भारत देश को उसके मंदिरों और उनसे जुडी विशेषताओं के लिए जाना जाता हैं। हमारे देश में कई चमत्कारी मंदिर स्थित हैं। आज नवरात्रि के पावन पर्व के उपलक्ष्य में हम आपको चमत्कारी महाकाली माता के मंदिर के बारे में बताने जा रहे हैं जो गुजरात राज्य के प्रतापगढ़ के निकट साबली में स्थित हैं। यहाँ एक ऐसा पत्थर है जिसको बजाने पर धातु जैसी आवाज आती हैं। हर भक्त यहाँ आने पर इस पत्थर को बजाता ही हैं। तो आइये जानते है इस मंदिर के बारे में।
महाकाली के मंदिर में स्थित यह बजने वाला पत्थर एक शिला के रूप में स्थित है। भक्तों ने इसके आस-पास कई छोटे पत्थर रख रखें हैं। ताकि जो कोई भी इस मंदिर में दर्शन के लिए आए मां की कृपा पाने के लिए इस शिला को बजा सके।
इस मंदिर और मां के चमत्कारों में ऐसा नहीं है कि केवल हिंदू ही भरोसा करते हैं। बल्कि मुसलिम भक्त भी मां का आशीर्वाद लेने इस मंदिर में बड़ी संख्या में आते हैं। यहां मां काली शिलाओं के बीच स्थित मंदिर में विराजमान हैं।
एक तरफ भक्त जहां पत्थर से आवाज आने को मां का चमत्कार मानते हैं, वहीं विज्ञान में भरोसा रखने वाले लोग इसके पीछे वैज्ञानिक कारण खोजते हैं।
इस बजने वाले पत्थर के विषय में वैज्ञानिकों का मत है कि इस तरह के पत्थरों में आइरन या लोह तत्व की अधिकता होती है। ऐसे में जब इस शिला पर दूसरे पत्थर से चोट मारी जाती है तो इसमें इलैक्ट्रिकल स्ट्रेस (विद्युत बल) बनता है और जब यह स्ट्रेस रिलीस होता है तब हमें किसी धातु के बजने की आवाज सुनाई देती है।
वहीं कई भक्त विज्ञान के इस तर्क पर अविश्वास जताते हैं। उनका कहना है कि लोह तत्व की अधिकता से पत्थर कैसे बज सकता है, जबकि वह धातु से स्वरूप में न हो। साथ ही वह सवाल उठाते हैं कि पूरी पहाड़ी पर बाकी किसी पत्थर में इस तत्व की अधिकता नहीं है, केवल इस पत्थर में ही क्यों है?