाते हैं और बदलाव के विचार से ही कांपने लगते हैं। हमें इसी निष्क्रियता की भावना को क्रांतिकारी भावना से बदलने की ज़रुरत है।
* जो व्यक्ति भी विकास के लिए खड़ा है उसे हर एक रूढ़िवादी चीज की आलोचना करनी होगी , उसमे अविश्वास करना होगा तथा उसे चुनौती देनी होगी।
* मैं इस बात पर जोर देता हूँ कि मैं महत्त्वाकांक्षा , आशा और जीवन के प्रति आकर्षण से भरा हुआ हूँ। पर मैं ज़रुरत पड़ने पर ये सब त्याग सकता हूँ, और वही सच्चा बलिदान है।
* अहिंसा को आत्म-बल के सिद्धांत का समर्थन प्राप्त है जिसमे अंतत: प्रतिद्वंदी पर जीत की आशा में कष्ट सहा जाता है। लेकिन तब क्या हो जब ये प्रयास अपना लक्ष्य प्राप्त करने में असफल हो जाएं ? तभी हमें आत्म -बल को शारीरिक बल से जोड़ने की ज़रुरत पड़ती है ताकि हम अत्याचारी और क्रूर दुश्मन के रहमोकरम पर ना निर्भर करें।
* निष्ठुर आलोचना और स्वतंत्र विचार ये क्रांतिकारी सोच के दो अहम् लक्षण हैं।