पलभर में किसी शहर को तबाह कर सकता हैं दुनिया का सबसे महंगा पदार्थ एंटीमैटर

इस दुनिया में कई तरह की धातु और पदार्थ पाए जाते है और सभी अपनी अनोख विशेषताएँ रखते हैं जो उनकी कीमत तय करते हैं। आपने देखा होगा की हीरे, सोने या चांदी भी पदार्थ हैं पर वे कितने महंगे हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि दुनिया का सबसे महंगा पदार्थ कौनसा हैं? इस पदार्थ के कीमत बेहद ही चौंकाने वाली है। हम बात कर रहे हैं एंटीमैटर (प्रतिद्रव्य) पदार्थ के बारे में जो अपने रहस्यों के चलते इतना महंगा हैं कि महज एक ग्राम की कीमत करीब 7553 अरब रुपये से ज्यादा बताई जाती है।

शायद आपने इसका नाम भी न सुना हो, लेकिन विज्ञान की दुनिया में इसे एक रहस्यमय पदार्थ के रूप में जाना जाता है। वैज्ञानिकों के मुताबिक, एंटीमैटर पदार्थ के ही समान है, लेकिन यह सामान्य पदार्थ के बिल्कुल विपरीत है। विशेष रूप से, एंटीमैटर के उप-परमाणु कणों में सामान्य पदार्थ (मैटर) के विपरीत गुण होते हैं। उन कणों का विद्युत आवेश उल्टा होता है। बिग बैंग के बाद एंटीमैटर पदार्थ (मैटर) के साथ ही बने थे, लेकिन एंटीमैटर आज के ब्रह्मांड में दुर्लभ है और वैज्ञानिकों के लिए अब तक ये रहस्य ही बना हुआ है कि ऐसा क्यों है।

इसकी खोज 20वीं सदी के पूर्वार्ध में हुई थी। एंटीमैटर के बारे में सबसे पहले साल 1928 में वैज्ञानिक पॉल डिराक ने दुनिया को बताया था, जिन्हें न्यू साइंटिस्ट पत्रिका ने 'सर आइजैक न्यूटन के बाद सबसे महान ब्रिटिश सिद्धांतकार' कहा था। तब से लेकर आज तक यह वैज्ञानिकों के लिए कौतूहल का विषय बना हुआ है।

वैज्ञानिकों के मुताबिक, ब्रह्मांड की उत्पति के लिए उत्तरदायी 'बिग बैंग' की घटना के एकदम बाद हर जगह मैटर और एंटीमैटर बिखरा हुआ था। ऐसे में जब दोनों एक दूसरे के संपर्क में आए तो उनके टकराने से भारी मात्रा में ऊर्जा गामा किरणों के रूप में निकली। माना जाता है कि इस टक्कर में अधिकांश पदार्थ नष्ट हो गए, लेकिन थोड़े बहुत बच गए, जो निकटवर्ती ब्रह्मांड में मौजूद हैं। वैज्ञानिकों का अनुमान है कि सुदूर ब्रह्मांड में एंटीमैटर मिलने की संभावना है।

वैज्ञानिकों का मानना है कि ब्लैक होल द्वारा तारों को दो हिस्सों में काटने की घटना में एंटीमैटर जरूर पैदा होता होगा। हालांकि वैज्ञानिक धरती पर ही लार्ज हैड्रॉन कोलाइडर ( दुनिया का सबसे विशाल और शक्तिशाली कोलाइडर त्वरक) जैसे उच्च ऊर्जा कण त्वरकों द्वारा एंटी पार्टिकल उत्पन्न करने की कोशिश भी कर रहे हैं। वैज्ञानिकों ने प्रयोगशालाओं में बहुत थोड़ी मात्रा में एंटीमैटर का निर्माण भी किया है। हालांकि नासा के मुताबिक, एंटीमैटर धरती का सबसे महंगा मैटेरियल (पदार्थ) है, क्योंकि इसका महज एक मिलिग्राम बनाने में 100 बिलियन डॉलर यानी करीब 7553 अरब रुपये से ज्यादा लग जाते हैं।

वैज्ञानिकों का मानना है कि एंटीमैटर बहुत ही खतरनाक भी है। इस पदार्थ की करीब आधा किलो मात्रा में ही दुनिया के सबसे बड़े हाइड्रोजन बम से भी ज्यादा ताकत होती है, जो किसी भी बड़े शहर को पलभर में तबाह कर दे। हालांकि इतनी मात्रा में तो एंटीमैटर को बना पाना फिलहाल संभव है नहीं। वैज्ञानिकों के मुताबिक, एंटीमैटर का इस्तेमाल अंतरिक्ष में दूसरे ग्रहों पर जाने वाले विमानों में ईंधन की तरह किया जा सकता है, लेकिन यह इतना महंगा है कि फिलहाल तो इसके बारे में सोच भी नहीं जा सकता। अनुमान है कि इसका इस्तेमाल भविष्य में संभव हो सकेगा।