ओडिशा के बेरहामपुर में एक जोड़े ने अपनी शादी को यादगार और अनोखी बनाने के लिए भारतीय संविधान की शपथ लेकर एक-दूसरे को पति-पत्नी के रूप में स्वीकार करने की प्रतिज्ञा ली। नवदंपती बिप्लब कुमार और अनीता ने भारतीय संविधान की एक प्रति सामने रखकर एक-दूसरे को पति-पत्नी के रूप में स्वीकार करने की प्रतिज्ञा ली। सिर्फ यही नहीं इस अवसर को यादगार बनाने के लिए उन्होंने एक रक्तदान शिविर का आयोजन भी किया। इस दौरान नवदंपती ने शादी में आए मेहमानों के साथ रक्तदान शिविर में भाग लेकर रक्तदान भी किया।
अपनी शादी को लेकर दंपती ने कहा कि हर किसी को दहेज प्रथा से बचना चाहिए। साधारण तरीके से विवाह करना पर्यावरण के अनुकूल है, क्योंकि इसमें कोई पटाखा नहीं फोड़ा जाता या तेज संगीत नहीं होता है।
बिप्लब कुमार एक दवा कंपनी में काम करते हैं। अनीता पेशे से एक सहायक नर्स हैं। उन्होंने कहा कि वह अपने जीवन को अलग तरीके से शुरू करने को लेकर काफी खुश हैं। उन्होंने कहा कि मुझे खुशी है कि मैंने अपना नया जीवन रक्तदान शिविर के आयोजन के नेक कार्य के साथ शुरू किया। विधवाओं ने भी इसमें भाग लिया।